होम आइसोलेशन के लोगों को मिलेगी ऑक्सीजन, हर जिले के लिए एक रीफिलर नामित

उत्तर प्रदेश में संक्रमित मरीजों की संख्या लगातार बढ़ने के कारण कोविड बेडों की संख्या निरन्तर बढ़ाई जा रही है।

Written By :  Shreedhar Agnihotri
Published By :  Monika
Update:2021-05-11 13:38 IST

ऑक्सीजन सिलेंडर (सांकेतिक फोटो: सोशल मीडिया)

लखनऊ: उत्तर प्रदेश में संक्रमित मरीजों (Corona Patients) की संख्या लगातार बढ़ने के कारण कोविड बेडों (bed) की संख्या निरन्तर बढ़ाई जा रही है। इसके अलावा अस्पतालों में ऑक्सीजन प्लांट (Oxygen Plant) लगाए जा रहे है। इस दौरान अस्पतालों में 1003 मीट्रिक टन ऑक्सीजन की सप्लाई की गयी है। राज्य सरकार की तरफ से कहा गया है कि होम आइसोलेशन (home isolation) के मरीजों को ऑक्सीजन की उपलब्धता सुनिश्चित कराने के लिए अब हर जनपद में एक रीफिलर (refiller) नामित किया जायेगा।

इस बात की जानकारी देते हुए अपर मुख्य सचिव नवनीत सहगल ने बताया कि प्रदेश में एग्रेसिव टेस्ट, ट्रैक और ट्रीट की नीति पर कार्य करने से कोविड संक्रमण के नियंत्रण में अच्छे परिणाम मिल रहे है। 1 मई को प्रदेश में कुल एक्टिव केसों की संख्या 3,01,833 थी, जो लगभग 77,000 घटकर आज 2,25,271 हो गयी है। इसी तरह प्रदेश में नए मामलों की संख्या 1 मई के 30,317 से घटकर आज 21,331 हो गयी है। प्रदेश में 1 मई को 2 लाख 79 हजार लोग होम आइसोलेशन में थे जिनकी संख्या घटकर 1 लाख 66 हजार हो गई है। उन्होंने बताया कि प्रदेश में कोविड-19 के प्रतिदिन 2 लाख से अधिक टेस्ट किए जा रहे है।

सहगल ने बताया कि सर्विलांस के माध्यम से घर घर जा कर लोगों से कोविड के लक्षणों की जानकारी ली जा रही है। सर्विलांस के माध्यम से प्रदेश में अब तक 16.66 करोड़ से अधिक लोगों तक पहुंच कर उनका हाल-चाल जाना गया है। उन्होंने बताया कि सर्विलांस के साथ-साथ 97 हजार राजस्व गाँवों में लोगों से सम्पर्क करते हुए कोविड लक्षणयुक्त लोगों की पहचान कर उनका कोविड टेस्ट तथा उन्हें मेडिकल किट प्रदान की जा रही है। गाँव में निगरानी समिति के द्वारा गाँव में रहने वाले लोगों से सम्पर्क कर कोविड लक्षणों की जानकारी ली जा रही है। कोविड लक्षण मिलने वाले लोगों की आरआरटी टीम द्वारा एंटीजन कोविड टेस्ट किया जा रहा है।

पंचायत भवन-स्कूल में मरीजों को किया जाएगा आइसोलेट

उन्होंने बताया कि गाँव में संक्रमण युक्त लोगों को होम आइसोलेशन में रखने के लिए गाँव में ही पंचायत भवन, स्कूल, सरकारी इमारतों में आइसोलेट करके उनका उपचार किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि प्रदेश में 18 से 44 वर्ष के आयु के लोगों के साथ-साथ 45 वर्ष से अधिक लोगों का कोविड वैक्सीनेशन किया जा रहा है। जिसके तहत अब तक 1 करोड़ से अधिक डोज लगाए जा चुके हैं।

सहगल ने बताया कि प्रदेशव्यापी आंशिक कोरोना कर्फ्यू के सकारात्मक परिणाम देखने को मिल रहे हैं। आंशिक कोरोना कर्फ्यू में वैक्सीनेशन, औद्योगिक गतिविधियों, मेडिकल सम्बन्धी कार्य आदि आवश्यक अनिवार्य सेवाएं यथावत जारी रहेंगी। आंशिक कोरोना कर्फ्यू की अवधि में पूरे प्रदेश के शहरों और गांवों में विशेष सफाई एवं फॉगिंग अभियान चलाया जा रहा है।

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