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Siddharthnagar: पीएम किसान सम्मान निधि पात्रों की जांच से हड़कंप, सोशल ऑडिट के बाद लिस्ट चस्पा
Siddharthnagar: एक ग्राम पंचायत में टीम तीन दिन रहकर सर्वे करने के बाद सूची तैयार की जा रही है। बताया गया, कि योजना का लाभ पाने वालों में कई ऐसे हैं जो आयकरदाता, पेंशनभोगी, चिकित्सक अथवा ऐसे हैं जिनके पास दो हेक्टेयर से अधिक भूमि है।
PM Kisan Samman Nidhi
Siddharthnagar News: प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (Prime Minister Kisan Samman Nidhi) के पात्रों और अपात्रों की जांच शुरू होने से सिद्धार्थनगर जिले में हड़कंप मचा है। इसके लिए ग्राम पंचायतवार लेखपाल, ग्राम विकास अधिकारी और कृषि विभाग के एक कर्मी को शामिल कर टीम गठित की गई है। यह सोशल ऑडिट कर गांव के सार्वजनिक स्थानों पर जहां सूची चस्पा कर हैं, वहीं इसे पढ़कर ग्रामीणों को सुनाया भी जा रहा है। इसके बाद पात्रों और अपात्रों की रिपोर्ट तैयार कर सरकार को भेजी जाएगी।
इस संबंध में, राजकीय कृषि गोदाम केंद्र डुमरियागंज के प्रभारी विजय प्रकाश पांडेय ने बताया, कि डुमरियागंज तहसील (Dumariaganj Tehsil) में कुल 76,460 किसान पंजीकृत (Registered Farmer) हैं, जिसमें से 74,526 इस योजना के पात्र हैं। क्षेत्र के 53,000 किसान 'सम्मान निधि' प्राप्त कर रहे हैं। 15 गांवों में अब तक नोटिस चस्पा करने के साथ-साथ रिपोर्ट को पढ़कर सुनाया जा चुका है।
कई ऐसे पात्र जिनके पास दो हेक्टेयर से अधिक भूमि
एक ग्राम पंचायत में टीम तीन दिन रहकर सर्वे करने के बाद सूची तैयार की जा रही है। बताया गया, कि योजना का लाभ पाने वालों में कई ऐसे हैं जो आयकरदाता, पेंशनभोगी, चिकित्सक अथवा ऐसे हैं जिनके पास दो हेक्टेयर से अधिक भूमि है। वहीं, ऐसे किसान जिनके परिवार में दो लोगों को योजना का लाभ मिल रहा है, उन्हें चिन्हित कर अपात्र घोषित करने के लिए कवायद प्रारंभ की गई है।
पात्रों की सूची चस्पा
कृषि विभाग पात्रों की सूची चस्पा करने के साथ ही इसे ग्रामीणों को पढ़कर सुना भी रहा है। जिससे ग्रामीणों को पात्रों और अपात्रों की जानकारी हो सके। रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को भेजने के बाद अपात्रों को योजना से हटाने, रिकवरी करने के साथ वंचित पात्रों को योजना से जोड़ने का भी काम होगा।
क्या कहा कृषि अधिकारी ने?
इस बारे में जिला कृषि अधिकारी सीपी सिंह ने बताया कि, 'जिले में सोशल ऑडिट (Social Audit) से पीएम किसान निधि के पात्रों और अपात्रों की जांच हो रही है। टीम गांव के सार्वजनिक स्थानों पर सूची चस्पा करने के साथ ग्रामीणों को पढ़कर सुना भी रही है, जिससे पात्रों और अपात्रों का पता लग सके। इसके बाद रिपोर्ट सरकार को भेजी जाएगी।'