TRENDING TAGS :
UP Politics: आखिर योगी और अखिलेश के बीच क्यों नहीं थम रही है जंग?
UP Politics- उत्तर प्रदेश के राजनीतिक इतिहास में ऐसा पहली बार है जब मौजूदा मुख्यमंत्री और पूर्व मुख्यमंत्री इस कदर एक-दूजे पर हमलावर हैं, नतीजन यूपी की सियासी माहौल काफी गरम है।
UP Politics- उत्तर प्रदेश में आखिर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के बीच छिड़ी जुबानी जंग थमने का नाम क्यों नहीं ले रही है? क्यों दोनों नेता एक-दूसरे पर व्यक्तिगत टिप्पणियां कर रहे हैं? यूपी के इतिहास में ऐसा पहली बार है जब मौजूदा और पूर्व मुख्यमंत्री इस कदर एक-दूजे पर हमलावर हैं। यूपी की राजनीति का काला अध्याय कहे जाने वाले गेस्ट हाउस कांड के बाद भी मुलायम और मायावती ने कभी एक-दूसरे पर इतने निजी हमले नहीं किये।
योगी आदित्यनाथ और अखिलेश यादव के बीच विवाद की जड़ें काफी गहरी हैं। शुरुआत 2017 के विधानसभा चुनाव के नतीजों से हुई, जब योगी आदित्यनाथ मुख्यमंत्री बने। अखिलेश यादव से सीएम हाउस खाली कराकर योगी आदित्यनाथ को दे दिया गया, जिसके बाद सपाइयों ने मुख्यमंत्री आवास को गंगाजल से धुलवाने का आरोप लगाया। बात यहीं पर नहीं रुकी। भाजपाइयों ने पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव पर सरकारी आवास से टोंटी चोरी के आरोप लगाये तो सपा प्रमुख ने सीएम बनने पर 'चिलम' ढुंढवाने की बात कहकर राजनीतिक माहौल को और गरमा दिया।
योगी सरकार के दूसरे कार्यकाल के दूसरे बजट सत्र के दौरान दोनों एक-दूसरे पर तीखे व्यंग्य कसते नजर आये हैं। बात इस कदर बढ़ी कि बात 'बाप' तक आ गई। दरअसल, राज्यपाल आनंदी बेन पटेल के अभिभाषण के दौरान सपा सदस्यों ने हंगामा किया तो योगी ने उसे आधी आबादी का अपमान करने जैसा बताया। कहा कि इनका आचरण ऐसा ही है, इस पर अखिलेश यादव ने रेप के आरोपी चिन्मयानंद का जिक्र करते हुए कहा, ''ये भी बताएं कि चिन्मयानंद किसका गुरु है? शर्म आनी चाहिए...।' यह सुनते ही सीएम योगी ने कहा, "शर्म तुम्हें करनी चाहिए, जो अपने बाप का भी सम्मान नहीं कर पाए..."
"अपराधियों के सरपरस्त हैं ये लोग"
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि ये जो अपराधी और माफिया हैं आखिर ये पाले किसके द्वारा गए हैं? क्या ये सच नहीं है कि जिसके खिलाफ एफआईआर दर्ज है, उन्हें सपा ने ही सांसद बनाया था? आप अपराधी को पालेंगे और उसके बाद आप तमाशा बनाते हैं। सीएम ने कहा यह लोग माफियाओं के सरपरस्त हैं। अपराध के अलावा इनका कोई काम नहीं है। इस दौरान अखिलेश यादव विधानसभा में मौजूद थे।
'भाग लोग या भाग लो'
विधानसभा में समस्याओं का समाधान बताने के बहाने योगी ने अखिलेश यादव पर जमकर तंज कसा। उन्होंने कहा कि हर समस्या के दो समाधान होते हैं। भाग लो या भाग लो। या तो चुनौती स्वीकार करो या फिर जैसे नेता प्रतिपक्ष की सीट खाली है, वैसे भाग लो। जिस समय सीएम योगी आदित्यनाथ बोल रहे थे विधानसभा की सीट खाली थी।
योगी बोले- यूपी का पैसा चोरी कर ऑस्ट्रेलिया में टापू खरीदते थे
विधान परिषद में भी योगी आदित्यनाथ इशारों ही इशारों में अखिलेश यादव पर जमकर निशाना साधा। किसी का नाम लिये बिना योगी ने कहा कि प्रदेश का पैसा चोरी कर लोग इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया में टापू खरीदते थे।
अखिलेश बोले- रजिस्ट्री के गवाह आप ही थे?
सीएम योगी ने भले ही किसी का नाम न लिया हो, लेकिन अखिलेश ने पलटवार कर बता दिया कि उनका (योगी) तीर सही निशाने पर लगा है। शुक्रवार को अखिलेश यादव ने ट्वीट करते हुए कहा, "माननीय ऐसा प्रतीत होता है कि आपने जिस काल्पनिक टापू और होटल को हमारे नाम से जोड़ा है उसकी रजिस्ट्री के गवाह आप ही थे, तो फिर नामकरण भी आप ही कर दीजिए। आप तो नामकरण के उस्ताद हैं। कहिए तो नाम हम ही सुझा दें।
'छक्कों' पर आमने-सामने
यूपी विधानसभा अखिलेश यादव ने सीएम योगी पर तंज कसते हुए कहा था कि "वह हमारे साथ मैच खेलने आएं, मैं उन्हें हर गेंद पर छक्का मारूंगा।" इस पर योगी ने पलटवार करते हुए कहा, "ये क्रिकेट खेल रहे हैं। पहली बाल में कैच आउट हो रहे हैं लेकिन वहां से कह दिया जाता है कि ये तो नो बॉल है। अगर वह एक छक्का मारते कि कहते कि अरे छक्का मार दिया तो ये ऐसे ही छक्के हैं। नो बॉल को छक्के से जोड़ देंगे।" अखिलेश ने फिर पलटवार किया। कहा, "ये कुछ और 'छक्का' समझ गए। क्रिकेट के सिक्सर को ये छक्का समझ गए और फिर बोले, वह कहते हैं कि मैं तो वो हूं जो अकेला आता हूं, अकेला चला जाता हूं। मैंने तो कहीं नहीं पढ़ा कि छक्कों की भी शादियां होती है।"
अभी भी जारी है जुबानी जंग
ये तो कुछ बयानों की बानगी भर है जो सिर्फ बजट सत्र के दौरान सामने आये हैं। इससे पहले भी लगातार दोनों एक-दूसरे पर करारे शब्दबाण छोड़ते नजर आए हैं। कई बार ऐसे मौके आये हैं, जब इनके बयानों ने एक-दूसरे को काफी असहज किया है। कई बार जवाब में तीखी प्रतिक्रिया भी आई है। फिलहाल, दोनों के बीच जुबानी जंग जारी है।