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What is AI Generated Image: वीडियो में देखें एआई से बनी फोटो के बारे में बड़ी जानकारी, मिला वर्ल्ड फोटोग्राफी पुरस्कार
What is AI Generated Image: आज मशीनें हमें सुविधाएँ मुहैया करा रही हैं, साथ साथ मशीनें हम पर भारी भी पड़ती जा रही हैं। हाल फ़िलहाल दुनिया के पैमाने पर एक फ़ोटो को इनाम मिला है। आप को जानकर आश्चर्य होगा कि वह फ़ोटो किसी फ़ोटोग्राफ़र ने नहीं खींचा।
What is AI Generated Image: महात्मा गांधी से लेकर के भारतीय संस्कृति, सभ्यता, समाज और भारतीय ज़रूरतों को लेकर के सोचने वाले सभी दार्शनिकों, वैज्ञानिकों और साहित्यकारों, समाज सेवियों ने समय समय पर यह कहा मशीनें एक दिन आदमी पर भारी पड़ेंगी। आज मशीनें हमें सुविधाएँ मुहैया करा रही हैं, साथ साथ मशीनें हम पर भारी भी पड़ती जा रही हैं। हाल फ़िलहाल दुनिया के पैमाने पर एक फ़ोटो को इनाम मिला है। आप को जानकर आश्चर्य होगा कि वह फ़ोटो किसी फ़ोटोग्राफ़र ने नहीं खींचा। वो फ़ोटो आर्टीफिश्यल इंटेलिजेंस ने खींचा।
हालाँकि प्रतियोगिता में इस फ़ोटो को दाखिल करने वाले फ़ोटो की यह ईमानदारी है कि उसने पुरस्कार लेने से मना कर दिया। और कहा कि यह फोटो ग्राफ़ हमने नही एआई ने हमें खींच कर के दिया है। यानी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस ने। अब आप सोच सकते हैं कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस ऐसी फोटो को क्लिक कर सकता है, जो फ़ोटो क्लिक करना आप के लिए भी थोड़ा मुश्किल हो। तो आर्टिफिशल इंटेलिजेंस आप को कहाँ कहां और कितनी तेज़ी से रिप्लेस कर रहा है।
जर्मनी के सोनी वर्ल्ड फ़ोटोग्राफ़ी अवार्ड विजेता बोरिस एल्डगसेन ने अपनी पुरस्कार विजेता तस्वीर का खुलासा करते हुए ट्रॉफी लेने से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा कि यह एक एआई-जनित फ़ोटो है।
यह एक ब्लैक एंड व्हाइट फोटो है , जिसमें अलग-अलग पीढ़ियों की दो महिलाओं को दिखाया गया है। ये 1940 के किसी पारिवारिक चित्र के समान दिखता है। इस फ़ोटो ने एकल छवियों के लिए खुली प्रतियोगिता में पुरस्कार जीता।
लंदन में पुरस्कार समारोह के दौरान, फोटोग्राफरएल्डगसेन ने खुलासा किया कि वह फोटो आर्टीफीशियल इंटेलिजेंस का उपयोग करके बनाई गई और उन्होंने पुरस्कार लेने से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा - मेरी फ़ोटो का चयन करने और इसे एक ऐतिहासिक क्षण बनाने के लिए धन्यवाद, क्योंकि यह एक प्रतिष्ठित अंतरराष्ट्रीय फोटोग्राफी प्रतियोगिता में जीतने वाली पहली एआई-जनित छवि है। उन्होंने कहा - एआई इमेज और फोटोग्राफी को इस तरह के पुरस्कार में एक दूसरे के साथ प्रतिस्पर्धा नहीं करनी चाहिए। वे अलग-अलग संस्थाएं हैं। एआई फोटोग्राफी नहीं है। इसलिए मैं पुरस्कार स्वीकार नहीं करूंगा।" अपनी वेबसाइट पर एक बयान में एल्डगसेन ने बताते हैं कि एआई तकनीक का उपयोग "सह-निर्माण" के लिए कैसे किया जा सकता है। एल्डगसेन ने ओडेसा, यूक्रेन में एक फोटो इवेंट के लिए अपने प्रतियोगिता पुरस्कार का दान करने का सुझाव दिया है।
उन्होंने कहा कि मैंने तो इस चित्र को प्रतियोगिता में महज़ इसलिए शामिल किया था ताकि इस बात पर बहस हो कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस जनित फ़ोटो और हमारे द्वारा खींची गई फोटो में क्या अंतर हो सकता है। और इसको लेकर के बहस शुरू हो। फोटो की दुनिया में इसे लेकर एक खुली चर्चा की ज़रूरत वह महसूस करते है। उनका कहना है कि इस बारे में चर्चा हो कि हम फ़ोटोग्राफ़ी पर क्या विचार करना चाहते हैं। बहरहाल, सोनी वर्ल्ड फ़ोटोग्राफ़ी अवार्ड ने अभी तक एल्गडरसेन के रहस्योद्घाटन के जवाब में कोई बयान जारी नहीं किया है।
हालाँकि इसने वेबसाइट और लंदन में प्रदर्शनी से उनकी इमेज को हटा दिया है। इमेज हटा देने से ऐसा नहीं है कि यह बहस ख़त्म हो जाती है। यह बहस और तेज चल निकलती है। हमको, आप को, सब को यह सोचना चाहिए कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एआई कहाँ कहाँ हमारी ज़रूरतें ख़त्म कर रहा है। क्या हम अपनी नई ज़रूरतें तैयार कर सकते हैं। या हमें अपनी जगहें एआई के लिए ख़ाली करनी पड़ेगी।