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फिर कांपा उत्तराखंड: तबाही के बाद भूकंप के भयानक झटके, इतनी रही तीव्रता
भूकंप के झटके शाम 4 बजकर 38 मिनट पर महसूस किए गए। इस दौरान इसकी तीव्रता रिएक्टर स्केल पर 4 रही। फिलहाल इस हादसे में किसी तरह के नुकसान होने की कोई खबर सामने नहीं आई है।
पिथौरागढ़: इस वक्त की बड़ी खबर उत्तराखंड से सामने आ रही है। अभी राज्य के चमोली जिले में आई आपदा से लोग उभर नहीं पाए हैं कि इस बीच पिथौरागढ़ में भूकंप (Earthquake) के तेज झटके महसूस किए गए हैं। आज यानी शुक्रवार को उत्तराखंड के पिथौरागढ़ में लोग भूकंप के झटकों से सहम गए।
कितनी रही भूकंप की तीव्रता
मिली जानकारी के मुताबिक, भूकंप (Earthquake) के झटके शाम 4 बजकर 38 मिनट पर महसूस किए गए। इस दौरान इसकी तीव्रता रिएक्टर स्केल पर 4 रही। फिलहाल इस हादसे में किसी तरह के नुकसान होने की कोई खबर सामने नहीं आई है। आपको बता दें कि भूकंप के लिहाज से उत्तराखंड काफी संवेदनशील है।
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दक्षिण प्रशांत महासागर में भी महसूस किए गए थे झटके
वहीं, अभी इससे पहले दक्षिण प्रशांत महासागर (South Pacific Ocean) में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए थे। अमेरिकी जियोलॉजिकल सर्वे (American Geological Survey) के मुताबिक, प्रशांत महासागर के वानुअतु द्वीप में महसूस किए गए भूकंप की तीव्रता रिएक्टर स्केल पर 6.2 थी। भूकंप का केंद्र वानुअतु का शेफा प्रोविन्स (Shefa provisions) रहा। हालांकि भूकंप से किसी तरह के जानमाल का कोई नुकसान नहीं हुआ।
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(सांकेतिक फोटो- सोशल मीडिया)
भारत को बांटा गया इन जोन में
बता दें कि भारत को भूकंप के खतरे (Earthquake Hazard) के आधार पर जोन-2, 3, 4 और 5 में बांटा गया है। जोन-2 को सबसे कम खतरे वाला, जबकि जोन 5 को सबसे ज्यादा खतरे वाला जोन माना जाता है। दक्षिण भारत (South India) के अधिकांश हिस्से सीमित खतरे वाले जोन-2 में आते हैं। मध्य भारत भी कम खतरे वाले जोन-3 में आता है।
जोन-5 में रखे गए हैं ये राज्य
बात करें जम्मू और कश्मीर, लद्दाख, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, सिक्किम, उत्तर बंगाल, दिल्ली और महाराष्ट्र की तो इन राज्यों को जोन 4 में रखा गया है। जबकि सबसे ज्यादा खतरे वाले जोन यानी जोन-5 में जम्मू-कश्मीर, पश्चिमी और मध्य हिमालय, उत्तर और मध्य बिहार, उत्तर-पूर्व भारत, कच्छ का रण और अंडमान-निकोबार द्वीप समूह आते हैं।
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