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UP Election 2022: मुस्लिम बहुल नूरपुर में BJP ने लगातार खिलाया था 'कमल', उप चुनाव में सपा ने मारी थी बाजी

UP Election 2022: नूरपुर विधानसभा का इतिहास बहुत पुराना है। यूपी के बिजनौर जिले के नूरपुर क्षेत्र में एशिया का सबसे सुंदर चर्च में से एक यहां है।

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Report amanPublished By Vidushi Mishra
Published on: 19 Jan 2022 4:30 PM IST
Uttar Pradesh Assembly Elections
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उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव 

UP Election 2022 : नूरपुर विधानसभा काफी पुरानी सीट है। नूरपुर विधानसभा का इतिहास बहुत पुराना है। यूपी के बिजनौर जिले के नूरपुर क्षेत्र में एशिया का सबसे सुंदर चर्च में से एक यहां है। यह पानीपत-टनकपुर हाईवे (Panipat Tanakpur highway) के पास बसे नूरपुर की सीमाएं अमरोहा (Amroha) और धामपुर (dhampur, bijnor) से लगती है। यहां आने-जाने के लिए अच्छी सड़क मार्ग की अच्छी कनेक्टिविटी है।

नुरपुर में चार डिग्री कॉलेज कालेज, 10 इंटर कॉलेज हैं। फिर भी अभी काफी विकास की गुंजाइश है। लेकिन, वहीं अगर स्वास्थ्य की बात करें, तो ये इलाका पिछड़ा है। ठीक-ठाक इलाज के लिए भी मरीजों को मुरादाबाद जाना पड़ता है।

नूरपुर विधानसभा सीट का इतिहास (noorpur assembly constituency)

बता दें, कि नूरपुर विधानसभा सीट वर्ष 1964 में अस्तित्व में आई थी। 1967 में पहली बार यहां चुनाव हुए थे। साल 1976 में परिसीमन के बाद इस सीट को खत्म कर स्योहारा विधानसभा का गठन हुआ था। इसके बाद 2008 में जब एक बार फिर परिसीमन हुआ तो स्योहारा विधानसभा की जगह नूरपुर विधानसभा सीट को बहाल किया गया।

इस विधानसभा क्षेत्र का इत‍िहास भी थोड़ा द‍िलचस्‍प है। दिलचस्प इस मायने में, कि मुस्‍लि‍म बहुल इस इलाके में भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी लगातार दो बार से जीतकर आते रहे। मुस्लिम वोटरों के अलावा चौहान, सैनी तथा दलित वोटर भी इस सीट पर निर्णायक स्थिति में रहे हैं। साथ ही, यादव और जाट वोटर भी चुनाव का रुख तय करने में अहम भूमिका निभाते रहे हैं।

2012 विधानसभा चुनाव में बीजेपी के लोकेन्द्र सिंह जीतकर आए

साल 2008 के परिसीमन के बाद दोबारा अस्‍तित्‍व में आने के बाद नूरपुर विधानसभा सीट पर 2012 में पहला चुनाव हुआ। इस सीट पर जहां मुस्लिम वोटर बड़ी संख्या में हैं और निर्णायक हैं, बावजूद बीजेपी ने लोकेन्द्र सिंह को अपना प्रत्याशी घोषित किया।

वहीं, बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के टिकट पर मोहम्मद उस्मान मैदान में थे। लेकिन, चुनावी नतीजों में बीजेपी के लोकेंद्र सिंह ने 5,473 वोटों से जीत दर्ज की थी। लोकेन्द्र सिंह को 47,566 वोट पड़े थे। जबकि, मोहम्मद उस्मान को 42,093 मत हासिल हुए।

2017 में दोबारा लोकेन्द्र सिंह रहे कामयाब

वहीं, साल 2017 के विधानसभा चुनाव में एक बार फिर बीजेपी लोकेंद्र सिंह को ही अपना प्रत्याशी घोषित किया। उन्होंने सपा उम्मीदवार नईम उल हसन को 12,736 वोटों से पराजित किया। गौर करें, दोनों ही चुनाव में सपा और बसपा ने मुस्लिम प्रत्याशियों को मैदान में उतारा था। एक ये वजह मानी गयी थी कि इससे मुस्लिम वोटों में बंटवारा हुआ, जिसका सीधा फायदा बीजेपी को मिला। इस चुनाव में लोकेंद्र सिंह को कुल 79,172 वोट मिले थे, जबकि समाजवादी पार्टी के नईम उल हसन को 66,436 मत हासिल हुए थे।

उप चुनाव में बीजेपी के हाथ से फिसली सीट

लेक‍िन, साल 2018 में नूरपुर विधानसभा से विधायक लोकेंद्र चौहान की सड़क हादसे में निधन हो गया। जिसके बाद, उनकी पत्नी अवनि सिंह को इस सीट पर उपचुनाव हुए उपचुनाव में मौका दिया गया। मगर, समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी नईमुल हसन ने मृतक लोकेन्द्र की पत्नी अवनि सिंह को हराकर जीत दर्ज की।

इस बार बीजेपी का दांव सीपी सिंह पर

2022 के यूपी विधानसभा चुनाव में इस सीट पर 14 फरवरी को मतदान होना है। बीजेपी ने सीपी सिंह को अपना उम्मीदवार घोषित किया है। अब नजर इस बात पर रहेगी कि क्या सीपी सिंह इस सीट पर लोकेन्द्र सिंह जैसा कोई कारनामा बीजेपी के लिए कर पाते हैं या नहीं।

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Vidushi Mishra

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