प्रसव के दौरान जच्चा-बच्चा की मौत, अस्पताल प्रबंधन ने शवों को कराया दफन, हंगामा

Sonbhadra News: संगीता देवी (23) पत्नी सोनू पटेल निवासी बहेराडोल कुशवहा टोला थाना हाथी नाला को सोमवार की देर शाम विद्युत तहसील मुख्यालय स्थित प्रेरणा फाउंडेशन हॉस्पिटल में प्रसव के लिए भर्ती कराया गया था।

Kaushlendra Pandey
Published on: 2 July 2024 8:09 AM GMT
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सोनभद्र में प्रसव के दौरान जच्चा-बच्चा की मौत (न्यूजट्रैक)

Sonbhadra News: दुद्धी तहसील मुख्यालय पर संचालित प्रेरणा फाउंडेशन हॉस्पिटल में सोमवार की देर रात प्रसव के दौरान बच्चे की मौत हो गई। खफा परिजनों ने एतराज जताया तो उन पर दबाव देकर रात में ही शव को, पास की नदी में दफना दिया गया। अभी परिवार के लोग नवजात की मौत के शोक से उबर भी नहीं पाए थे कि मंगलवार तड़के जच्चा ने भी दम तोड़ दिया। इससे नाराज परिजनों और ग्रामीणों ने अस्पताल पर हंगामा शुरू किया तो हड़कंप मच गया। जानकारी पाकर पहुंची पुलिस ने मामले में कड़ी कार्रवाई का आश्वासन देने के साथ ही शवों को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा, तब जाकर नाराजगी जता रहे लोग शांत हुए।

बताते हैं कि संगीता देवी (23) पत्नी सोनू पटेल निवासी बहेराडोल कुशवहा टोला थाना हाथी नाला को सोमवार की देर शाम विद्युत तहसील मुख्यालय स्थित प्रेरणा फाउंडेशन हॉस्पिटल में प्रसव के लिए भर्ती कराया गया था। बताते हैं कि देर रात 11 बजे के करीब प्रसव के दौरान नवजात की मौत हो गई। इससे परिजन शोक में डूब गए। आरोप है कि हॉस्पिटल संचालक ने दबाव देकर नवजात के शव को हॉस्पीटल से महज सौ मीटर दूर स्थित लौआ नदी किनारे दफनवा दिया।

अभी परिवार के लोग इस घटनाक्रम को भूल पाते कि इससे पहले मंगलवार की तड़के चार बजे के करीब प्रसूता ने भी दम तोड़ दिया। यह देख परिजन भड़क उठे और अस्पताल प्रबंधन पर उपचार में लापरवाही का आरोप लगाते हुए हंगामा खड़ा कर दिया। हंगामा की सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस ने नाराजगी जाता रहे परिजनों को कड़ी कार्रवाई का भरोसा देकर शांत कराया। पारिवारिक जनों की तरफ से एक तहरीर भी पुलिस को सौंपी गई। इसके बाद शवों को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए दुद्धी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र भेज दिया गया।

माह भर पूर्व ही ओटी की गई थी सील

बताते चलें कि गत मई माह में स्वास्थ्य महकमे की तरफ से यहां छापेमारी हुई थी। अस्पताल में पर्याप्त विशेषज्ञ चिकित्सक न होने तथा मानकों के अनदेखी के कारण ओटी को सील कर दिया गया था। बावजूद जिस तरह से मंगलवार को जच्चा बच्चा दोनों की मौत का मामला सामने आया है उसने स्वास्थ्य विभाग की कार्यशैली पर भी सवाल खड़े कर दिए हैं। कहा जा रहा है कि पूरे जिले में इसी तरह छापेमारी कर कभी ओटी तो कभी ओपीडी सील करने का खेल खेला जा रहा है। बाद में मामला ठंडा पढ़ते ही फिर से पुराने ढर्रे पर अस्पताल संचालन की कथित छूट दे दी जा रही है। इस मसले को लेकर प्राइवेट चिकित्सालय के डॉक्टर गुलाब शंकर से संपर्क का काफी प्रयास किया गया लेकिन वह उपलब्ध नहीं हुए।

Shishumanjali kharwar

Shishumanjali kharwar

कंटेंट राइटर

मीडिया क्षेत्र में 12 साल से ज्यादा कार्य करने का अनुभव। इस दौरान विभिन्न अखबारों में उप संपादक और एक न्यूज पोर्टल में कंटेंट राइटर के पद पर कार्य किया। वर्तमान में प्रतिष्ठित न्यूज पोर्टल ‘न्यूजट्रैक’ में कंटेंट राइटर के पद पर कार्यरत हूं।

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