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हाईकोर्ट के आदेश पर भी अपनी प्रिया से नहीं मिल पा रहा दिव्यांग पति, जाने क्यों

Manoj Dwivedi
Published on: 4 Jun 2018 9:19 AM GMT
हाईकोर्ट के आदेश पर भी अपनी प्रिया से नहीं मिल पा रहा दिव्यांग पति, जाने क्यों
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बलरामपुर: यूपी के बलरामपुर जिला कारागार में रिहाई का आदेश जब न्यायालय कर्मी जेल लेकर पहुंचा तो वहां के अधिकारियों ने आदेश को मानने से इनकार कर दिया और महिला के दिव्यांग पति से उसे जेल प्रबंधन ने सीधे बांग्लादेश भेजने की बात कही। अब दिव्यांग पति अपनी पत्नी की रिहाई को लिए तीन दिन से जेल का चक्कर लगा रहा है।

बलरामपुर जिला कारागार महिला कैदी की रिहाई के बाद भी उसे जेल से छोड़ने के लिए इनकार कर रहा है। मामला है हर्रैया थाना क्षेत्र के मणिपुर सहजना गांव का। यहां के रहने वाले सुरंजन अधिकारी मूल रूप से पश्चिम बंगाल के उत्तर 24 परगना जिले के रहने वाले हैं और 2015 में वहीं की रहने वाली प्रिया विश्वास से इन्हे प्यार हो गया। सुरंजन के मुताबिक प्रिया के मां बाप बचपन में ही गुजर गये और वो वहां के एक महिला के घर रहकर पली बढ़ी। एक साल के रिश्ते के बाद सुरंजन और प्रिया से बलरामपुर आकर जुलाई 2016 में धूमधाम से शादी कर ली।

शादी के दो माह बाद सितम्बर 2016 में शिकायत के बाद हर्रैया थाने की पुलिस ने प्रिया विश्वास को बांग्लादेशी महिला होने के आरोप में गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। पश्चिम बंगाल में कोई भी आईडी प्रूफ ना होने के कारण प्रिया अपने आपको भारतीय साबित नहीं कर पाई और शेशन कोर्ट ने प्रिया को दिसम्बर 2017 में एक हजार जुर्माने के साथ दो साल कैद की सजा सुनाई।

प्रिया का पति सुरंजन अधिकारी ने शेशन कोर्ट के फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट में अपील की लेकिन हाईकोर्ट ने शेशन कोर्ट के फैसले को यथावत रखा लेकिन जेल में बिताई गई डेढ़ साल की अवधि को सजा के लिए पर्याप्त मानते हुए 29 मई 2018 को शेशन कोर्ट को आदेश दिया कि प्रिया की रिहाई की जाए और रिहाई के दो सप्ताह के भीतर उन्हे एक हजार जुर्माना भी शेशन कोर्ट में जमा कराया जाए। हाईकोर्ट के आदेश को मानते हुए सिविल जज सीनियर डिविजन संजय सिंह ने 02 जून 2018 को प्रिया विश्वास के रिहाई के आदेश जेल प्रशासन को दिये।

प्रिया के पति सुरंजन का आरोप है कि जब 02 जून को अपनी पत्नी को लेने वो जेल पहुंचा तो जेल प्रशासन ने कोर्ट का आदेश ना मानते हुए उसकी रिहाई से इनकार कर दिया। जेल प्रशासन का कहना है कि प्रिया को एलआईयू के सुपुर्द करके बांग्लादेश भेजा जाएगा। दिव्यांग पति सुरंजन ने अपनी पत्नी प्रिया के साथ जेल में अनहोनी होने की आशंका भी जताई है और अब प्रिया की रिहाई के लिए वो तीन दिनों से जिला कारागार के चक्कर लगा रहा है।

मामले को लेकर जब जेल अधीक्षक व जेलर से बात की गई तो उन्होने मामले में कुछ भी बोलने से इनकार कर दिया।

Manoj Dwivedi

Manoj Dwivedi

MJMC, BJMC, B.A in Journalism. Worked with Dainik Jagran, Hindustan. Money Bhaskar (Newsportal), Shukrawar Magazine, Metro Ujala. More Than 12 Years Experience in Journalism.

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