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Swatantra Dev Singh: विधान परिषद में नेता सदन बने स्वतंत्रदेव सिंह, विद्यार्थी परिषद से शुरू हुआ था राजनीतिक सफर
पूर्वाचंल के मिर्जापुर क्षेत्र में जन्मे स्वतंत्रदेव सिंह का कर्मक्षेत्र वैसे तो पूरा यूपी रहा है पर उन्होंने सांगठानिक शुरूआत बुंदेलखण्ड से ही की। जहां उन्होंने काफी कार्य किया है।
Lucknow: भारतीय जनता पार्टी सरकार में जल शक्ति मंत्री एवं स्वतंत्रदेव सिंह को विधानपरिषद में नेता सदन बनाया गया है। अबतक इस पद पर डा दिनेश षर्मा विराजमान थें। स्वतंत्र देव सिंह पिछले कई सालों विधान परिषद सदस्य हैं। भाजपा के प्रदेष अध्यक्ष पद का दायित्व संभाल रहे स्वतंत्र देव सिंह ओबीसी वर्ग से आते हैं योगी की पिछली सरकार में पहले परिवहन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) रह चुके हैं। इस बार की भाजपा सरकार में कैबिनेट मंत्री बनाया गया है। वे प्रदेश भाजपा के महामंत्री तथा युवा मोर्चा के प्रदेशाध्यक्ष भी रह चुके है।
पूर्वाचंल के मिर्जापुर क्षेत्र में जन्मे
पूर्वाचंल के मिर्जापुर क्षेत्र में जन्मे स्वतंत्रदेव सिंह का कर्मक्षेत्र वैसे तो पूरा यूपी रहा है पर उन्होंने सांगठानिक शुरूआत बुंदेलखण्ड से ही की। जहां उन्होंने काफी कार्य किया है। इसके अलावा सांगठनिक क्षेत्र से बंटे भाजपा संगठन में अधिकतर उन्होंने इसी क्षेत्र में कार्य किया। स्वतंत्रदेव सिंह की सबसे बडी पहचान है कि वह प्रत्येक कार्यकर्ता को पहचानने के साथ ही उको नाम से भी जानते हैं।
स्वतंत्रदेव सिंह 2001 में भाजपा युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष रहे
स्वतंत्रदेव सिंह 2001 में भाजपा युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष रह चुके हैं। एक बार वह विधानसभा का चुनाव भी कालपी विधानसभा से लड़ चुके लेकिन उसमें वह सफल नही हुए थें। स्वतंत्रदेव सिंह ने अपनी राजनीति यात्रा की शुरूआत राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ से जुडकर 1986 में की। इसके बाद वह अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद से जुडे और फिर 1988-1989 में संगठन मंत्री बने।
अयोध्या आंदोलन के दौरान वह भारतीय जनता युवा मोर्चा से जुड गए और 1991 में कानपुर के प्रभारी बनाए गए। फिर 1994 बुन्देलखण्ड क्षेत्र युवा मोर्चा प्रभारी बने। इसके बाद 1996 और 1998 प्रदेश महामंत्री बनाए गए। अपनी सांगठनिक क्षमता के दम पर 2001 में वह युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष बने। फिर इसके बाद 2004 से 2010 तक विधान परिषद सदस्य बने। भारतीय जनता पार्टी में 2004-2010 प्रदेश महामंत्री भाजपा 2010-2012 प्रदेश उपाध्यक्ष 2012-2017 प्रदेश महामंत्री 2013 में प्रभारी पश्चिम क्षेत्र फिर 2014 प्रदेश सदस्यता प्रमुख बनाए गए।
स्वतंत्र देव सिंह ने 2002 में युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष रहते हुए तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी बाजपेयी की उपस्थिति में भारतीय जनता युवा मोर्चा का राष्ट्रीय महाअधिवेशन आगरा में सम्पन्न कराया। 2002 सीमा जागरण यात्रा (सहारनपुर से बिहार) निकाली। इसके बाद आतंकवाद विषय पर अंतराष्ट्रीय संगोष्ठी आहुत करायी। इसके बाद पार्टी द्वारा आयोजित गंगा यात्रा में गणमुक्तेश्वर मुरादाबाद से बलिया तक प्रमुख संचालक रहे। इसके बाद 2012 विजय संकल्प यात्रा का संयोजन कराया। स्वतन्त्र देव सिंह अब तक चीन, हांगकॉग एवं सिंगापुर की यात्रा कर अन्तर्राष्ट्रीय युवा सम्मेलन में देश का प्रतिनिधित्व कर चुके है।
2017 में मंत्रिमंडल में किया गया शामिल
स्वतंत्र देव की कुशल सांगठनिक क्षमता को देखते हुए ही उन्हे इनाम के तौर पर 2017 में किसी सदन का सदस्य न होते हुए पुरस्कार के तौर पर मंत्रिमंडल में शामिल किया गया था। 2014 और 2019 के लोकसभा चुनाव में नरेन्द्र मोदी की यूपी में जितनी भी चुनावी रैलियां और सभाएं हुई थी । उन सभी सभाओं की जिम्मेदारी स्वतंत्रदेव सिंह के हाथ में ही थी। तब वह प्रदेश के महामंत्री थें। लगातार तीन महीने तक चुनावी दौरे कर वह मोदी और अमित शाह के निकट आ चुके है।
लोकसभा चुनाव 2014 में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की चुनावी सभाओं की थी जिम्मेदारी
पिछले लोकसभा चुनाव 2014 में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की जितनी भी यूपी में चुनावी सभाएं हुई थी उन सभी सभाओं की जिम्मेदारी स्वतंत्रदेव सिंह के हाथ में ही थी। तब वह प्रदेश के महामंत्री थें। लगातार तीन महीने तक चुनावी दौरे कर वह मोदी और अमित शाह के प्रिय हो चुके थें। उनकी इसी कार्यशैली से प्रभावित होकर संगठन ने उन्हे 2017 के विधानसभा चुनाव की भी जिम्मेदारी भी सौंपी। इस दौरान जितनी भी चुनावी सभाएं हुई उनका संचालन और कार्यक्रम की रूपरेखा वही तय करते थें। इसके बाद 2019 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने एक बार फिर पार्टी के लिए दिनरात खूनपसीना बहाकर यूपी को 64 सीट दिलवाने में महती भूमिका निभाई। इसके अलावा 2022 के विधानसभा चुनाव में उन्होंने प्रदेश संगठन महामंत्री सुनील बंसल के साथ मिलकर भाजपा को फिर से सत्ता दिलवाने में मदद की।