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Bahubali Mafia Wife: भौकाल में कम नहीं इन माफियाओं की पत्नियाँ, सियासत से लेकर आपराधिक साम्राज्य तक दिया साथ, जानें इन चर्चित महिलाओं के बारे में

Bahubali Mafia Wife: देश में ऐसे कई आपराधिक शख्सियत हैं, जिनकी पत्नियां उनके जेल जाने के बाद बाहर की दुनिया को संभालती हैं। वो राजनीति से लेकर व्यापार और गैंग तक को संभालती रही हैं। तो आइए एक नजर कुछ ऐसे ही किरदारों पर डालते हैं।

Krishna Chaudhary
Published on: 24 March 2023 1:17 PM IST

Bahubali Mafia Wife: खालिस्तान समर्थक और कट्टरपंथी सिख संगठन वारिस पंजाब दे के प्रमुख अमृतपाल सिंह की तलाश पांचवे दिन भी जारी है। पंजाब पुलिस और केंद्रीय एजेंसियां अभी तक उसे दबोच नहीं पाई हैं। इस बीच उसके करीबियों पर ताबड़ोतड़ कार्रवाईयों का दौर जारी है। पंजाब पुलिस के रडार पर अब इस अलगाववादी नेता की नई-नवेली एनआरआई पत्नी है। अमृतपाल की पत्नी किरणदीप कौर से पुलिस पूछताछ कर चुकी है। उसके पिता से भी पूछताछ हुई है।

29 किरणदीप कौर का परिवार जालंधर का रहने वाला है लेकिन वे काफी पहले ब्रिटेन में बस गए थे। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिर, किरणदीप खालिस्तान समर्थक संगठन बब्बर खालसा इंटरनेशनल (बीकेआई) के लिए काम करती हैं। यूके में रहते हुए वह संगठन के लिए फंड जुटाने का काम करती थीं। पुलिस ने अमृतपाल की पत्नी और उसके करीबियों के बैंक अकाउंट खंगालने शुरू कर दिए हैं।

ये कोई पहला मौका नहीं है, जब किसी चर्चित अपराधी या भगोड़े की पत्नी अपने पति के कुकर्मों में सक्रिय रूप से भागीदार रही हों। देश में ऐसे कई आपराधिक शख्सियत हैं, जिनकी पत्नियां उनके जेल जाने के बाद बाहर की दुनिया को संभालती हैं। वो राजनीति से लेकर व्यापार और गैंग तक को संभालती रही हैं। तो आइए एक नजर कुछ ऐसे ही किरदारों पर डालते हैं।

अतीक अहमद की पत्नी शाइस्ता

प्रयागराज के उमेश पाल हत्याकांड को लेकर सुर्खियों में आया कुख्यात बाहुबली और माफिय अतीक अहमद जरायम की दुनिया का जाना माना चेहरा है। इस माफिया ने विधानसभा से लेकर संसद तक का सफर तय किया है और इसके घर पर स्वयं राज्य के मुख्यमंत्री तक हाजिरी लगा चुके हैं। यूपी से हजारों किमी दूर गुजरात की जेल में बंद इस कुख्यात बाहुबली ने आसानी से अपने दुश्मन को मौत के घाट उतरवा दिया।

उसके इस साजिश को जमीन पर उतारा उसकी बीवी शाइस्ता परवीन ने, जो अभी तक खुद को मीडिया में निर्दोष बता रही थी। अब तक की जांच में सामने आया है कि शाइस्ता को वारदात के बारे में सबकुछ पता था। उसने हत्याकांड में शामिल सभी शूटरों को 1-1 लाख रूपये, मोबाइल फोन और सिम कॉर्ड उपलब्ध करवाए। उमेश मर्डर केस में नामजद आरोपी शाइस्ता फिलहाल फरार है और उस पर भी पुलिस ने इनाम घोषित कर रखा है।

