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राजभर ने फिर BJP की तारीफों के पुल बांधे, बताया यूपी चुनाव में पार्टी को क्यों मिली कामयाबी
Omprakash Rajbhar Statement: समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव को एसी कमरों से बाहर निकलने की सलाह देने वाले राजभर ने आक्रामक चुनाव रणनीति के लिए भाजपा की खुलकर तारीफ की है।
Omprakash Rajbhar Statement: प्रदेश में विधानसभा चुनाव के बाद सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (सुभासपा) के मुखिया ओमप्रकाश राजभर(Omprakash Rajbhar) अपने बयानों के कारण लगातार चर्चा में बने हुए हैं। हाल के दिनों में समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव(Akhilesh Yadav) को एसी कमरों से बाहर निकलने की सलाह देने वाले राजभर ने आक्रामक चुनाव रणनीति के लिए भाजपा की खुलकर तारीफ (Omprakash Rajbhar praised BJP) की है।
उन्होंने कहा कि भाजपा 24 घंटे चुनावी मोड में रहती है और चुनाव जीतने के लिए पूरी ताकत लगा देती है। अपनी इसी रणनीति के कारण उत्तर प्रदेश में भाजपा एक बार फिर सत्ता में आने में कामयाब रही है। उन्होंने विपक्षी दलों को घेरते हुए कहा कि चुनाव हारते ही इनके तेवर ठंडे हो जाते हैं। वे जनता के बीच नहीं दिखाई देते और आगे चलकर इसका खामियाजा भुगतना पड़ता है।
24 घंटे चुनावी मोड में रहती है भाजपा
एक टीवी चैनल से बातचीत के दौरान राजभर ने कहा कि भाजपा ने 37 साल बाद लगातार दूसरी बार सत्ता में आने का कमाल यूं ही नहीं दिखाया है। पार्टी चुनावों को लेकर लगातार मेहनत करती रहती है और इसी कारण पार्टी को यह बड़ी कामयाबी हासिल हुई है।
राजभर ने कहा कि चाहे भाजपा के सबसे बड़े नेता मोदी जी हों या योगी जी या पार्टी के कोई अन्य दूसरे नेता, सबके सब चुनाव को लेकर काफी मेहनत करते हैं और यह पार्टी 24 घंटे चुनावी मोड में ही दिखती है।
इस बाबत राजभर ने योगी के कल उत्तराखंड दौरे का जिक्र भी किया। उन्होंने कहा कि प्रदेश विधानसभा का सत्र चलने के बावजूद योगी उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी को चुनाव जिताने के लिए उत्तराखंड के सियासी अखाड़े में कूद पड़े।
उन्होंने कहा कि भाजपा के लोग हमेशा चुनाव के प्रति समर्पित रहते हैं और कोई भी चुनाव जीतने के लिए पूरी जीजान लगा देते हैं। उन्होंने कहा कि पार्टी नेताओं की ओर से की जा रही मेहनत का नतीजा सबके सामने है और पार्टी के इस रुख की प्रशंसा की जानी चाहिए।
चुनाव के बाद आराम फरमाने हैं विपक्षी नेता
राजभर ने कहा कि प्रदेश में सपा, बसपा, कांग्रेस और दूसरे विपक्षी दलों के भाजपा के सामने पिछड़ने का ठोस कारण है। इन सभी दलों के नेताओं की चुनाव के बाद कोई सक्रियता नहीं दिखती। भाजपा को छोड़कर अन्य सभी दलों के नेता चुनाव के बाद आराम फरमाने लगते हैं।
उन्होंने उत्तर प्रदेश में सपा, बसपा और कांग्रेस की ताकत के दिनों की भी याद दिलाई। राजभर ने कहा कि उत्तर प्रदेश में एक वह भी दौर था जब कांग्रेस को बड़ी ताकत माना जाता था और कांग्रेस का टिकट मिलने पर जीतने की गारंटी तय मानी जाती थी।
कांग्रेस के कमजोर पड़ने के बाद सपा और बसपा ने प्रदेश में अपनी ताकत दिखाई मगर मौजूदा समय में भाजपा सब पर भारी पड़ती दिख रही है। पार्टी को यह बड़ी कामयाबी अनायास से ही नहीं मिली है।
इसके पीछे सबसे बड़ा कारण यह है कि पार्टी नेता हमेशा चुनावी मोड में दिखते हैं और पार्टी के लिए पूरी मेहनत करते हैं। दूसरी पार्टियों को भी यह सच्चाई स्वीकार करनी होगी कि चुनाव के बाद सो जाने से काम नहीं चलने वाला। चुनाव में अपनी ताकत दिखाने के लिए जनता के मुद्दों को लेकर लड़ाई लड़नी ही होगी।
अखिलेश को भी नसीहत दे चुके हैं राजभर
राजभर ने पिछले दिनों सपा मुखिया अखिलेश यादव को एसी कमरों से निकलकर जनता के मुद्दों की लड़ाई लड़ने की नसीहत दी थी। उनका कहना था कि अखिलेश यादव को यह सच्चाई समझनी होगी कि अब एसी कमरों में बैठकर राजनीति नहीं की जा सकती। हालांकि अखिलेश यादव ने राजभर की सलाह पर अभी तक कोई प्रतिक्रिया नहीं जताई है।
अखिलेश को नसीहत देने के साथ ही राजभर पहले भी भाजपा की तारीफ कर चुके हैं। राजभर के बयानों को लेकर सियासी हलकों में तरह-तरह की अटकलें भी लगाई जा रही हैं। हालांकि राजभर विपक्षी गठबंधन के मजबूत होने का दावा करते रहे हैं।