खोस्त (अफगानिस्तान): जब-जब पाकिस्तान और अफगानिस्तान का दिमाग घूमता है दोनों एक दूसरे पर लड़ाकू पड़ोसियों की तरह तू-तू मैं-मैं शुरू कर देते हैं। एक बार फिर से पाक-अफगान की डूरंड रेखा पर ऐसा ही कुछ हुआ है। अफगानिस्तान में रहने वाले पठानों (पश्तून) ने सीमा पर लगे पाक के झंडे और उनके बनाये गए ढांचों को नेस्तनाबूत कर दिया है। पाकिस्तान ने भले ही अभी तक अपनी कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है, लेकिन माना जा रहा है कि पाक इससे काफी बौखलाया हुआ है।
यह भी पढ़ें...INDIA का खास दोस्त था ये, अब पाकिस्तानी सेना के साथ कर रहा युद्ध अभ्यास
खोस्त क्षेत्र में जाजी मैदान प्रांत के पास रहने वाले पठानों और अन्य स्थानीय लोगों ने पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच 2,430 किलोमीटर (1,510 मील) की अंतरराष्ट्रीय सीमा से पाकिस्तानी ध्वज और ढांचे को हटा दिया है।
एक एजेंसी के अनुसार, इससे पहले अफगानिस्तान के विदेश मामलों के प्रवक्ता शेकीब मुस्तघनी ने कहा था कि अफगानिस्तान-पाकिस्तान के वास्तविक सीमा के दोनों किनारों में रहने वाले लोगों द्वारा डूरंड रेखा पर कोई भी निर्णय करने की आवश्यकता होगी।
मुस्तघनी ने कहा कि पाकिस्तानी सेना ने नांगरहार, कुनार, खास्त, पख्तिया, ज़बुल और कंधार प्रांत में अनगिनत घुसपैठ के साथ वास्तविक सीमा का उल्लंघन किया है।
उन्होंने यह भी कहा कि डूरंड रेखा में पाकिस्तानी सेना द्वारा घुसपैठ अस्वीकार्य है और सुरक्षा बलों और अफगान सरकार देश की सार्वभौमिकता की रक्षा के लिए तैयार है और पूरी रेखा में कार्रवाई जारी रहेगी।
यह भी पढ़ें...हम IT सेक्टर में आगे पाकिस्तान आतंकवाद पर : UNGA में सुषमा
उनके अनुसार, अफगानिस्तान ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के साथ क्रॉस डूरंड रेखा आक्रमण के बारे में शिकायत दर्ज कराई है।
डूरंड रेखा अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच 2640 किमी लम्बी सीमा रेखा है। इस रेखा का नाम सर मार्टिमर डूरंड के नाम पर रखा गया है। इसका निर्धारण साल 1893 मे ब्रिटिश और अफगान ऑफिसर के बीच हुआ था।