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UP News : गन्ना किसानों से भेदभाव, यूपी के एथनॉल को टेंडर में नहीं मिली जगह, रालोद नेता का आरोप

UP News : राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय सचिव अनिल दुबे ने भाजपा सरकार पर यूपी के गन्ना किसानों के साथ सौतेले बर्ताव का आरोप लगाया है।

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Newstrack NetworkPublished By Shraddha
Published on: 12 Sep 2021 12:09 PM GMT
भाजपा सरकार यूपी के गन्ना किसानों के प्रति सौतेला बर्ताव कर रही
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 राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय सचिव अनिल दुबे (फाइल फोटो - सोशल मीडिया)

UP News : राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय सचिव अनिल दुबे (National Secretary Anil Dubey) ने भाजपा सरकार पर उत्तर प्रदेश के गन्ना किसानों के प्रति सौतेले बर्ताव का आरोप लगते हुए कहा है कि भारत सरकार (Indian Government) के उपक्रम भारत पेट्रोलियम ने 477.50 करोड़ लीटर एथनॉल खरीद के लिए निकाले गए टेंडर में उत्तर प्रदेश को शामिल ही नहीं किया है, इससे प्रदेश की शुगर इंडस्ट्री सकते में है।

आज जारी बयान में अनिल दुबे ने कहा कि भारत पेट्रोलियम ने 27 अगस्त को एक टेंडर जारी किया हैं जिसमें विभिन्न राज्यों से एथनॉल की खरीद के लिए निविदाएं मांगी गई हैं। इसमें यूपी को छोड़कर सभी राज्यों को शामिल किया गया है। सरकार की नीति के मुताबिक ऑयल कंपनियां उन राज्यों से एथनॉल लेने की तैयारी कर रही हैं जहां अनाज से इसका उत्पादन किया जाता है। यूपी में इसका उत्पादन गन्ने से होने के कारण इसे टेंडर में शामिल नहीं किया गया है, जो कि एक चौकाने वाला निर्णय है।

गन्ना किसान (कॉन्सेप्ट फोटो - सोशल मीडिया)

उन्होंने कहा कि प्रदेश की लगभग 50 इकाइयां प्रतिवर्ष शीरे से 50 से 60 करोड़ लीटर एथनॉल का उत्पादन करती हैं। जिसके विक्रय से गन्ना किसानों के भुगतान में आसानी होती है ऐसे में यदि एथनॉल की बिक्री प्रभावित हुई तो इसका सीधा असर पहले से कोरोना और महंगाई की मार झेल रहे किसानों पर पड़ेगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में 15 से अधिक नए प्रोजेक्टों पर काम हो रहा है, अब यह इन्वेस्टमेंट फंस जाएगा। बैंक भी फंडिंग रोक देंगे। यह यूपी के लिए बड़ा झटका है।

राष्ट्रीय सचिव अनिल दुबे ने कहा कि प्रदेश का किसान पहले से आसमान छूती महंगाई, बाढ़ के कहर, कोरोना और अन्य महामारियों से त्रस्त है। ऐसे में गन्ना किसानों को उनकी लागत के अनुसार एवं समय पर भुगतान न हो पाना काफी निराशाजनक और चिंताजनक है। उन्होंने किसानों की दुर्दशा से अवगत कराते हुए सरकार से हस्तक्षेप कर इस टेंडर में यूपी को भी तत्काल शामिल करने की मांग की है।

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