TRENDING TAGS :
Siddharthnagar News: बजट पर प्रतिक्रिया, किसी ने सराहा, किसी ने कहा- बैसाखियों पर खड़ा है बजट
Siddharthnagar News: कांग्रेस जिला अध्यक्ष काजी सुहेल ने कहा कि बजट में युवाओं के लिए भी सिर्फ झुनझुना दिया गया है। युवाओं के लिए नये रोजगार का कोई रास्ता नहीं, सालाना सिर्फ 20 लाख युवाओं को इंटर्नशिप।
Siddharthnagar News: मोदी सरकार 3.0 का बजट बेहद हताश एवं निराश करने वाला है। बजट में किसानों के लिए कुछ भी नया नहीं है न MSP की गारंटी न कर्ज से राहत एवं न डीजल - कीटनाशक दवाई, खाद की कीमत कम हुई। उक्त बातें कांग्रेस जिला अध्यक्ष काजी सुहेल ने कही। उन्होंने कहा की बजट में युवाओं के लिए भी सिर्फ झुनझुना युवाओं के लिए नये रोजगार का कोई रास्ता नहीं, सालाना सिर्फ 20 लाख युवाओं को इंटर्नशिप। असंगठित क्षेत्र को चवन्नी तक नहीं। Sc-ST-BC शब्द का बजट स्पीच में नामों निशान तक नहीं। यूपी, एमपी, राजस्थान, पंजाब, महाराष्ट्र, कर्नाटक जैसे राज्यों के लिए बजट में झुनझुना भी नहीं। किसानों के लिए सपने और मजदूरों के लिए वायदे।
समाजवादी पार्टी के प्रदेश सचिव अफ़सर रिज़वी ने बजट पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि भाजपा सरकार का 11वां बजट झूठ की बुनियाद पर जुमलों का बजट है। इसमें मंहगाई बेरोजगारी को खत्म करने का कोई इंतज़ाम नही, न ही किसानों की एमएसपी की गारंटी, और न ही बाढ़ के स्थायी समाधान का कोई जिक्र है। बाढ़ पीड़ितों को निराश किया है। ये बजट पूरी तरह से कारपोरेट घरानों के हित मे बनाया गया है। इस बजट ने किसान मजदूर नौजवान महिलाओं समेत गरीबों व मध्यम वर्ग के लोगो को निराश किया है।
वहीं बसपा जिला सचिव मोहम्मद कैफ ने कहा कि बजट को देखकर बहुजन समाज पार्टी की मुखिया पूर्व मुख्यमंत्री बहन मायावती ने कहा कि संसद में पेश किया गया आज बजट अपने पुरानी ढ़र्रे पर है। कुछ मुट्ठी भर उद्योगपतियों को लाभ पहुंचाने वाला है। देश के गरीबों, बेरोजगारों, किसानों, महिलाओं, मेहनतकश वंचित व अपेक्षित बहुजनों को तरसते जीवन से मुक्ति हेतु अच्छे दिन की उम्मीद वाला कम बल्कि उन्हें मायूस करने वाला ज्यादा है।
मणेन्द्र मिश्रा ‘मशाल’ राष्ट्रीय उपाध्यक्ष, समाजवादी शिक्षक सभा ने बजट पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि यूपी और पूर्वांचल की दृष्टि से केंद्रीय बजट 2024-25 निराश करने वाला है। वेतनभोगी को टैक्स में कोई बड़ी राहत नहीं मिली जिसकी बेहद आवश्यकता थी। नवजवानों के रोज़गार सृजन को लेकर पूर्वांचल में ना ही कोई बड़ा कारोबार या आर्थिक सहायता मिली है। गौतम बुद्ध से जुड़े जनपदों में पर्यटन में निवेश का संकट अभी भी बना हुआ, जिस स्थल को अंतरराष्ट्रीय पटल पर पहचान और मान्यता मिली हुई है। उसे केंद्रीय बजट में एक बार फिर उपेक्षित रखा गया है। आम जनमानस को इस बजट से कोई राहत मिलती नहीं नज़र आ रही है। पूर्व जिला उपाध्यक्ष अजय पांडेय ने कहा की गांव गरीब किसानो का बजट है। माध्यम वर्ग के लिए बजट है। महिलाओ के लिए बजट है। महिलाओ, युवाओं और माध्यम वर्ग के लिए बहुत अच्छा बजट है। 2047 तक विकसित भारत के सपने को साकार करने वाला बजट है।