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Sonbhadra News: ओबरा बाजार... बचाओ के लगाए नारे, दुकानों के उजाड़ने की बरसी पर निकाला मौन जुलूस
Sonbhadra News: ओबरा में एक बार फिर से, बाजार के एक हिस्से पर मंडराते खतरे को लेकर तेजी से आवाज उठनी शुरू हो गई है।
Sonbhadra News: ओबरा में एक बार फिर से, बाजार के एक हिस्से पर मंडराते खतरे को लेकर तेजी से आवाज उठनी शुरू हो गई है। इसके क्रम में सोमवार को जहां ओबरा की 105 दुकानों को उजाड़ने की बरसी पर व्यापारियों की तरफ से मौन जुलूस निकाला गया। वहीं गल्ला मंडी बचाने के लिए लगातार संघर्ष करने का संकल्प लिया गया। कार्यक्रम के समापन पर ओबरा नगर बचाओ के नारे भी लगाए गए। सोमवार को जहां नवरात्रि की अष्टमी के दिन ओबरा नगर में पूजन-अर्चन चल रहा था, वहीं तीन अक्टूबर 2020 को ढहाई गई दुकानों की बरसी पर ओबरा बाजार बचाओ संघर्ष समिति के नेतृत्व में व्यापारियों ने मौन जुलूस निकाल कर, विरोध व्यक्त किया। जुलूस गल्ला मंडी से प्रारंभ होकर अंबेडकर चौक, बुद्ध बिहार, नेता सुभाष चंद्र बोस चौक, सिनेमा रोड होते हुए डा. भीम राव अंबेडकर चौक पहुंचा। यहां अंबेडकर की मूर्ति पर माल्यार्पण के बाद सभा की गई।
वक्ताओं का कहना था कि गत तीन अक्टूबर 2020 को 105 दुकानों को उजाड़ दिया था, जिसके बाद तनाव के शिकार हुए एक दर्जन लोगों की जानें चली गई थी। अब दोबारा ऐसा नहीं होने दिया जाएगा। मांग की गई कि उजाड़ी गई दुकानों का पुनर्वास किया जाना चाहिए। गल्ला मंडी को भी हटाने की हो रही कोशिश पर नाराजगी जताते हुए कहा कि इसको लेकर न्यायालय में मामला विचाराधीन है वहीं कई लोगों का रिकॉर्ड में नाम भी दर्ज है। किस की जमीन कहां है? बगैर इसका निर्धारण किए नोटिस की कार्रवाई किसी भी रूप में सही नहीं है। कार्यक्रम समापन पर व्यापारियों ने ओबरा बाजार बचाने के समर्थन में नारे भी लगाए। मौन जुलूस में आचार्य प्रमोद गुरूजी, मिथिलेश अग्रहरि, दिलीप सिंह, शमशेर खान, लालबाबू सोनकर, मंसूर अहमद, विश्वामित्र जायसवाल, मुस्लिम अंसारी, सचिन पुरवार, गिरीश कुमार पांडेय, फारूक अहमद, धर्मेंद्र यादव, आबिद खान सहित बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए।