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आरके श्रीवास्तव ने गरीब लड़के को बना दिया एनआईटीयन, दक्षिणा में लिया 1 रूपया
संसाधन की कमी के बावजूद आरके श्रीवास्तव ने पढ़ाना आरंभ कर आज जो मुकाम हासिल किया है और जिस तेजी से उस पथ पर अग्रसर होते हुए, गरीब स्टूडेंट्स को इंजीनियर बना रहे है। उसकी जितनी भी प्रशंसा की जाए, वह कम है। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद भी आरके श्रीवास्तव के शैक्षणिक कार्यशैली से काफ़ी प्रभावित हो, प्रशंसा कर चुके हैं।
बिहार: आईआईटी और एनआईटी कॉलेजों में दाखिला लेकर इंजीनियर बनने का सपना हर स्टूडेंट्स को होता है। परन्तू जब यह सपना किसी गरीब स्टूडेंट्स का पुरा होता है तो खुशी कई गुणा अधिक बढ जाता है। आज आपको एक ऐसे गुरु के बारे में बताते है जिसने आदित्या को सिर्फ 1 रूपया गुरु दक्षिणा में पढ़ाकर एनआईटी (NIT) में पहुँचा दिया। वर्ष 2020 में अब आदित्या एनआईटी पटना में सिविल ब्रांच में पढ़ रहा है। रोहतास के कोचस का रहने वाला आदित्या ने एनआईटी में पहुंचने के बाद अपने गुरु आरके श्रीवास्तव से मिलने उनके घर पहुँचा और उन्हें उनका गुरु दक्षिणा 1 रूपया दिया।
1 रूपया गुरु दक्षिणा लेकर पढ़ाने का उदेश्य
आरके श्रीवास्तव ने बताया कि आदित्या जैसे ही गरीब परिवार के स्टूडेंट्स जब सफल होते है, तो काफी खुशी होता है और मेरा 1 रूपया गुरु दक्षिणा लेकर पढ़ाने का उदेश्य सफल होता है। वर्ष 2020 में जहाँ कोरोना के चलते सारे शैक्षणिक संस्थाए बंद है। वही आरके श्रीवास्तव ने ऑनलाइन आकर पूरे रात लगातार 12 घंटे शिक्षा दे रहे है।
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कौन है आरके श्रीवास्तव
आरके श्रीवास्तव के शैक्षणिक कार्य शैली और पाठशाला “सुपर थर्टी” से कम सुपर नहीं है। सिर्फ 1 रूपए गुरू दक्षिणा लेकर सैकड़ों गरीबों को आईआईटी, एनआईटी, बीसीईसीई, एनडीए सहित देश के प्रतिष्ठित संस्थानो में दाखिला दिलाकर उनके सपने को पंख लगाया है। संसाधन की कमी के बावजूद आरके श्रीवास्तव ने पढ़ाना आरंभ कर आज जो मुकाम हासिल किया है और जिस तेजी से उस पथ पर अग्रसर होते हुए, गरीब स्टूडेंट्स को इंजीनियर बना रहे है। उसकी जितनी भी प्रशंसा की जाए, वह कम है। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद भी आरके श्रीवास्तव के शैक्षणिक कार्यशैली से काफ़ी प्रभावित हो, प्रशंसा कर चुके हैं।
गुरु दक्षिणा में लेते है सिर्फ 1रूपए
वहीं आरके श्रीवास्तव के शैक्षणिक आंगन से सिर्फ 1रूपए गुरु दक्षिणा में छात्र शिक्षा ग्रहण कर इंजीनियर तो बन ही रहे है, वहीं कई छात्र NDA में सफल हो भारतीय सेना के विभिन्न अंगों में सेवा देने के लिये भी सफल हो रहे हैं, इसके अलावा श्रीवास्तव अपने माँ के हाथों प्रत्येक वर्ष 50 गरीब स्टूडेंट्स को निःशुल्क किताबे बंटवाने के पुनीत कार्य भी करते हैं।
“Wonder Kids Program” और “Night Classes”
साथ ही ठंड के दिनों में अपनी क्षमता के अनुसार, कम-से-कम 100 जरूरतमंदो को खुद घर-घर पहुँचकर एवं सड़क किनारे ठंड से कांपते लोगो को कंबल बाँटने का पुनीत कार्य भी करते हैं। ऐसे कई सारे सामाजिक कार्यो के लिए भी आरके श्रीवास्तव मशहूर हुए हैं। शिक्षा के क्षेत्र में इनके द्वारा चलाया जा “Wonder Kids Program” और “Night Classes” अद्भुत है। Google boy “Kautilya Pandit” के गुरू के रूप में भी देश इन्हें जानता है।
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गणित सिखाने के लिए मशहूर हैं आरके श्रीवास्तव
मैथमेटिक्स गुरु फेम आरके श्रीवास्तव यानी गणित पढ़ाने का दीवाना, पूरी रात लगातार 12 घण्टे छात्रों को गणित का गुण सिखाते, वर्ल्ड रिकॉर्ड्स होल्डर मैथमेटिक्स गुरु फेम आरके श्रीवास्तव जादुई तरीके से खेल-खेल में गणित का गुण सिखाने के लिए मशहूर हैं। चुटकले सुनाकर खेल-खेल में पढ़ाते हैं।
सैकड़ों स्टूडेंट्स को कचरे से खिलौना बनाया
गणित के मशहूर शिक्षक मैथमेटिक्स गुरु फेम आरके श्रीवास्तव जादुई तरीके से गणित पढ़ाने के लिए जाने जाते हैं। उनकी पढ़ाई की खासियत है कि वह बहुत ही स्पष्ट और सरल तरीके से समझाते हैं। सामाजिक सरोकार से गणित को जोड़कर, चुटकुले बनाकर सवाल हल करना आरके श्रीवास्तव की पहचान है। कचरे से खिलौने बनाकर सैकड़ों स्टूडेंट्स को गणित सिखा चुके हैं।
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