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UP Election 2022: UP चुनाव से पहले आजाद भारत पार्टी डेमोक्रेटिक का बसपा में विलय, अब मायावती को बनाएंगे CM

UP Election 2022: उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव से पहले आजाद भारत पार्टी डेमोक्रेटिक का बहुजन समाज पार्टी में विलय हो गया।

Rahul Singh Rajpoot
Published on: 19 Sep 2021 6:50 PM GMT
Merger of Bharat Party Democratic with BSP
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लखनऊ: भारत पार्टी डेमोक्रेटिक का बसपा में विलय

Lucknow News: उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव (UP Election 2022) से पहले छोटे राजनीतिक दल अपना ठिकाना मजबूत करने में लग गए हैं। बहुजन समाज पार्टी (Bahujan Samaj Party) की चुनाव की तैयारियों को देख रहे पार्टी महासचिव सतीश चंद्र मिश्रा लगातार बीएसपी को मजबूत करने में लगे हैं और पार्टी से सभी समुदाय के लोगों को जोड़ रहे हैं। मैं आज रविवार को आजाद भारत पार्टी डेमोक्रेटिक (Azad Bharat Party Democratic) का बहुजन समाज पार्टी में विलय हो गया। पार्टी के संस्थापक मानवेंद्र आजाद पूर्व मंत्री नकुल दुबे (Nakul Dubey) के साथ सतीश चंद्र मिश्रा के कार्यालय पहुंचे और अपने सैकड़ों समर्थकों के साथ बसपा में अपनी पार्टी का विलय करने का एलान किया,

पार्टी महासचिव सतीश चंद्र मिश्रा ने लखनऊ स्थित अपने कार्यालय पर मानवेंद्र आजाद (Manvendra Azad) और उनके समर्थकों को बसपा की सदस्यता दिलाई और बहन मायावती को पांचवीं बार मुख्यमंत्री बनाने के लिए सबको जी-जान से जुटने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि मायावती ने सर्वजन हिताय, सर्वजन सुखाय के लक्ष्य को चरितार्थ किया है। सभी समाज को साथ लेकर चलना चाहती हैं। इसके साथ ही बाल्मीकि समाज के हजारों लोगों ने भी बसपा की सदस्यता ग्रहण की औरआगामी विधानसभा चुनाव में बसपा के लिए जी जान से मेहनत करने की भी बात कही।


सतीश चन्द्र मिश्रा ने सभा को किया संबोधित

बड़ी संख्या में बाल्मीकि समाज, सोनकर समाज, निषाद, कश्यप समाज के लोगों के बसपा में शामिल होने के बाद सतीश चंद्र मिश्रा ने उन्हें संबोधित किया और कहा कि भाजपा सरकार में हर समाज के लोग प्रताड़ित हैं। चाहे वह कश्यप समाज हों बाल्मीकि समाज हों। निषाद हों, सोनकर समाज हों, जब मायावती की सरकार थी तो सर्वजन हिताय सर्वजन सुखाय के तहत काम होता था। किसी भी समाज का उत्पीड़न नहीं किया जा सकता था। हम लोग अब कंधे से कंधा मिलाकर चलेंगे तो मायावती को पांचवीं बार मुख्यमंत्री बनने से कोई नहीं रोक सकता। उन्होंने कहा कि बहन जी कभी भी यह नहीं सोचती हैं कि हमें किसने वोट दिया, किसने नहीं दिया वह सर्व समाज के विकास की सोचती हैं।


स्मारक से बढ़ी लखनऊ की रौनक

सतीश मिश्रा ने कहा कि जब 2007 में बहन जी मुख्यमंत्री बनी थीं तो सरकार बनते ही एक लाख से ज्यादा युवाओं को तुरंत सरकारी नौकरी दी थी। उन्होंने कहा कि दलित, शोषित और वंचित समाज के सम्मान में बहन जी ने बहुत सारे मुकदमे झेले। उन्होंने महापुरुषों के लिए स्मारक बनाए जो आज से 100 साल बाद उसका महत्व पता चलेगा। उन्होंने कहा कि पहले लखनऊ में लोग भूल भुलैया इमामबाड़ा सरीखे जगहों पर जाते थे । लेकिन अब कोई लखनऊ आता है तो वह सबसे पहले अंबेडकर पार्क और काशीराम पार्क देखने पहुंचता है, जो आज लखनऊ की पहचान और खूबसूरती को बढ़ाते हैं। उन्होंने कहा कि बहन जी द्वारा किए गए काम जनता को दिख रहे हैं । कानून व्यवस्था के मामले में बहन जी से अच्छी सरकार कोई नहीं चला पाया।

Shashi kant gautam

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