मुख्तार अंसारी की पत्नी अफशां

अतीक अहमद के बाद यूपी में जिस माफिया का सबसे अधिक खौफ माना जाता है, वो है पूर्वांचल का डॉन कहे जाने वाला मुख्तार अंसारी। अंसारी के पैर जितने गहरे तक अपराध की दुनिया में धंसे हुए हैं, उतना ही उसके परिवार का जोरदार दखल सियासत में है। उसके परिवार में सांसद से लेकर विधायक तक हैं।

वह खुद कई बार विधायक रह चुका है। उसके जेल जाने के बाद उसकी पत्नी अफशां गैंग से जुड़े सारा काम देखऩे लगी। उसके खिलाफ भी मऊ जिले के दक्षिण टोला थाने में गैंगस्टर एक्ट के तहत मामला दर्ज है।

बृजेश सिंह की पत्नी अन्नपूर्णा सिंह

मुख्तार अंसारी की तरह पूर्वांचल में एक और माफिया बृजेश सिंह का नाम चला करता था। दोनों गैंगस्टरों की बीच अदावत जगजाहिर रही है। 5 लाख रूपये के इनामी अपराधी माफिया डॉन बृजेश सिंह लंबे समय तक फरार रहने के बाद 2008 में ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर से पकड़ा गया था।

पिछले साल अगस्त में 13 साल बाद उनकी वाराणसी सेंट्रल जेल से रिहाई हुई। सिंह जब जेल के अंदर थे तो बाहर उनकी पत्नी मोर्चा संभाला। वह एमएलसी बनकर विधानसभा तक पहुंची। लगातार इलाके में सक्रिय रहीं और अपने पति की छवि सुधारने की कवायद करती रहीं।

शहाबुद्दीन की पत्नी हिना शहाब

बिहार में जब कभी माफियाओं और बाहुबलियों का जिक्र होता है, उनमें सबसे पहला नाम सीवान के पूर्व सांसद मोहम्मद शहाबुद्दीन का आता है। शहाबुद्दीन के खौफ का आलम ये था कि इलाके के दुकानों एवं घरों में उसकी तस्वीरें लगी होती थीं। वह राजनीति में भी खासा एक्टिव था।

दो बार विधायक और 4 बाद सांसद रह चुका था। राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव का उसे जबरदस्त आर्शीवाद प्राप्त था। शहाबुद्दीन के जेल जाने के बाद उसकी पत्नी हिना शहाब ने अपराध से लेकर राजनीति तक की जिम्मेदारी अपने कंधों पर ली। हिना 2009 से अब तक तीन लोकसभा चुनाव लड़ चुकी हैं लेकिन अभी तक किसी में उन्हें सफलता नहीं मिली है।

लवली आनंद और नीलम सिंह

1990 के दशक में बिहार की राजनीति में खासा रसूख रखने वाले आनंद मोहन गोपालगंज के डीएम जीकृष्णैया हत्याकांड में उम्रकैद की सजा काट रहे हैं। एक जमान में आनंद मोहन का कोसी इलाके में जबरदस्त प्रभाव था। एक बाहुबली नेता के तौर पर उनकी तूती बोलती थी। अपराध के साथ-साथ आनंद राजनीति में भी खासे एक्टिव थे। विधायक से लेकर सांसद तक बने। उनके जेल जाने के बाद उनकी पत्नी लवली आनंद ने उनकी विरासत को संभाला और सांसद बनीं। अब उनके बेटे विधायक बन विरासत को आगे बढ़ा रहे हैं।

इसी तरह मोकामा क्षेत्र के एक अन्य दिग्गज बाहुबली नेता अनंत सिंह का रसूख इलाके में कायम है। उनके दबदबे का प्रमाण यही है कि उस इलाके में उनके सामने किसी भी पार्टी की झंडा मैटर नहीं करता। चाहे निर्दलीय हो या किसी दल की तरफ से उनकी जीत पक्की रहती है। हाल ही में एक मामले में एमपी/एमएलए कोर्ट ने एक मामले में उन्हें सजा सुनाई थी, जिसके बाद उनक सदस्यता चली गई। इलाके मे छोटे सरकार के नाम से मशहूर अनंत सिंह ने अपनी बीवी नीलम सिंह को मैदान में उतारा और वह जीतने में कामयाब रहीं।

Krishna Chaudhary

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