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Water crisis in Lucknow: प्रदेश की राजधानी की 27 फीसदी आबादी को नहीं मिल रहा शुद्ध जल
Water crisis in Lucknow: राजधानी लखनऊ एक बड़ा शहर है। जहां दो शहर बसते हैं, एक तरफ जहां चौंधियाती रोशनी है तो दूसरी तरफ शुद्ध पानी के लिए तरसते लोग हैं।
Water crisis in Lucknow: आप सूबे की राजधानी लखनऊ (Lucknow water crisis) में बेशक मुस्करा सकते हैं लेकिन नल का शुद्ध पानी नहीं पा सकते है। लखनऊ के बड़ी जनसँख्या शुद्ध पेयजल के लिए तरस रही है। इसके बाद आप अंदाजा लगा सकते हैं कि बाकी के शहरों में क्या दशा होगी। चुनाव दर चुनाव पानी के नाम पर नेताओें ने जीत हासिल की। लेकिन कई इलाकों में जलकल विभाग की पाइपलाइन, नलकूप और वॉटर वर्क्स नहीं है।
राजधानी लखनऊ एक बड़ा शहर है। जहां दो शहर बसते हैं, एक तरफ जहां चौंधियाती रोशनी है तो दूसरी तरफ शुद्ध पानी के लिए तरसते लोग हैं।
आकड़ों के मुताबिक लगभग 27 फीसदी आबादी पेयजल संकट से जूझ रही है। कई इलाके ऐसे हैं जोकि जलकल विभाग की रेंज में ही नहीं है। हैंडपंप और सबमर्सिबल यहाँ बेतरतीब तरीके से भूगर्भ जल का दोहन कर रहे हैं। कई इलाकों में हैंडपंप फेल हो चुके हैं। तो शहर के कई इलाके ऐसे भी हैं जहां सबमर्सिबल भी फेल होने कि कगार पर हैं।
मिलेंगे दो वॉटर वर्क्स लेकिन समय नहीं पता
बढती आबादी और उसे शुद्ध जल देने के लिए जलकल विभाग ने शासन से 2 वॉटर वर्क्स की जरूरत के बारे में बताया हुआ है। जमीन चिंहित कि जा चुकी है। विभाग का प्रस्ताव तैयार है, लेकिन कोई काम शुरू नहीं हुआ है।
कहां बनेगे वाटर वर्क्स
पहला वाटर वर्क्स घैला में बनेगा। इससे अलीगंज, जानकीपुरम, सीतापुर रोड़, वसंतकुंज सहित फैजुल्लागंज की आबादी को शुद्ध जल की सप्लाई मिल सकेगी। वहीँ दूसरा वॉटर वर्क्स अलीनगर सुनहरा में बनेगा। जब ये बन कर काम करने लगेंगे तब 10 लाख की आबादी को इसका फायदा मिलेगा।
इन वार्डों के लाखों लोग हैं परेशान
शंकर पुरवा प्रथम
शंकर पुरवा द्वितीय
शहीद भगत सिंह
चिनहट
हैदरगंज द्वितीय
हैदरगंज तृतीय
सरोजनी नगर प्रथम
सरोजनी नगर द्वितीय
इब्राहिमपुर प्रथम वार्ड
बालागंज वार्ड
कन्हैया माधवपुर द्वितीय
हैदरगंज द्वितीय
लाला लाजपत नगर
भारतेंदु हरिश्चंद्र
जानकीपुरम प्रथम
जानकीपुरम द्वितीय
केसरी खेड़ा
आलमनगर
क्या कहते हैं जिम्मेदार
जलकल विभाग के सचिव राम कैलाश कहते हैं कि 2025-26 तक शहर के सभी घरों को नल से शुद्ध जल मिलेगा। वाटर वर्क्स, हैडपंप और सबमर्सिबल के जरिये सभी घरों को जोड़ा जाएगा। पिछले कुछ वर्षों में विभाग ने काफी काम किया है जिसका असर भी दिख रहा है।
वहीँ नगर निगम वर्तमान में 25 लाख खर्च कर मिनी ट्यूबवेल और 50 लाख से हैंडपंप सही कराएगा। इसके साथ ही 1 करोड़ 10 लाख से ट्यूबवेल का भी संचालन किया जाएगा।