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इन राज्यों में त्राहि-त्राहि: अस्पतालों में नहीं है ऑक्सीजन, महाराष्ट्र-यूपी समेत यहां हाहाकार

महाराष्ट्र, गुजरात, मध्य प्रदेश, प.बंगाल, राजस्थान, पंजाब, कर्नाटक में इनकी मांग बढ़ने के बाद शार्टेज की खबरें...

Ramkrishna Vajpei
Written By Ramkrishna VajpeiPublished By Vidushi Mishra
Published on: 14 April 2021 1:32 PM IST (Updated on: 14 April 2021 1:45 PM IST)
कोरोना वायरस के संक्रमण का खतरा दिन प्रति दिन बढ़ता ही जा रहा है।
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अस्पतालों में ऑक्सीजन सिलेंडर नहीं(फोटो-सोशल मीडिया)

नई दिल्ली: महाराष्ट्र, गुजरात, मध्य प्रदेश, प.बंगाल, राजस्थान, पंजाब, कर्नाटक में इनकी मांग बढ़ने के बाद शार्टेज की खबरें आ रही हैं। कुछ राज्यों में आक्सीजन के सिलेंडर की कीमतों में भी जबर्दस्त इजाफा होने की खबर है। अस्पताल फुल होने के बाद लोग घरों पर आक्सीजन सपोर्ट लेने के लिए भटक रहे हैं। खबरों में कहा गया है कि पश्चिम बंगाल में पहले की तुलना में ऑक्सीजन सिलेंडर की मांग में चार-पांच गुना वृद्धि हुई है। राजस्थान में ऑक्सीजन सिलेंडर की मांग 1,500-2,000 प्रति दिन से बढ़कर 8,000-9,000 प्रति दिन हो गई है। कर्नाटक में 100-150 मीट्रिक टन से बढ़कर 500 मीट्रिक टन की मांग हो गई है। उत्तर प्रदेश में पहले 250 सिलेंडर की तुलना में अब 800-900 सिलेंडर तक मांग बढ़ी है।

इसके अलावा आक्सीजन सिलेंडर ब्लैक किये जाने की खबरें भी आ रही हैं। उत्तर प्रदेश में छोटे सिलेंडर के लिए 150 रुपये से बढ़कर 300-350 रुपये देने पड़ रहे हैं। इसके अलावा सिलेंडर लेने के लिए सिक्योरिटी राशि 5,000 से बढ़ाकर 10,000 रुपये कर दी गई है। बिहार में दस लीटर के सिलेंडर की कीमत 7,000 रुपये से बढ़ाकर 8,500 रुपये हो गई है। गुजरात में एक लीटर ऑक्सीजन की कीमत 8.5 रुपये से बढ़कर 28-35 रुपये तक हो गई है।

जीवनरक्षक दवा रेमदिसिवर की कमी का भी उल्लेख

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने मंगलवार को केंद्र से अनुरोध किया है कि वे ऑक्सीजन की आपूर्ति के लिए वायु सेना की सहायता प्रदान करें। उन्होंने मंगलवार को कहा, मैं प्रधानमंत्री से बात करूंगा कि वे हमें नजदीकी राज्यों से चिकित्सा उपयोग के लिए ऑक्सीजन की आपूर्ति में IAF सहायता प्रदान करने का अनुरोध करें।


ठाकरे ने आगे कहा कि नए मामलों में वृद्धि के साथ, राज्य में स्वास्थ्य बुनियादी ढांचे का विकास हुआ है। सीएम ने कहा कि ऑक्सीजन का उपयोग चिकित्सा उद्देश्यों के लिए किया जा रहा है। उन्होंने अस्पतालों में बिस्तरों की कमी पर भी कहा। इसके राज्य में जीवनरक्षक दवा रेमदिसिवर की कमी का भी उल्लेख किया।

मध्य प्रदेश में बढ़ते कोरोना संक्रमितों की संख्या ने सरकार की चिंता बढ़ा दी है। भोपाल में सोमवार को आक्सीजन की कमी से 5 मरीजों की मौत होने से अफरा तफरी बढ़ गई है। ऐसा कहा जा रहा है कि राजधानी भोपाल के 2 दर्जन अस्पतालों में ऑक्सीजन को लेकर अफरा-तफरी है।

ऑक्सीजन की कमी

इस मामले में भोपाल के जिलाधिकारी ए लवानिया का कहना है कि शहर के कई अस्पतालों में ऑक्सीजन सप्लाई नहीं होने की शिकायतें मिली थीं, जिसके बाद उन्हें सिलेंडर भिजवाया गया। उन्होंने कहा कि यदि किसी अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी से मौत हुई है तो उसकी जांच कराएंगे।

गुजरात में भी आक्सीजन की खबरें आई थीं। इसी के चलते गुजरात से आक्सीजन की आपूर्ति प्रभावित होने की बात भी कही गई थी। दरअसल पहले गुजरात में लगभग 300 नए मरीज रोज मिल रहे थे जो कि अब बढ़कर प्रतिदिन छह हजार हो गए हैं। कुल मरीजों में से 60 फीसदी मरीज राज्य की आठ महानगरपालिकाओं में ही हैं। सरकारी मशीनरी ने आक्सीजन की कमी की बात नकारते हुए कहा है कि कमी नहीं है, ऑक्सीजन की खपत बढ़ी है। पहले जहां 250 टन ऑक्सीजन की खपत राज्य में थी अब वह बढ़कर 600 टन हो गई है।

Vidushi Mishra

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