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Sonbhadra News: आपराधिक गैंग बनाने के लिए हार्डकोर नक्सली को पाया गया दोषी, दी गई 10 वर्ष के कठोर कैद की सजा

Sonbhadra News: गैंगस्टर एक्ट के तहत दोषी पाए गए हार्डकोर नक्सली के खिलाफ जहां सोनभद्र और चंदौली जिले के विभिन्न थानों में हत्या सहित अन्य मामलों में 10 अभियोग दर्ज हैं।

Kaushlendra Pandey
Published on: 3 Dec 2024 8:27 PM IST
Hardcore Naxalite found guilty of forming criminal gang, given 10 years rigorous prison sentence
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आपराधिक गैंग बनाने के लिए हार्डकोर नक्सली को पाया गया दोषी, दी गई 10 वर्ष के कठोर कैद की सजा: Photo- Newstrack

Sonbhadra News: 16 साल से जेल में बंद हार्डकोर नक्सली को आपराधिक गैंग बनाने के लिए दोषी पाया गया है। इसके लिए गैंगलीडर नक्सली मुन्नू पाल को 10 वर्ष की कठोर कैद और 10 हजार अर्थदंड की सजा सुनाई गई है। अर्थदंड अदा न करने पर एक माह की अतिरिक्त कैद भुगतने के लिए कहा गया है। विशेष न्यायाधीश गैंगेस्टर कोर्ट अर्चना रानी की अदालत ने मंगलवार को गैंगस्टर एक्ट से जुडे़ इस मामले की सुनवाई की। अधिवक्ताओं की तरफ से दी गई दलीलों, पत्रावली पर उपलब्ध साक्ष्यों को दृष्टिगत रखते हुए दोषसिद्ध पाया और प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए उपरोक्त सजा निर्धारित की।

दोषी के खिलाफ सोनभद्र-चंदौली में दर्ज हैं हत्या सहित अन्य मामले

गैंगस्टर एक्ट के तहत दोषी पाए गए हार्डकोर नक्सली के खिलाफ जहां सोनभद्र और चंदौली जिले के विभिन्न थानों में हत्या सहित अन्य मामलों में 10 अभियोग दर्ज हैं। चोपन थाना क्षेत्र से 25 फरवरी 2008 को गिरफ्तार किए गए नक्सली मुन्नू पाल उर्फ रमेश उर्फ कवि जी उर्फ पुत्र भरत पाल निवासी विशेश्वरपुर, थाना नौगढ़, जिला चंदौली के खिलाफ 15 अप्रैल 2008 को चोपन थाने में गैंगस्टर एक्ट का केस दर्ज किया गया था। तत्कालीन प्रभारी निरीक्षक जैनेंद्र कुमार सिंह ने तहरीर के जरिए दावा किया था कि मुन्नू पाल का एक सक्रिय गैंग है, जिसका वह गैंग लीडर है।

वर्ष 2004 से ही बनी हुई थी वारदातों में गैंग की सक्रियता

इस गैंग के जरिए वह वर्ष 2004 से ही सोनभद्र व चंदौली जिले के विभिन्न थाना क्षेत्रों में अपराध करता है और करवाता है। उसके विरुद्ध हत्या, डकैती, हत्या का प्रयास आदि अपराधों के कुल 10 मुकदमे दर्ज होने और दोनों जिलों में इस गैंग का काफी खौफ होने का दावा किया गया। विवेचना में पर्याप्त सबूत मिलने का दावा करते हुए न्यायालय में चार्जशीट दाखिल की गई। प्रकरण की सुनवाई करते हुए कोर्ट ने दोनों पक्षों के अधिवक्ताओं का तर्क सुना।

गवाहों के बयान-पत्रावली पर उपलब्ध साक्ष्य बने फैसले का आधार

15 साल से अधिक समय तक मामले की सुनवाई चली । इस दौरान परीक्षित कराए गए गवाहों के बयान और पत्रावली पर उपलब्ध साक्ष्यों का न्यायालय ने अवलोकन किया। इसके आधार पर दोषसिद्ध पाया गया। मंगलवार को प्रकरण की फाइनल सुनवाई करते हुए अदालत ने दोषी गैंग लीडर मुन्नू पाल को 10 वर्ष के कठोर कैद तथा 10 हजार अर्थदंड की सजा सुनाई। अभियोजन पक्ष की तरफ से मामले की सरकारी अधिवक्ता धनंजय शुक्ला ने की।



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Shashi kant gautam

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