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Sonbhadra News: कोर्ट के आदेश के बाद भी नहीं छोड़ी गाड़ी, अधिकारी किए गए तलब

Sonbhadra News: सोनभद्र में कोर्ट के आदेश के बाद भी गाड़ी को मुक्त नहीं किया गया, जिसके सम्बन्ध में ज्येष्ठ खान अधिकारी तलब किया गया है और स्पष्टीकरण भी मांगा गया है।

Kaushlendra Pandey
Published on: 24 Sep 2021 4:52 PM GMT
Despite the order of the court, the vehicle was not released, the senior mine officers were summoned, clarification also
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सोनभद्र: कोर्ट के आदेश के बावजूद वाहन नहीं किया अवमुक्त

Sonbhadra News: उत्तर प्रदेश के जनपद सोनभद्र में जनप्रतिनिधियों की बातों को हवा में उड़ाने वाले अधिकारी अब कोर्ट के आदेशों की अवमानना करने लगे हैं। शुक्रवार को जिले के खान विभाग से जुड़ा एक ऐसा ही मामला सामने आया है। सीजेएम सूरज मिश्रा की अदालत ने शुक्रवार को न्यायालय के आदेश के बावजूद वाहन अवमुक्त न किए जाने और आख्या न उपलब्ध कराने के मामले की सुनवाई की। इसको लेकर कड़ा रुख अपनाते हुए ज्येष्ठ खान अधिकारी सोनभद्र को 27 सितंबर को न्यायालय में तलब कर लिया। उन्हें व्यक्तिगत रूप से उपस्थित होने के साथ ही कोर्ट के आदेश के बाद भी वाहन अवमुक्त ना करने के बाबत स्पष्टीकरण देने का भी आदेश दिया गया है।

वाहन मालिक रमेश कुमार दुबे ने वाहन संख्या यूपी 65 डीटी-1749 के अवमुक्त करने के बाबत जरिए अधिवक्ता प्रार्थना पत्र सीजेएम की अदालत में दाखिल किया था। अदालत ने सुनवाई करते हुए 16 सितंबर को ज्येष्ठ खान अधिकारी सोनभद्र को वाहन अवमुक्त करने का आदेश पारित किया था, लेकिन वाहन को अवमुक्त नहीं किया गया। पुनः न्यायालय ने संज्ञान लिया और 22 सितंबर को आख्या तलब किया, लेकिन आख्या नहीं दी गई।

ज्येष्ठ खान अधिकारी को स्पष्टीकरण देने का आदेश पारित

शुक्रवार को भी कोर्ट ने इस मामले में जानकारी मांगी थी लेकिन कोई जानकारी उपलब्ध नहीं कराई गई। तब इस मामले का संज्ञान लेते हुए कोर्ट ने ज्येष्ठ खान अधिकारी को न्यायालय के समक्ष उपस्थित होकर स्पष्टीकरण देने का आदेश पारित किया। नियत तिथि को उपस्थित न होने पर कार्रवाई के लिए भी चेताया गया है।

स्पष्टीकरण दें कि आदेश कि कोर्ट के आदेश की अवहेलना क्यों

अधिवक्ता ओमप्रकाश तिवारी ने बताया कि इस मामले में अदालत ने कड़ा रुख अपनाते हुए आदेशित किया है कि 27 सितंबर को न्यायालय के समक्ष उपस्थित होकर स्पष्टीकरण दें कि आदेश की अवहेलना करने पर क्यों न आपके विरुद्ध प्रकीर्ण वाद दर्ज कर विधि अनुरूप कार्रवाई की जाए? अदालत ने यह भी कहा है कि यदि न्यायालय के समक्ष हाजिर होकर अपना जवाब नहीं देंगे तो यह समझा जाएगा कि आपको कुछ नहीं कहना है और आपके विरुद्ध एकपक्षीय कार्रवाई की जाएगी।

Shashi kant gautam

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