लखनऊ : यूपी के मुख्य सचिव आलोक रंजन 31 मार्च को रिटायर हो रहे हैं, इसलिए नौकरशाही के इस सबसे बड़े पद के लिए अन्य बड़े आईएएस अधिकारियों ने राजनेताओं के चक्कर लगाने शुरू कर दिए हैं। हालांकि नौकरशाही में इस बात की भी चर्चा है कि उनकी लोकप्रियता तथा काम करने के अंदाज और तरीके से उन्हें सेवा विस्तार मिल जाए। चर्चा ये भी है कि आलोक रंजन का उत्तराधिकारी दिल्ली से भी आ सकता है।
आलोक रंजन के काम से अखिलेश सरकार खुश
-सीएम के दो ड्रीम प्रोजेक्ट लखनऊ-आगरा एक्सप्रेस वे तथा लखनऊ मेट्रो को उतारा धरातल पर।
नेताजी का भी वरद हस्त
-मुख्य सचिव को सपा प्रमुख मुलायम सिंह यादव का भी वरद हस्त मिला हुआ है।
मुख्य सचिव की दौड़ में ये भी
-राज्य के मुख्य सचिव की दौड़ में 1979 बैच के अनिल कुमार गुप्ता भी हैं।
-1982 बैच के प्रवीर कुमार और दीपक सिंघल भी इस रेस में शामिल हैं।
-प्रवीर एग्रीकल्चर प्रोडक्शन आयुक्त के महत्वपूर्ण पद पर हैं जिसे मुख्य सचिव के बाद का माना जाता है।
-1982 बैच के ही रोहित नंदन और नीरज कुमार गुप्ता केन्द्र की प्रतिनियुक्ति में सचिव पद पर हैं।