जानिए भाजपा ने मायावती व अखिलेश की शिकायत चुनाव आयोग से क्यों की

राठौर ने चुनाव आयोग से कहा कि आखिरी चरण का मतदान 19 मई’ को होना है तथा आखिरी चरण के मतदान का प्रचार-प्रसार 17 मई’ को सायं 6 बजे ही समाप्त हो गया था, लेकिन 17 मई’ को ट्वीट करके मतदाताओं को प्रभावित करने का काम किया गया। जो चुनाव आयोग के नियमों और आदर्श आचार संहिता का खुला उल्लंघन है।

Update:2019-05-18 21:27 IST

लखनऊ : भारतीय जनता पार्टी ने समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव व बसपा सुप्रीमों मायावती द्वारा चुनाव प्रचार समाप्त होने के बावजूद चुनाव प्रचार करने की शिकायत चुनाव आयोग से की।

राठौर ने चुनाव आयोग से कहा कि आखिरी चरण का मतदान 19 मई’ को होना है तथा आखिरी चरण के मतदान का प्रचार-प्रसार 17 मई’ को सायं 6 बजे ही समाप्त हो गया था, लेकिन 17 मई’ को ट्वीट करके मतदाताओं को प्रभावित करने का काम किया गया। जो चुनाव आयोग के नियमों और आदर्श आचार संहिता का खुला उल्लंघन है।

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राठौर ने कहा कि अंतिम चरण के होने वाले मतदान 19 मई’ का चुनाव प्रचार का समय 17 मई’ की शाम 6 बजे ही समाप्त हो गया फिर भी 18 मई’ को सुबह बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष द्वारा दो ट्वीट किये गये और दोनों ही ट्वीट मतदान को प्रभावित करने वाले हैं तथा चुनाव प्रचार की श्रेणी में आते हैं।

राठौर ने कहा अखिलेश यादव और उनकी पार्टी ना कभी बाबा साहब अंबेडकर को मानते थे और ना ही बाबा साहब के बनाए हुए संविधान को ही मानते थे लेकिन विडंबना यह है कि बसपा सुप्रीमो मायावती भीम बाबा साहब के बनाए हुए संविधान की अवहेलना करते हुए संवैधानिक संस्थाओं की अवहेलना कर रही है लोकसभा चुनाव के दौरान यदि देखा जाए तो मायावती जी ने हर बार चुनाव आयोग की मंशा के विरुद्ध ही आचरण किया है।

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भारतीय जनता पार्टी ने चुनाव आयोग से मांग करते हुए कहा कि राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव एवं बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती के विरुद्ध संज्ञान लेकर आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन की कठोरतम कार्यवाही अमल में लाई जाए

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