Rising Prices: किचन में सब्जी बनाना हुआ महंगा, लहसुन-प्याज की बढ़ती कीमतों ने बिगाड़ दिया खाने का स्वाद
Rising Prices: बढ़ती कीमतों पर प्याज व लहसुन व्यापारियों का कहना है कि पुरानी फसल खत्म हो गई है और नई फसल से मांग की पूर्ति नहीं हो पा रही है। इसके चलते ही इनकी कीमतें बढ़ रही हैं।
Rising Prices: प्याज और लहसुन ने अपने तेवर दिखाने शुरू कर दिए हैं। इससे रसोई के बजट के साथ ही सब्जी का स्वाद भी बिगड़ गया है। लहसुन और प्याज की कीमतें आसमान छू रही हैं। इससे आम लोगों के खरीद से ये दोनों चीजें बाहर होती जा रही हैं। इससे उनके किचन की सब्जी जहां अब फीकी पड़ गई है तो भोजन का स्वाद भी बेमजा हो गया है। इस समय थोक बाजारों में जहां लहसुन की कीमत 300 रुपये प्रतिकिलो पहुंच गई है तो वहीं खुदरा बाजार में 400 रुपये बिक रहा है।
80 रुपए किलो बिक रहा है प्याज
वहीं अगर प्याज की बात करें तो यह भी अपना तेवर दिखाने लगा है। इस समय बाजार में 80 रुपए किलो प्याज बिक रहा है। प्याज की बढ़ती कीमतों से केवल ग्राहक ही नहीं बल्कि विक्रेता भी परेशान हैं। इस समय थोक बाजारों में प्याज की कीमत 40-60 रुपये प्रति किलोग्राम से बढ़कर 70-80 रुपये प्रति किलोग्राम हो गई है।
व्यापारी बोले-इसलिए बढ़ रहे हैं दाम
बढ़ती कीमतों पर प्याज व लहसुन व्यापारियों का कहना है कि पुरानी फसल खत्म हो गई है और नई फसल से मांग की पूर्ति नहीं हो पा रही है। इसके चलते ही इनकी कीमतें बढ़ रही हैं। व्यापारियों ने बताया कि केवल लखनउ ही नहीं बल्कि देश की राजधानी दिल्ली सहित कई राज्यों में प्याज और लहसुन की कीमतों में काफी उछाल देखा जा रहा है। उनका कहना है कि अब हम नई फसल का इंतजार कर रहे हैं। नई फसल आने के बाद ही लहसुन और प्याज की कीमतों में नरमी देखने को मिलेगी। इंदिरा नगर के मुंशीपुलिया स्थित सेक्सर 16 के सब्जी मार्केट के दुकानदार संजीव गुप्ता का कहना है कि प्याज की कीमतों में एकदम अचानक से उछाल आया है। बीते सप्ताह जो प्याज 40 से 50 रुपये किलो बिक रहा था वह इस समय ठीक दूने दाम पर यानी 80 रुपये किलो बिक रहा है। बढ़ती कीमतों का कारोबार भी सीधा असर पड़ रहा है।
कीमतों में वृद्धि के चलते बिक्री में आई कमी
उनका कहना है कि हम लोग प्याज थोक मंडी से खरीद कर बेचते हैं। वहां से जिस कीमत पर हम खरीदते हैं। उससे कीमत प्रभावित होती है। उनका कहना है कि प्याज की कीमतों में बढ़ोतरी के चलते बिक्री में भी कमी आई है, पहले काफी लोग प्याज खरीदते थे अब उसकी तुलना में कम लोग ही प्याज खरीद रहे हैं।
महाराष्ट्र चुनाव के बाद ही कीमतों में आएगी कमी
प्याज की कीमतों में अभी कमी आने की कोई संभावना नहीं दिख रही है। जानकारों की मानें तो महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के बाद ही प्याज की कीमतों में गिरावट देखने को मिलेगी। इससे पहले इसके दाम और बढ़ सकते हैं। हो सकता है कि प्याज की कीमत 100 रुपए भी पार कर जाए।
प्याज की खेती में नंबर एक पर है भारत
प्याज की खेती में भारत दुनिया में नंबर एक पर है। भारत दुनिया का सबसे अधिक प्याज उत्पादन करने वाला देश है। भारत में सबसे अधिक प्याज उत्पादक राज्य महाराष्ट्र है। नासिक के लासलगांव में एशिया की सबसे बड़ी प्याज मंडी है। प्याज उत्पादन में इसके बाद मध्य प्रदेश, कर्नाटक, गुजरात, राजस्थान, बिहार, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, उत्तर प्रदेश और हरियाणा का नंबर आता है। भारत में साल 2021-22 में प्याज उत्पादन में महाराष्ट्र की हिस्सेदारी 42.53 फीसदी थी। उसके बाद 15.16 फीसदी की हिस्सेदारी के साथ मध्य प्रदेश दूसरे नंबर पर था। भारत में प्याज की खेती का लगातार विस्तार हो रहा है। इसलिए उत्पादन भी बढ़ रहा है।