UN हेडक्वार्टर के सामने बलूच कार्यकर्ताओं का विरोध, कहा- यूएन, यूएन, कहां हो तुम ?

यूएन हेडक्वार्टर के सामने बलूच कार्यकर्ताओं के एक समूह ने विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों ने पाकिस्तान द्वारा बलूचिस्तान में किए जा रहे मानवाधिकार उल्लंघन के खिलाफ आवाज उठाई। यह प्रदर्शन फ्री बलूचिस्तान मूवमेंट (एफबीएम) की ओर से यूएन हेडक्वार्टर के 71 वें सेशन के दौरान सड़क पर आयोजित कराया गया था।

Update:2016-09-14 19:57 IST

न्यूयॉर्क: यूएन हेडक्वार्टर के सामने बलूच कार्यकर्ताओं के एक समूह ने विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों ने पाकिस्तान द्वारा बलूचिस्तान में किए जा रहे मानवाधिकार उल्लंघन के खिलाफ आवाज उठाई। यह प्रदर्शन फ्री बलूचिस्तान मूवमेंट (एफबीएम) की ओर से यूएन महासभा के 71 वें सेशन के दौरान सड़क पर आयोजित कराया गया था।

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बलूचिस्तान के मुद्दों को यूएन में क्यों नहीं उठाता

-प्रदर्शनकारियों का कहना है कि कोई भी देश बलूचिस्तान के मुद्दों को यूएन में क्यों नहीं उठाता है।

-पाकिस्तान के अत्याचार के खिलाफ केवल बलूच लोग आवाज उठा रहे हैं।

-प्रदर्शनकारियों ने पाकिस्तानी बलों पर पिछले कुछ साल में लगभग 5000 लोगों को मारने और लगभग 20,000 लोगों को जबरन लापता करने का आरोप लगाया।

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बलूचिस्तान दूसरा बांग्लादेश है

प्रदर्शनकारियों ने सड़क पर बैनर के उपर खून से रंगी 5 गुड़िया भी रखी थी। प्रदर्शनकारियों ने एक बैनर पर लिखा था कि बलोच बच्चों को बचाओ। इसके साथ ही उन्होंने लिखा कि यूएन, यूएन, कहां हो तुम ? , बलूचिस्तान दूसरा बांग्लादेश है और बलूचिस्तान को तोड़ना बंद करो।

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बता दें कि पाकिस्तान के अत्याचारों को दुनिया के सामने लाने के लिए बलोच मूवमेंट जर्मनी, लंदन, कोरिया और ऑस्ट्रेलिया में प्रदर्शन कर चुका है। पाकिस्तान के पीएम नवाज शरीफ 21 सितंबर को महासभा को संबोधित करेंगे। इसके पांच दिन बाद भारत की विदेश मंत्री सुषमा स्वराज वैश्विक नेताओं को संबोधित करेंगी।

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गौरतलब है कि पीएम नरेंद्र मोदी ने स्वतंत्रता दिवस पर लाल किले से बलूचिस्तान और पाक अधिकृत कश्मीर (पीओके) पर बयान दिया था। जिसका बलूचिस्तान के नेताओं और लोगों ने खूब स्वागत किया। पीएम मोदी ने कहा था कि पाक अधिकृत कश्मीर (पीओके) हमारा है और बलूचिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में वहां के सुरक्षाबलों द्वारा लोगों पर किए जा रहे अत्याचारों को दुनिया के सामने लाने की जरूरत है। इसके बाद बलूच नेताओं ने भी पीएम मोदी के बयान की सराहना करते हुए पाकिस्तान की आलोचना की थी।

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