NRC की आहट से डरा मुस्लिम समाज, जन्म प्रमाणपत्र बनवाने को उमड़ रहे लोग

देश में CAA और NPR के बाद NRC की आहट से मुस्लिम समाज डर गया है और वह अब अपनी नागरिकता साबित करने के साक्ष्य जुटाने में जुट गया है।

Update: 2019-12-28 10:24 GMT

बाराबंकी: देश में CAA और NPR के बाद NRC की आहट से मुस्लिम समाज डर गया है और वह अब अपनी नागरिकता साबित करने के साक्ष्य जुटाने में जुट गया है। बाराबंकी में इस समय जन्म प्रमाणपत्र बनवाने की बाढ़ सी आ गयी है और इसका प्रमाणपत्र बनवाने में सबसे ज्यादा जिले का मुस्लिम समाज है। जन्म प्रमाणपत्र बनवाने की खिड़की पर पहले कोई आता नहीं था, मगर अब किसी भी समय यहां दो चार लोगों की भीड़ देखी जा सकती है ।

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बाराबंकी जनपद के कलक्ट्रेट में बने जन्म प्रमाणपत्र कार्यालय पर आज यहां का नज़ारा बदला हुआ दिखाई दिया । जिस खिड़की पर कोई आता नही था वहां अब हर समय भीड़ देखी जा सकती है। यह भीड़ किसी और की नहीं बल्कि जिले के उस मुस्लिम समाज की है जो केन्द्र सरकार द्वारा प्रस्तावित NRC की आहट से डरा हुआ है। वह इस बात से डरे हुए है कि जब उनसे नागरिकता संबंधी दस्तावेज मांगे जाएंगे तो वह क्या पेश करेंगे।

1996 में हुआ था जन्म

जिले के एक बुजुर्ग राशिद जो अपनी बेटी का 24 साल बाद जन्म प्रमाणपत्र बनवाने के लिए आये थे। हमसे बताया कि वह अपनी उस बेटी का जन्म प्रमाणपत्र बनवाने के लिए आये हैं। जिसका जन्म 1996 में हुआ था। अब तक इस प्रमाणपत्र की जरूरत नही थी मगर अब शायद इसकी जरूरत पड़े तो इसी लिए वह यहां आये हुए हैं।

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जन्म प्रमाणपत्र बनाने का काम कर रहे लिपिक सर्वेश कुमार ने बड़ा कुरेदने के बाद हमें बताया कि इस समय उनका काम काफी बढ़ गया है और जिसकी वजह से ज्यादा मेहनत करनी पड़ रही है। पहले यहां आने वालों की संख्या काफी कम होती थी मगर इधर कुछ दिनों से यह संख्या काफी बढ़ गयी है। प्रमाणपत्र बनवाने में सबसे ज्यादा आवेदन मुस्लिम समाज के लोगों के आ रहे हैं जिनका नियमतः बनाया भी जा रहा है।

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