महाशिवरात्रि पर आसान नहीं होगा शिव दर्शन, जानिए कहां जाएं- कहां नहीं...

कोरोना की वजह से गर्भगृह में प्रवेश और शिवलिंग स्पर्श पर रोक लगाई गई हैं। ऐसी स्थिति में श्रद्धालु मंदिर के द्वार पर लगे अरघे से जलाभिषेक कर सकेंगे। इसके लिए मंदिर प्रबंधन की ओर से खास तैयारियां की गई हैं।

Suman  Mishra | Astrologer
Published on: 11 March 2021 4:04 AM GMT
महाशिवरात्रि पर आसान नहीं होगा शिव दर्शन, जानिए कहां जाएं- कहां नहीं...
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महाशिवरात्रि पर आसान नहीं होगा शिवदर्शन, जानिए कहां जाएं- कहां नहीं.

लखनऊ: आज महाशिवरात्रि है और कोरोना की वजह से देवदर्शन आप खूल कर नहीं कर सकते है। लेकिन इस बार महाशिवरात्रि के पर्व को देखते हुए देशभर के प्रमुख शिव मंदिर में तैयारी पूरी हो चुकी है। हर प्रसिद्ध मंदिरों में कोविड प्रोटोकाल और कोविड संक्रमण के चलते विशेष तैयारियां की गई है। कोरोना के कारण महाराष्ट्र के त्र्यम्बकेश्वर मंदिर में जहां पहली बार श्रद्धालु मंदिर में नहीं जा सकेंगे। वहीं उज्जैन के महाकाल मंदिर में शिव भक्तों को दो किलोमीटर पैदल चलकर मंदिर में जाना होगा। श्रद्धालु 45 मिनट में दर्शन कर बाहर भी जाएंगे।

धारा 144 लागू

नासिक स्थित त्र्यम्बकेश्वर मंदिर के पुजारी ने बताया कि, मंदिर में शिवरात्रि की पूजा सुबह पांच बजे शुरू होगी। सुबह, दोपहर और शाम को ढाई घंटे की विशेष पूजा होगी। कोरोना प्रोटोकाल और कोरोना संक्रमण के चलते शहर में धारा 144 लागू हैं। इसलिए पहली बार लोग श्रद्धालु मंदिर में आकर भगवान के दर्शन नहीं कर सकेंगे। लेकिन मंदिर के अंदर ट्रस्ट के पुजारी विशेष पूजा-अर्चना करते रहेंगे। रात के जागरण में भी आम लोग शामिल नहीं होंगे।

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बाबा महाकाल के दर्शन -पैदल चलना होगा।

मध्यप्रदेश के महाकाल मंदिर में महाशिवरात्रि को लेकर विशेष तैयार की गई हैं। बाबा महाकाल के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं को करीब दो किमी तक पैदल चलना होगा। उज्जैन कलेक्टर ने बताया कि, श्रद्धालु केवल 45 मिनट में भगवान के दर्शन कर सकेंगे। गर्मी को देखते हुए हर थोड़ी थोड़ी दूर पर श्रद्धालुओं के लिए पानी की व्यवस्था भी की गई है। कोविड संक्रमण और कोविड प्रोटोकाल का ध्यान में रखते हुए मंदिर में ज्यादा समय तक श्रद्धालुओं को रुकने नहीं दिया जाएगा। मंदिर में दर्शन सुबह छह बजे से शुरु होंगे।

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मंदिर 24 घंटे खुला रहेगा

वहीं, मध्यप्रदेश के ओंकारेश्वर में महाशिवरात्रि पर सुबह 4 बजे मंदिर खोले जाएंगे। मंदिर के प्रशासन एसडीएम चंद्र सिंह सोलंकी ने बताया कि, श्रद्धालु सुबह 8 बजे तक ज्योतिर्लिंग श्री ओंकारेश्वर भगवान के समीप लगे पात्र में जल चढ़ा सकेंगे। श्रद्धालुओं को सुबह 8 से शाम 6 बजे तक जल चढ़ाने की व्यवस्था की गई है। मंदिर 24 घंटे खुला रहेगा। दर्शन की व्यवस्था सामान्य रहेगी। प्रशासन का लक्ष्य एक मिनट में 5 लोगों को दर्शन कराने का है। गुरुवार को एक लाख से ज्यादा लोग के दर्शन करने का अनुमान है।

