Prayagraj News: हनुमान मंदिर कॉरिडोर निर्माण की आज से शुरुआत, महाकुंभ से पहले पूरा होगा पहले चरण का कार्य
Prayagraj News: लगभग 3 एकड़ में बनेगा कोरिडोर, 6 प्रवेश द्वार और 40 प्रसाद की होगी दुकानें।
Prayagraj News: संगम की रेती पर लगने वाले महाकुंभ 2025 से पहले शहर के धार्मिक स्थलों का सौंदर्यीकरण किया जा रहा है। संगम स्थित लेटे हनुमान मंदिर का भव्य कॉरिडोर का निर्माण भी बनाया जा रहा है। जिसकी औपचारिक तौर पर आज से शुरुआत हो गया है। बड़े हनुमान मंदिर के महंत बलबीर गिरी की मौजूदगी में बकायदा पूजा अर्चना के बाद कॉरिडोर के निर्माण का कार्य शुरु किया गया।
महंत बलबीर गिरी के मुताबिक बड़े हनुमान मंदिर कॉरिडोर के पहले चरण का काम आज से शुरु हो गया है। दिसंबर 2024 तक इसको पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है। उन्होंने बताया कि पहले चरण में प्रवेश और निकास के लिए दो बड़े द्वार के अलावा मंदिर परिसर में दस द्वार बनाए जाएंगे। कॉरिडोर की दीवारों पर बजरंग बली से जुडी आकृतियों को दर्शाया जाएगा, हनुमान जी ने भगवान राम के काज कैसे संवारे उसे भी इसमें दर्शाने की कोशिश की जाएगी।
महंत कक्ष के अलावा प्रसाद तैयार करने के लिए किचन का भी निर्माण कार्य होना है। श्रद्धालुओं के बैठने और पूजा सामग्री से जुडी दुकानों का भी निर्माण होना है। सुरक्षा के लिहाज से भी जरुरी इंतेजाम मंदिर परिसर में किए जाएंगे। मंदिर से जुड़ने वाली सड़कों का भी चौड़ीकरण होना है। कुल मिलाकर महाकुंभ से पहले बड़े हनुमान मंदिर का पूरी तरह से कायाकल्प हो जाएगा।
कब्जा हटाने की भी प्रक्रिया
कॉरिडोर का निर्माण 11,186 वर्गमीटर (2.76 एकड़) में होना है। एजेंसी सबसे पहले चहारदीवारी बनाएगी। निर्माण के साथ कब्जा हटाने की भी प्रक्रिया होगी। वर्तमान में मंदिर और सामने के पार्क का जो परिसर है, लगभग उतने में ही कॉरिडोर का निर्माण होगा। फिलहाल अभी मंदिर में प्रवेश के लिए दो द्वार है। कॉरिडोर बनने के बाद छह द्वार हो जाएंगे, तब प्रवेश अक्षयवट मार्ग से होगा। श्रद्धालु संगम स्नान करके निकलेंगे तो अक्षवट मार्ग से मंदिर कॉरिडोर में दाखिल होंगे और दर्शन करके बांध की ओर से निकलेंगे। इससे पहले वह अक्षयवट का भी दर्शन कर सकेंगे। कॉरिडोर की चहारदीवारी पर पूजन सामग्री और प्रसाद की 40 दुकानें बनाई जाएंगी।
6170 वर्गमीटर का ओपन हाॅल रहेगा। मंदिर में प्रवेश के लिए घुमावदार रास्ता 624 वर्गमीटर में होगा। इसके अलावा सिक्योरिटी रूम, किचन, सुविधा ब्लाॅक और महंत भवन बनाए जाएंगे। श्रद्धालुओं के बैठने के लिए बेंच लगाई जाएगी। हरियाली की भी व्यवस्था रहेगी। मंदिर के गर्भगृह को छोड़कर अन्य काम दिसंबर तक पूरा हो जाएगा। इसका टेंडर 38.73 करोड़ रुपये का हुआ है।