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UP Election 2022: किसी भी तरह की चुनावी जानकारी के लिए इस्तेमाल करें ये ऐप

अपर मुख्य निर्वाचन अधिकारी डॉ ब्रह्मदेव राम तिवारी ने कहा कि KYC (नो योर कैंडिडेट ऐप) का स्थानीय स्थल पर व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाए।

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Newstrack NetworkPublished By Divyanshu Rao
Published on: 18 Jan 2022 4:54 PM GMT
Assembly Election 2022
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चुनाव आयोग की तस्वीर  (फोटो:सोशल मीडिया)

UP Election 2022: उत्तर प्रदेश में हो रहे विधानसभा चुनाव को लेकर निर्वाचन आयोग ने मतदाताओं की सुविधा के लिए कई तरह के ऐप बनाये हैं। जिसके माध्यम से मतदाता हर तरह की जानकारियों को हासिल कर सकता है। निर्वाचन आयोग ने इन सभी ऐप्स के प्रचार प्रसार को तेज करने को कहा है।

अपर मुख्य निर्वाचन अधिकारी डॉ ब्रह्मदेव राम तिवारी ने कहा कि KYC (नो योर कैंडिडेट ऐप) का स्थानीय स्थल पर व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाए, जिससे आम जनता अपने क्षेत्र के प्रत्याशियों के संबंध में सभी तरह की जानकारी प्राप्त कर सके तथा प्रत्याशी के आचरण को ध्यान में रखकर अपना मत दें। C-vigil ऐप, वोटर हेल्प लाइन ऐप, PwD ऐप इत्यादि समस्त ऐप का जन सामान्य में व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाए। मतदान प्रतिशत बढ़ाने के लिए कार्य योजना बनाकर जनपद की थीम, आइकॉन का संदेश मतदाताओं तक पहुंचाकर कम मतदान वाले बूथों का मतदान प्रतिशत बढ़ाया जाए। उन्होंने कहा कि मीडिया को निर्वाचन सम्बंधी समस्त सूचनाएं समय से उपलब्ध करायी जाय।

चुनाव आयोग की तस्वीर (फोटो:सोशल मीडिया)

अपर मुख्य निर्वाचन अधिकारी डॉ ब्रह्मदेव राम तिवारी ने विधानसभा सामान्य निर्वाचन-2022 की तैयारियों के मद्देनज़र शिकायत, सुगम्य मतदान, मीडिया, एनवीडी, स्वीप से संबंधित बिंदुओं पर समस्त उप जिला निर्वाचन अधिकारियों, समस्त रिटर्निंग ऑफिसर, नोडल अधिकारी शिकायत, नोडल अधिकारी स्वीप, दिव्यांगजन सशक्तिकरण अधिकारी, जिला सूचना विज्ञान अधिकारी, जिला सूचना अधिकारियों, एनएसएस एवं स्काउट के नोडल अधिकारियों के साथ बैठक में कहा कि अअपने-अपने जनपदों में निर्वाचन कार्याे से संबंधित सूचनाओं का आदान-प्रदान करने के लिए डिस्ट्रिक्ट कंट्रोल रूम (DCC) को 24 घंटे चालू रखें, इसमें किसी भी तरह की लापरवाही नहीं होनी चाहिए।

इसके साथ ही आदर्श आचार संहिता तथा कोविड-19 के उल्लंघन की दशा में की गई कार्यवाही का प्रिंट तथा विवरण इलेक्ट्रॉनिक मीडिया को भेजकर व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाय। साथ ही जनपद के ट्विटर हैंडल, फेसबुक पेज, इंस्टाग्राम इत्यादि पर भी पोस्ट किया जाय और भारत निर्वाचन आयोग तथा मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय को भी टैग किया जाए।

जनपद स्तरीय सोशल मीडिया अकाउंट पर किए जा रहे पोस्ट की स्थिति तथा फॉलोअर्स की संख्या पर विशेष ध्यान दें। प्रिंट व इलेक्ट्रॉनिक चैनल तथा सोशल मीडिया पर निर्वाचन संबंधी सूचनाओं पर कड़ी निगरानी रखी जाए, जहां कहीं आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन की खबर मिले तत्काल संज्ञान में लेकर आवश्यक कार्रवाई सुनिश्चित करायी जाय।

Divyanshu Rao

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