महाशिवरात्रि को लेकर तैयारी पूरी

देवघर स्थित बैद्यनाथ मंदिर के उपायुक्त और सह मंदिर प्रशासक ने कहा कि, मंदिर में महाशिवरात्रि को लेकर तैयारी पूरी हो चुकी है। इस मौके पर निकलने वाली शिव बारात हमेशा से श्रद्धालुओं के लिए आर्कषण का केंद्र रहा है। कोरोना संक्रमण और कोविड-19 प्रोटोकाल के चलते इस बार करीब 34 वर्ष बाद बारात नहीं निकलेगी। मंदिर परिसर में ही एक छोटी यात्रा निकलेगी।

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मंदिर में भगवान को जल अर्पित

उन्होंने बताया कि, मंदिर में पुरोहित सुबह 3 बजकर 5 मिनट पर पूजा शुरू करेंगे जो 4 बजे तक चलेगी। इसके बाद आम श्रद्धालु मंदिर में भगवान को जल अर्पित कर सकेंगे। मंदिर में करीब डेढ़ लाख से ज्यादा श्रद्धालुओं के आने की संभावना हैं। रात 9 बजे तक लोग दर्शन कर सकेंगे। हमें करीब 960 मिनट में सभी श्रद्धालुओ को दर्शन करवाना है। गर्भगृह में ज्यादा भीड़ नहीं हो इसलिए एक व्यक्ति केवल एक या दो सेकंड ही दर्शन कर सकेंगे। एक घंटे में 9 हजार से ज्यादा लोग दर्शन करेंगे। कोविड प्रोटोकाल को ध्यान में रखते हुए श्रद्धालुओं को फ्री मास्क भी वितरित किए जाएंगे।

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श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर में भी शिवरात्रि

उत्तर प्रदेश के वाराणसी के श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर में भी शिवरात्रि की तैयारी पूरी हो चुकी है। मंदिर के जनसंपर्क अधिकारी आशीष सिंह ने बताया कि, कोरोना प्रोटोकाल को ध्यान रखते हुए इस बार श्रद्धालु मंदिर के चारों द्वार से झांकी दर्शन कर सकेंगे।

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शिवलिंग स्पर्श पर रोक

कोरोना की वजह से गर्भगृह में प्रवेश और शिवलिंग स्पर्श पर रोक लगाई गई हैं। ऐसी स्थिति में श्रद्धालु मंदिर के द्वार पर लगे अरघे से जलाभिषेक कर सकेंगे। इसके लिए मंदिर प्रबंधन की ओर से खास तैयारियां की गई हैं। मंगला आरती से मंदिर में पूजा अर्चना शुरू होगी। आम श्रद्धालु सुबह 4 बजे से रात 10.30 तक दर्शन कर सकेंगे। इसके अलावा वीआईपी और दिव्यांगजन के दर्शन की अलग से व्यवस्था की गई है। श्रद्धालुओं के दर्शन के लिए चार एलईडी स्क्रीन लगाए गए हैं। इस पर लगातार लाइव टेलीकास्ट होता रहेगा।

Suman  Mishra | Astrologer

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एस्ट्रोलॉजी एडिटर

मैं वर्तमान में न्यूजट्रैक और अपना भारत के लिए कंटेट राइटिंग कर रही हूं। इससे पहले मैने रांची, झारखंड में प्रिंट और इलेक्ट्रानिक मीडिया में रिपोर्टिंग और फीचर राइटिंग किया है और ईटीवी में 5 वर्षों का डेस्क पर काम करने का अनुभव है। मैं पत्रकारिता और ज्योतिष विज्ञान में खास रुचि रखती हूं। मेरे नाना जी पंडित ललन त्रिपाठी एक प्रकांड विद्वान थे उनके सानिध्य में मुझे कर्मकांड और ज्योतिष हस्त रेखा का ज्ञान मिला और मैने इस क्षेत्र में विशेषज्ञता के लिए पढाई कर डिग्री भी ली है Author Experience- 2007 से अब तक( 17 साल) Author Education – 1. बनस्थली विद्यापीठ और विद्यापीठ से संस्कृत ज्योतिष विज्ञान में डिग्री 2. रांची विश्वविद्यालय से पत्राकरिता में जर्नलिज्म एंड मास कक्मयूनिकेश 3. विनोबा भावे विश्व विदयालय से राजनीतिक विज्ञान में स्नातक की डिग्री

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