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Sonbhadra News: फर्जी रिलीज आर्डर के दोषियों पर हो कार्रवाई, कांग्रेस ने की मांग
Sonbhadra News: कांग्रेस ने सीएम को संबोधित ज्ञापन एडीएम सहदेव मिश्र को सौंपा। साथ में फर्जी रिलीजिंग आर्डर के मामले दोषियों के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की।
Sonbhadra News: जिले के सहायक संभागीय परिवहन कार्यालय में बड़े स्तर पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाया गया है। कांग्रेसियों ने इसको लेकर जहां शुक्रवार को हल्ला बोला। वहीं जिला प्रवक्ता शत्रुंजय मिश्रा की अगुवाई में सीएम को संबोधित ज्ञापन एडीएम सहदेव मिश्र को सौंपकर कार्रवाई की मांग की। कहा कि फर्जी रिलीजिंग आर्डर के मामले में विभागीय संलीप्तता सामने आने के बाद भी अब तक अधिकारियों और कर्मचारियों पर कोई कार्रवाई न किया जाना, इस बात को साबित कर रहता है कि एआरटीओ कार्यालय में हो रहे भ्रष्टाचार और अंदर तक दलालों की पैठ के पीछे विभाग के उपर के अधिकारियों का भी संरक्षण प्राप्त है।
फिटनेश और ड्राइविंग लाइसेंस के नाम पर बड़ा घोटाला: कांग्रेस नेता
यूपी कांग्रेस कमेटी के सदस्य नामवर कुशवाहा, वरिष्ठ कांग्रेसी प्रमोद पांडेय दीपू, ब्लॉक अध्यक्ष कर्मा बंशीधर पांडेय, शाहगंज नगर अध्यक्ष पंकज मिश्र, सेवादल के नेता मृदुल मिश्र आदि का कहना था कि फर्जी रिलीजिंग ऑर्डर के मामले में विभागीय संलिप्तता आने के बाद भी विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों पर कोई कार्यवाही न होने से आम जनता में आक्रोश हैं। फिटनेश और ड्राइविंग लाइसेंस के नाम पर बड़ा घोटाला किया जा रहा है।
कार्यालय में दलालों का जमावड़ा लगा रहता है। ट्रकों से फिटनेस के नाम पर पांच-पांच हजार रुपये वसूली की जा रही है। कोयला परिवहन में लगे सोलह और अठ्ठारह चक्का वाली ट्रकों को चैदह चक्का में पंजीयन और फिटनेस कर लंबे समय से देश की अर्थव्यवस्था को चूना लगाया जा रहा है। इसके जरिए हर माह लाखों टन कोयले की चोरी की जा रही है।
मामले की उच्चस्तरीय जांच कराने व दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग
मामला तूल पकड़ने पर कुछ गाड़ियों को ब्लैकलिस्ट कर मामले को रफा-दफा कर दिया जाता है। विभाग को अवैध इंट्री देने वाले वाहन संयुक्त जांच या विशेष जांच में पकड़े भी जाते है तो उनकी जगह बोलेरो, टेम्पो, स्कूटर का नंबर चढ़ाकर चालान कर दिया जाता है। जब इसकी शिकायत होती है तो ट्रक पर गलत नंबर लिखा था, कहकर पल्ला झाड़ लिया जाता है। मामले की उच्चस्तरीय जांच कराने और कथित गड़बड़ियों में संलिप्त तथा दोषी पाए जा रहे लोगों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। उधर, इस बारे में एआरटीओ प्रशासन से उनके सेलफोन पर संपर्क का प्रयास किया गया लेकिन स्वीच्ड आफ का उत्तर मिलता रहा।