PCS (J)-2022: पीसीएस जे परीक्षा में बदलीं 50 कॉपियां, आयोग ने स्वीकारी गड़बड़ी, तीन निलंबित

PCS (J)-2022: पीसीएस जे परीक्षा 2022 में 50 कॉपियां बदले जाने की बात आयोग ने स्वीकार की है। मामले में तीन अधिकारियों को निलंबित कर दिया गया है।

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Published on: 2 July 2024 5:01 AM GMT (Updated on: 2 July 2024 5:34 AM GMT)
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PCS (J)-2022 Exam (Pic: Social Media)

PCS (J)-2022: पीसीएस जे 2022 परीक्षा में गड़बड़ी का मामला सामने आया है। आयोग ने पीसीएस जे परीक्षा में गड़बड़ी की बात स्वीकार की है। पीसीएस-जे मुख्य परीक्षा में 50 कॉपियां बदल दी गई थीं। अभ्यर्थी के हाईकोर्ट पहुंचने के बाद हुई जांच में खुलासा होने के बाद उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग ने पांच अधिकारियों को दोषी माना है। साथ ही तीन अधिकारियों को निलंबित कर दिया है। आयोग ने इस बात को स्वीकार किया है कि 25-25 कॉपियां एक दूसरे से बदली थीं। मामले में श्रवण पांडेय की याचिका पर न्यायमूर्ति एचडी सिंह और अनीश गुप्ता की खंडपीठ सुनवाई कर रही है।

कॉपी बदलने में तीन निलंबित

उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग ने पीसीएस-जे 2022 मुख्य परीक्षा में कॉपी बदलने की बात स्वीकार की है। आयोग ने मामले में पांच अधिकारी एवं कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की है। तीन अधिकारियों को निलंबित कर दिया गया है। आयोग के सचिव अशोक कुमार के अनुसार मामले की जांच में लापरवाही पाई गई है। जिसके कारण अनुभाग अधिकारी शिवशंकर, समीक्षा अधिकारी नीलम शुक्ला और सहायक समीक्षा अधिकारी भगवती देवी को निलंबित कर दिया गया है। इसके साथ ही पर्यवेक्षणीय अधिकारी उप सचिव सतीश चंद्र मिश्र के खिलाफ विभागीय कार्रवाई का निर्णय लिया गया है। सेवानिवृत्त सहायक समीक्षा अधिकारी (एआरओ) चंद्रकला के खिलाफ कार्रवाई के लिए शासन से अनुमति मांगी गई है।

दोबारा जारी हो सकते हैं परिणाम

मामले में लोक सेवा आयोग की ओर से सोमवार को डिप्टी सेक्रेटरी ने हलफनामा दाखिल किया। हलफनामे में आयोग ने 50 उत्तर पुस्तिकाओं में गड़बड़ी की बात स्वीकार की है। कॉपियों के कोड के बदलने के चलते एक दूसरे में मिक्स हो गई। हलफनामे में कहा गया कि आयोग इसे दूर करने का प्रयास कर रहा है। इस गड़बड़ी को सुधारने के लिए परीक्षा परिणामों को नए सिरे से जारी किया जा सकता है। इस खामी को दूर करने के लिए रिजल्ट नए सिरे से भी जारी किया जा सकता है। आयोग की तरफ से दाखिल किए गए हलफनामे में कोर्ट को पूरी जानकारी नहीं मिली। कोर्ट ने आयोग से सवाल किया है कि अगर परिणाम घोषित होते हैं तो कितने अभ्यर्थी बाहर होंगे। कितने नए अभ्यर्थियों को मौका मिलेगा। जिनकी नियुक्ति हो चुकी है उनपर क्या निर्णय लिया जाएगा। इन सभी सवालों के जवाब के साथ कोर्ट ने आयोग को नए सिरे से हलफनामा दाखिल करने को कहा है।

फटे मिले उत्तर पुस्तिका के पन्ने, बदली हैंडराइटिंग

पूरा मामला तब प्रकाश में आया जब पीसीएस जे 2022 के अभ्यर्थी रहे श्रवण पांडेय ने हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की। अंग्रेजी के पेपर में याची को 200 में 47 नंबर मिले थे। जिससे असंतुष्ट होने के बाद उन्होंने आरटीआई के जरिए 6 उत्तर पुस्तिकाओं को देखने की मांग की। आरटीआई के जरिए देखी गई उत्तर पुस्तिका में उन्होंने पाया कि उनकी उत्तर पुस्तिका के कुछ पन्ने फटे थे। साथ ही अंग्रेजी की उत्तर पुस्तिका में उनकी हैंडराइटिंग भी नहीं थी। अपनी याचिका में उन्होंने उत्तर पुस्तिका में गड़बड़ी का आरोप लगाया। याचिकाकर्ता ने अपनी हिंदी और अंग्रेजी की उत्तर पुस्तिका में गड़बड़ी होने का आरोप लगाया। इसके बाद आयोग ने सभी 18042 उत्तर पुस्तिकाओं की नए सिरे से जांच करने का निर्णय लिया। हाईकोर्ट ने आयोग के इस निर्णय पर भी सवाल उठाया तो आयोग का कहना था कि जांच में कई उत्तर पुस्तिकाओं में इसी प्रकार की गड़बड़ी सामने आई है।

8 जुलाई को दोबारा सुनवाई

मामले में उत्तर पुस्तिका बदलने के आरोप पर कोर्ट ने आयोग को सभी 6 कॉपियां प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है। इससे इस बात की पुष्टी हो सकेगी की याची के लगाए आरोप सत्य हैं या नहीं। जिसके बाद आयोग ने गड़बड़ी को स्वीकार करते हुए इसे ठीक करने के लिए हलफनामा दाखिला किया है। कोर्ट ने आयोग को कार्यवाही पूरी करने के लिए 3 अगस्त तक का समय दिया है। मामले में अगली सुनवाई 8 जुलाई को होगी।

Sidheshwar Nath Pandey

Sidheshwar Nath Pandey

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मेरा नाम सिद्धेश्वर नाथ पांडे है। मैंने इलाहाबाद विश्विद्यालय से मीडिया स्टडीज से स्नातक की पढ़ाई की है। फ्रीलांस राइटिंग में करीब एक साल के अनुभव के साथ अभी मैं NewsTrack में हिंदी कंटेंट राइटर के रूप में काम करता हूं। पत्रकारिता के अलावा किताबें पढ़ना और घूमना मेरी हॉबी हैं।

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