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जिन कानूनों की आवश्यकता नहीं है, उन्हें समाप्त कर देना चाहिए: योगी आदित्यनाथ

योगी ने कहा कि अधिवक्ताओं का ही परिणाम है कि उन्होंने जो नींव डाली थी, उसी के कारण आज भारत अपने लोकतंत्र को दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र के रूप में स्थापित करने में सफल रहा है।

Aditya Mishra
Published on: 9 March 2019 9:35 PM IST
जिन कानूनों की आवश्यकता नहीं है, उन्हें समाप्त कर देना चाहिए: योगी आदित्यनाथ
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लखनऊ: शनिवार को हज़रतगंज स्थित लोकभवन में प्रदेश भर के अधिवक्ताओं को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सम्मानित किया। इस मौके पर मुख्यमंत्री ने कहा, '1975 के बाद सभी बने कानूनों को आज ऑनलाइन करने का काम किया गया है। जिन कानूनों की आवश्यकता नहीं हमें उनको समाप्त कर देना चाहिए। जिन अधिवक्ताओं को आज हमने सम्मानित करने का काम किया है, अपेक्षा करेंगे कि वह पूरी तरीके से स्वस्थ रहें और लंबे समय तक अपने तजुर्बे का आशीर्वाद दें। बड़ों को सम्मान देना हमारी संस्कृति है और हमें उनसे सीखना चाहिए'।

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यहां पर बिरेश्वर नाथ, जेसी श्रीवास्तव, मो.आबिद अली, एनके नाथ, राम करन अग्रवाल, राम नारायण गुप्ता, शफीक मिर्ज़ा, सुबोध कुमार शुक्ला, सुरेश चंद्र श्रीवास्तव, टीएन गुप्ता, विशाल सिंह, बीसी. अग्रवाल, सहदेव सिंह गौतम, अनादि बनर्जी, आरए उपाध्याय और यूके श्रीवास्तव को सम्मानित किया गया।

योगी ने आगे कहा, जिनको सम्मानित किया गया है वें कही 60 कही 65 वर्ष की प्रक्टिस कर चुके है फिर भी आज उनके अंदर जज्बा है, आज कल जब भाई भाई पर विश्वास नहीं करता है तब अपने मामले के न्याय के लिए वह अधिवक्ता के पास जाता है,आज खून के रिश्ते काम नही करते, तब भी लोग अधिवक्ताओ पर विश्वास करते है।

उन्होंने कहा कि अधिवक्ताओं का ही परिणाम है, कि उन्होंने जो नींव डाली थी उसी के कारण आज भारत अपने लोकतंत्र को दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र के रूप में स्थापित करने में सफल रहा है। दुनिया में आज भारत सबसे बड़ा और मजबूत लोकतंत्र है। इसका कारण अधिवक्ताओं का सफल प्रयास है, अगर आज देश के अंदर लोग एक समान मताधिकार के साथ अपने अपने उत्तरदायित्व का निर्वाह करने के लिए गुजरता है तो कहीं न कही उसके पीछे प्रेरणा महापुरुषों की रही है।

जिन्होंने अधिवक्ता के रूप में अपना सामान्य जीवन प्रारंभ किया था। लोकतंत्र की नींव तभी मजबूत हो सकती है जब आम आदमी को न्याय मिल सके, इसमें अधिवक्ताओ का बड़ा रोल है।

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उन्होंने आगे बताया,' अगर हम कोउ कोर्ट का निर्माण कर रहे हैं तो अधिवक्ताओं के लिए चैम्बर बनाए जाने के लिए भी व्यवस्था करने की कोशिश करेंगे, बुनियादी सुविधा के लिए हम लगातार काम कर रहे है, समस्याओं का समाधान समय बद्ध तरीके से होना चाहिए ।

दो बड़ी घोषणाएं

इस मौके पर लोकभवन में योगी आदित्यनाथ ने दो नई घोषणाएं की जिसमें उन्होंने कहा- लंबे समय से अधिवक्ताओ की मांग थी कि 500000 रुपये की सहायता राशि देने के लिए 60 वर्ष की उम्र सीमा 70 वर्ष की जाए, युवा अधिवक्ताओं के लिए 3 वर्ष तक पुस्तक खरीदने के लिए राशि 5000 रुपये प्रति वर्ष की मांग चली आ रही थी जिसको हम कैबिनेट से पास कर चुके हैं और बार कॉन्सिल इसकी लिस्ट शासन को देगा।

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Aditya Mishra

Aditya Mishra

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