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Varanasi News : पुलिस ने अन्तर्राज्यीय वाहन चोर गिरोह का किया पर्दाफाश, तीन गिरफ्तार
Varanasi News : प्रदेश के वाराणसी में थाना रोहनिया और क्राइम ब्रांच को बड़ी कामयाबी हाथ लगी है। पुलिस ने अन्तर्राज्यीय वाहन चोर गिरोह का पर्दाफाश करते हुए अखरी बाईपास चौराहा व लठिया बाईपास के बीच में राधास्वामी सत्संग व्यास के पास से तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है।
Varanasi News : प्रदेश के वाराणसी में थाना रोहनिया और क्राइम ब्रांच को बड़ी कामयाबी हाथ लगी है। पुलिस ने अन्तर्राज्यीय वाहन चोर गिरोह का पर्दाफाश करते हुए अखरी बाईपास चौराहा व लठिया बाईपास के बीच में राधास्वामी सत्संग व्यास के पास से तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस ने गिरफ्तार अभियुक्तों के पास के चार कार, 06 ईसीएम, 06 इग्नीशन सेट मय चाभी, 8 लाक बीसीएम, दो वाई फाई राउटर, कटर, फास्टटैग, स्टील प्लेट व चेचिस नम्बर बनाने का फार्मा बरामद आदि बरामद किया है।
जानकारी के मुताबिक, थाना रोहनिया व क्राइम ब्रांच वाराणसी की संयुक्त पुलिस टीम ने वांछित शातिर अभियुक्त पश्चिम बगांल निवासी कमाल आसिफ पुत्र स्व. अब्दुल सकूर, प्रतापगढ के गांव रामपुर निवासी राकेश कुमार यादव पुत्र रामसुख यादव और प्रतापगढ़ के ग्राम गोडे चवल निवासी अनिल यादव पुत्र प्यारे लाल यादव गिरफ्तार किया है। अभियुक्तों के पास से 04 कार, 06 ईसीएम, 06 इग्नीशन सेट मय चाभी, 08 लाक बीसीएम, 02 वाई फाई राउटर, कटर, फास्टटैग, स्टील प्लेट व चेचिस नम्बर बनाने का फार्मा बरामद हुआ।
इंजन और चेचिस नंबर बदल देते थे
अभियुक्त कमाल आसिफ ने पूछताछ में बताया कि यह महिन्द्रा थार गाड़ी चोरी की है। मेरे दो दोस्त अनिल कुमार यादव व राकेश कुमार यादव यह गाड़ी वाराणसी से चोरी करके यहां आसन सोल पश्चिम बंगाल में 2 महीने पहले लाए थे। फिर हम तीनों ने मिलकर गाड़ी के चेचिस नम्बर व इंजन नम्बर को मिटा कर दूसरा चेचिस नम्बर मशीन के माध्यम से मार्क कर दिया और इंजन नम्बर भी बदल दिया, ताकि कोई भी इस गाड़ी के असली नम्बर को जान न सके व गाड़ी के चारों पहिये, स्टेफनी व स्टेयरिंग भी बदल दी। अभियुक्त ने बताया कि यह गाड़ी मैनुअल थी, इसके इंजन व कुछ पार्ट्स को बदल कर हमने इसे आटोमेटिक कर दिया है, जिससे यह गाड़ी बदल गयी है, ताकि इसे कोई पहचान न सके।
अभियुक्त ने बताया कि उसने इस गाड़ी के बदले अनिल व राकेश को दो लाख रुपए दिए थे। अनिल व राकेश उत्तर प्रदेश से कई गाड़ियां चुरा कर यहां लाए हैं और हम तीनों लोग मिलकर सभी गाड़ियों के चेचिस नम्बर व इंजन नम्बर व गाड़ियों के कुछ हिस्से-पुर्जा को बदलकर व फर्जी कूटरचित दस्तावेज तैयार करके राकेश व अनिल से इन्हें खरीद लेता हूं, फिर चोरी की सभी गाड़ियों को अलग-अलग शहरों व राज्यों में बेच देता हूं। इस गाड़ी को अभी अपने प्रयोग के लिए रखा था।
अलग-अलग राज्यों में बेचते थे वाहन
अभियुक्त राकेश यादव व अनिल यादव ने पूछताछ में बताया कि वह धनबाद झारखण्ड में सपरिवार किराए के फ्लैट में रहते हैं और वहीं पर आसनसोल के रहने वाले कमाल आसिफ से दोस्ती हो गयी। वह दोनों चार पहिया वाहन बलेनो व स्विफ्ट डिजायर से अलग-अलग स्थानों पर जाकर इन सभी ईसीएम, बीसीएम, लाक सेट की सहायता से चार पहिया गाड़ियों के लॉक खोलकर चोरी करके वाहनों को आसनसोल पश्चिम बंगाल में अपने दोस्त कमाल आसिफ के पास ले आते हैं और यहां चेचिस व इंजन नम्बर बदलने के साथ ही कुछ सामान को भी बदल देते हैं। इसके बाद इन वाहनों को अलग-अलग शहरों व राज्यों में बेंच देते है।