नई दिल्लीः राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) ने शनिवार को अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (एएमयू) प्रशासन पर सीधा निशाना साधते हुए कहा है कि ये अल्पसंख्यक संस्थान नहीं है। एक सेमीनार में आरएसएस के सह कार्यवाह कृष्णगोपाल ने कहा है कि ऐसे में एससी, एसटी और ओबीसी को आरक्षण का लाभ न देकर एएमयू का प्रशासन घोर अपराध कर रहा है।
क्या कहा आरएसएस ने?
-संघ के सह कार्यवाह डॉ. कृष्णगोपाल ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने भी 1968 में कहा था कि एएमयू अल्पसंख्यक संस्थान नहीं है।
-यूपीए सरकार ने इसे अल्पसंख्यक संस्थान मानने संबंधी अपील सुप्रीम कोर्ट में की थी, लेकिन मौजूदा सरकार ने अपील वापस लेने का फैसला किया है।
-मौलाना अबुल कलाम आजाद, जवाहरलाल नेहरू, लाल बहादुर शास्त्री और इंदिरा ने भी एएमयू को अल्पसंख्यक संस्थान नहीं माना था।
-काशी हिंदू विश्वविद्यालय जैसा ही एएमयू एक्ट बना, लेकिन यहां का प्रशासन इसे अल्पसंख्यक संस्थान बताता है।
बीजेपी सांसद ने क्या कहा?
-लालगंज से बीजेपी सांसद नीलम सोनकर ने कहा कि वह ये मुद्दा संसद में उठाएंगी।
-सांसद ने कहा कि लोग ये मानते हैं कि एएमयू सिर्फ मुसलमानों के लिए बना है।
-कृष्णगोपाल ने कहा कि एएमयू की ओर से आरक्षण न देना भेदभाव और बड़ा अपराध है।
-उन्होंने ये भी कहा कि अगर ये अल्पसंख्यक संस्थान होता तो यूनिवर्सिटी की जगह मदरसा होता।