लो सस्ता सोना: 10 ग्राम सिर्फ इतने रुपये में, म्यांमार है तस्करी का अड्डा

सोना की तस्करी आमतौर से बिस्किट के रूप में ही होती रही है, लेकिन समय के साथ कई तरकीबें अपनाई गई हैं। कम क्वांटिटी में तस्करी के लिए तस्कर सोने के बिस्किट निगलने की ट्रिक अपना चुके हैं।

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Published on: 27 Oct 2020 12:09 PM GMT
लो सस्ता सोना: 10 ग्राम सिर्फ इतने रुपये में, म्यांमार है तस्करी का अड्डा
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लो सस्ता सोना: 10 ग्राम सिर्फ इतने रुपये में, म्यांमार है तस्करी का अड्डा

नई दिल्ली: दिल्ली सर्राफा बाजार में मंगलवार को सोने की कीमतों में फिर 137 रुपये की गिरावट आई है। वहीं, इस दौरान चांदी की कीमतों में तेजी आई। एक किलोग्राम चांदी के दाम 475 रुपये तक बढ़ गए। विदेशी शेयर बाजारों में गिरावट और डॉलर में कमजोरी से सोने में तेजी दिख सकती है। राहत पैकेज की उम्मीद और अमेरिका-चीन के बीच टेंशन बरकरार रहने से सोने को निचले स्तर पर सपोर्ट मिलेगा। इससे पहले सोमवार को दिल्ली सर्राफा बाजार में सोना 59 रुपये गिरकर 51,034 रुपये प्रति 10 ग्राम पर बंद हुआ था। चांदी भी 753 रुपये की कमजोरी के साीथ 62,008 रुपये प्रति किलो थी।

सोने का दाम हुआ कम

मंगलवार को दिल्ली सर्राफा बाजार में सोने का भाव 137 रुपये प्रति 10 ग्राम तक निचे आ गया था। राजधानी दिल्ली में 99.9 ग्राम शुद्धता वाले सोने का नया भाव अब 51,108 रुपये प्रति 10 ग्राम है। इसके पहले कारोबारी सत्र में सोने के दाम 51,245 रुपये पर बंद हुए था। वहीं, अंतरराष्ट्रीय बाजार में सोने का भाव 1903.6 डॉलर प्रति औंस रहा है। डॉलर इंडेक्स में 0.1 फीसदी की गिरावट दिखी। सिल्वर 0.5 फीसदी की कमजोरी के साथ 24.45 डॉलर प्रति औंस था।

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चांदी की कीमतों में बढ़ोत्तरी

चांदी की बात करें तो आज इसमें तेजी दर्ज की गई। मंगलवार को दिल्ली सर्राफा बाजार में चांदी 475 रुपये प्रति किलोग्राम महंगी हो गई। इसके दाम 62,173 रुपये प्रति किलोग्राम से बढ़कर 62,648 रुपये प्रति किलोग्राम पर पहुंच गए।

सोने और चांदी के दाम में क्यों आ रही गिरावट

एचडीएफसी सिक्योरिटीज के सीनियर एनालिस्ट (कमोडिटीज) तपन पटेल का कहना है कि रुपये में आई मजबूती और शेयर बाजार में लौटी खरीदारी का असर गोल्ड की कीमतों पर दिखा।

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भारत में ऐसे होती है सोने की तस्करी

सोना की तस्करी आमतौर से बिस्किट के रूप में ही होती रही है, लेकिन समय के साथ कई तरकीबें अपनाई गई हैं। कम क्वांटिटी में तस्करी के लिए तस्कर सोने के बिस्किट निगलने की ट्रिक अपना चुके हैं। खबर के मुताबिक सोने का अन्य रसायनों के साथ एक लेप शरीर पर लगाकर भी तस्करी की कोशिश की जा चुकी है। दूसरी बात है रूट या नेटवर्क। ताज़ा ट्रेंड्स बताते हैं कि मध्य पूर्व और भारत के बीच सोने की तस्करी काफी बढ़ी है क्योंकि मध्य पूर्व में सोने की कीमतें भारत की तुलना में 4 हज़ार रुपये तोला तक कम हैं। तस्करी के कैरियर को प्रति तोला 1 हज़ार रुपये देने के बाद भी 3 हज़ार रुपये प्रति तोला तस्कर को सीधा मुनाफा होता है।

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म्यांमार में सोने की कीमत प्रति तोला 5 हज़ार रुपये

उत्तर पूर्व के चार राज्यों से म्यांमार की सीमा सटी है, जिस पर बड़े इलाके में कोई खास चौकसी का इंतज़ाम भी नहीं है। रिपोर्ट की मानें तो म्यांमार में भी सोने की कीमत प्रति तोला 5 हज़ार रुपये तक भारत की तुलना में कम है। इसलिए यहां से तस्करी लंबे समय से हो रही है। कस्टम और डीआरआई के अफसरों के हवाले से खबर के मुताबिक म्यांमार के मोरेह से तस्करी शुरू होती है और सोना पहले इम्फाल पहुंचता है। कई हाथों से होकर पहुंचे इस सोने को इम्फाल से नागालैंड के दीमापुर और असम के सिलचर भेजा जाता है। इसके बाद रेल या स्थानीय हवाई यात्राओं के ज़रिए ये दिल्ली, कलकत्ता जैसे शहरों तक डिलीवर किया जाता है।

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