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Sonbhadra News: वार्ड ब्वाय की नौकरी के नाम पर लाखों की ठगी, चिकित्सक, सरकारी कर्मी सहित तीन पर केस :

Sonbhadra News: आरोपों के मुताबिक ओमप्रकाश वर्मा ने कहा कि इस समय रकीय होमोपैथिक विभाग में वार्ड ब्वाय का पद रिक्त है। उस स्थान पर आप लोगों का हो सकता है लेकिन उसमे खर्च लगेगा।

Shalini singh
Published on: 9 March 2025 9:45 PM IST
Sonbhadra News: वार्ड ब्वाय की नौकरी के नाम पर लाखों की ठगी, चिकित्सक, सरकारी कर्मी सहित तीन पर केस :
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Sonbhadra News: होम्योपैथिक विभाग में वार्ड ब्वाय की नौकरी के नाम पर लाखों की ठगी किए जाने का कथित मामला सामने आया है। पीड़ितों की तहरीर पर रॉबर्ट्सगंज कोतवाली पुलिस ने एक होमियोपैथिक चिकित्सक, स्वयं को कलेक्ट्रेट का कर्मचारी बताने वाले व्यक्ति सहित तीन के खिलाफ बीएनएस की धारा 316(2), 318(4) के तहत केस दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी है।

दिनेश कुमार पुत्र अशर्फीलाल निवासी चकबगदरीसानी पोस्ट चैनपुर तहसील दुद्धी, मनोज कुमार पुत्र संतोष कुमार निवासी आजनगिरा पोस्ट लिलासी तहसील दुद्धी ने पुलिस को दी तहरीर में बताया है कि होम्योपैथिक विभाग अनपरा के राजकीय होम्योपैथिक चिकित्सालय में कार्यरत सहायक डॉक्टर ओमप्रकाश वर्मा से पूर्व परिचित होने के नाते मुलाकात हुई। आरोपों के मुताबिक ओमप्रकाश वर्मा ने कहा कि इस समय रकीय होमोपैथिक विभाग में वार्ड ब्वाय का पद रिक्त है। उस स्थान पर आप लोगों का हो सकता है लेकिन उसमे खर्च लगेगा।

नियुक्ति के नाम पर खाते में रुपए मंगवाने का आरोप :

बातचीत होने के बाद उसी हस्पिटल में, वार्ड ब्वाय के पद पर कार्यरत अशोक कुमार पुत्र स्व रामधनी निवासी बैडाड थाना करमा से बात कराई। बातचीत के क्रम में अशोक कुमार स्व रामधनी के खाते में क्रमशः मनोज कुमार द्वारा एक लाख 60 हजार ऑनलाइन तथा 10 हजार नगद और दिनेश कुमार पुत्र अशर्फीलाल द्वारा एक लाख 50 हजार ऑनलाइन तथा 20 हजार नगद दिया गया। आरोप है कि अशोक कुमार द्वारा कहा गया की दो या तीन माह के भीतर होम्योपैथिक विभाग में बार्ड ब्वाय के पद पर नियुक्ति हो जाएगी। वेतन 17 से 18 हजार रुपये प्रति माह की दर से भुगतान मिलेगा। यह नियुक्ति दुद्धी, म्योरपुर, बभनी में से किसी जगह की जाएगी।

आउटसोर्सिंग का नियुक्ति पत्र

तहरीर में कहा गया है कि इसके 4, 5 माह बाद अशोक कुमार ने उन्हें लखनऊ जाने के लिए बोला और राबर्ट्सगंज ले आए। राबर्ट्सगंज आने के बाद अशोक कुमार ने एक व्यक्ति से मिलवाया जिसने स्वयं को राममूर्ति सिंह पुत्र मुन्ना सिंह, DM ऑफिस में कार्यरत बताया। उन्हीं के साथ लखनऊ भेज दिया। वहां जाकर एक कागज पर हस्ताक्षर करवाने के बाद लौटा दिया गया। कहा गया कि नियुक्ति पत्र घर पहुंच जाएगा। घर आने के एक सप्ताह बाद उन्हें जिले पर बुलाया गया और रेशम विभाग में आउटसोर्सिंग अनुरक्षक के पद पर नियुक्ति के लिए पत्र थमाया गया। एतराज जताने पर, पैसा वापस करने की बात कही गई लेकिन कोई रकम वापस नहीं की गई। पुलिस का कहना है की तहरीर में लगाए गए आरोपों के आधार पर प्रकरण की छानबीन जारी है।

Ramkrishna Vajpei

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