Dark Web की 'काली' है पूरी दुनिया! यहां सब कुछ चकाचौंध पर 'Hi-Fi' रिस्क

Dark Web: डार्क वेब को गूगल क्रोम या फायर फॉक्स जैसे सामान्य ब्राउजरों से एक्सेस नहीं किया जा सकता है। डार्क वेब पर की गई गतिविधियों को पकड़ पाना मुश्किल होता है।

Written By :  Snigdha Singh
Update:2024-07-01 14:03 IST

Dark Web की 'काली' है पूरी दुनिया  (photo: social media )

Dark Web: डार्क वेब, जिसके नाम में ही 'काला' है। बीते दिनों ये शब्द बड़ी तेजी से चर्चा में आया। दरअसल, NEET औऱ UGC-NET परीक्षा लीक होने से देशभर में बड़ा बवाल हुआ। मामले में जब जांच हुई तो पता चला पेपर लीक होने का माध्यम डार्क वेब ही बना। लेकिन आपको मालूम है कि डार्क वेब क्या है और किस तरह से काम करता है? रिसर्च और मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो इस दुनिया में एक अलग ही काला बाजारी चलती है। ये बातचीत के साथ अन्य कई तरह की जानकारियों के लिए भी लोग अवैध तरीके से इस्तेमाल करते हैं।

क्या है डार्क वेब (What Is Dark Web)

डार्क वेब ओनियन राउटिंग टेक्नोलॉजी (ToR) पर काम करता है। ये यूजर्स को सर्विलांस और ट्रैकिंग से बचाने का काम करता है और उनकी गोपनीयता को बरकरार रखने में मदद करता है। डार्क वेब इंटरनेट का वह हिस्सा है, जहां वैध और अवैध दोनों तरीके की गतिविधियों को अंजाम दिया जाता है। आसान भाषा में इसे इंटरनेट का काला बाजार कह सकते हैं। डार्क वेब को गूगल क्रोम या फायर फॉक्स जैसे सामान्य ब्राउजरों से एक्सेस नहीं किया जा सकता है। डार्क वेब पर की गई गतिविधियों को पकड़ पाना मुश्किल होता है। ऐसा इसलिए होता है, क्योंकि डार्क वेब बहुत सारी आईपी एड्रेस से कनेक्ट और डिस्कनेक्ट होता है, जिसके कारण इसको ट्रैक कर पाना नामुमकिन होता है।


डार्क वेब पर कानून सख्त शिकंजा (Laws For Dark Web)

कई देशों में कानून प्रवर्तन एजेंसियों ने अवैध दवा बिक्री और अन्य अवैध गतिविधियों के लिए जाने जाने वाले एक प्रमुख डार्क वेब बाज़ार को खत्म करने के लिए प्रयास कर रही हैं। इसके लिए एक ऑपरेशन भी चला, जिसमें अंडरकवर एजेंट और साइबर विशेषज्ञ शामिल थे। कई गिरफ्तारियां हुईं और बड़ी मात्रा में क्रिप्टोकरेंसी जब्त की गई। गुमनामी और एन्क्रिप्शन के इस खेल से बढ़ रही चुनौतियों के बावजूद डार्क वेब पर आपराधिक गतिविधियों से निपटने के लिए सरकारें नए नियम जारी कर रही है।


क्यों होता डार्क वेब का इस्तेमाल

डार्क वेब की छवि भले ही खराब है, लेकिन इसका इस्तेमाल करने के कई फायदे हैं। लेकिन यदि कोई सरकारी, अंडरकवर मिशन जैसी ऐसी जरूर प्राइवेसी को बरकरार रखने के लिए डार्क वेब का इस्तेमाल कर सकते हैं। 70.79% यूजर्स प्राइवेसी के लिए टोर ब्राउज़र का उपयोग करने का दावा करते हैं, 62.28% ने कहा कि वे इसे प्राइवेसी और सीक्रेसी के लिए उपयोग करते हैं, और 27.07% ने डार्क वेब के बारे में जिज्ञासा से इसका उपयोग किया। चूंकि उपयोगकर्ताओं को ट्रैक करने का कोई तरीका नहीं है, इसलिए डार्क वेब पर बातचीत करना अत्यधिक सुरक्षा और गोपनीयता सुनिश्चित करता है।


डार्क वेब पर क्या क्या उपलब्ध

आप डार्क वेब पर न केवल बातचीत कर सकते हैं बल्कि चोर बाजार की तरह वहां कई ऐसी चीजें भी खरीद भी सकते हैं, जो अन्य जगहों पर आसानी से उपलब्ध नहीं हैं। कपड़े, फुटवियर, महंगे ब्रांड के प्रोडक्ट तो उपलब्ध ही हैं इसके अलावा रिसर्च पेपर, हैक किए गए नेटफ्लिक्स अकाउंट, नकली पासपोर्ट, चोरी किए गए सोशल सिक्योरिटी नंबर, क्रेडिट कार्ड अकाउंट नंबर आदि वैध और अवैध सभी तरह की खरीदारी कर सकते हैं। डार्क वेब पर बहुत कुछ उपलब्ध है, हालाँकि उनमें से बहुत कुछ आपको शायद नहीं खरीदना चाहिए।


"न्यूजट्रैक डार्क वेब जैसी अवैध गतिविधियों के खिलाफ है, इस आर्टिकल का उद्देश्य मात्र जानकारी देना और सतर्क करना है।"

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