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ऑक्सीजन की कमी से हुई मौत तो माना जाएगा अपराध, दिल्ली HC का तगड़ा आदेश

दिल्ली हाई कोर्ट ने कहां कि ऑक्सीजन फर्म (Oxygen firm) आईनॉक्स दिल्ली को ऑक्सीजन की आपूर्ति जारी रखे।

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Newstrack Network NetworkPublished By Monika
Published on: 22 April 2021 6:00 PM IST (Updated on: 22 April 2021 6:09 PM IST)
ऑक्सीजन की कमी से हुई मौत तो माना जाएगा अपराध, दिल्ली HC का तगड़ा आदेश
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दिल्ली हाईकोर्ट (फोटो : सोशल मीडिया  )

नई दिल्ली: दिल्ली में कोरोना वायरस संक्रमण (Coronavirus) के चलते मरीजों की तादाद बढ़ती जा रही है । जिसके चलते ऑक्सीजन की कमी होने लगी है और मरीजों की जान जा रही है । इसी बीच दिल्ली हाई कोर्ट ने कहां कि ऑक्सीजन फर्म (Oxygen firm) आईनॉक्स दिल्ली को ऑक्सीजन की आपूर्ति जारी रखे और पानीपत संयंत्र हरियाणा (Haryana) को ऑक्सीजन की आपूर्ति करे ।

कोर्ट में सुनवाई के दौरान ऑक्सीजन की कमी को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक की । बैठक के दौरान उन्होंने कहां कि राज्यों को बिना रुकावट ऑक्सीजन मिलना चाहिए। ऑक्सीजन की आपूर्ति तेज होनी चाहिए। वही प्रधानमंत्री ने उन लोगों के खिलाफ सख्त एक्शन लेने को कहां जो जमाखोरी कर रहे हो ।

ऑक्सीजन की कमी को लेकर हाई कोर्ट ने निर्देश देते हुए कहा कि आदेशों का कड़ाई से पालन हो । इस आदेश की अवहेलना को गंभीरता से लिया जाएगा और इससे बड़ी संख्या में लोगों की मौत की संभावना बनेगी और ऐसा होने गंभीर आपराधिक एक्शन लिया जाएगा, यह अपराध माना जाएगा । हाई कोर्ट ने सभी अन्य पक्षों को निर्देश दिया कि वह अपने आदेशों का पालन करें ।

प्लांट में ऑक्सीजन का उत्पादन

सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने दिल्ली हाईकोर्ट को बताया कि वेदांता प्लांट में ऑक्सीजन का उत्पादन किया जा सकता है, जो तमिलनाडु में बंद था । उन्होंने कहा कि इस अस्पताल को मेडिकल ऑक्सीजन का उत्पादन करने के लिए फिर से खोला जा सकता है, जो मुफ्त में प्रदान किया जाएगा। वेदांता प्लांट वर्तमान में पर्यावरणीय मानदंडों के उल्लंघन के कारण काम नहीं कर रहा है ।

बता दें कि दिल्लीे के मैक्सक अस्प ताल ने ऑक्सी्जन की कमी को लेकर दिल्लीं हाईकोर्ट में याचिका लगाई थी । इस पर सुनवाई में हाईकोर्ट ने केंद्र से पूछा था कि क्या सरकार के लिए इंसानी जीवन का कोई महत्व नहीं है? कोर्ट ने केंद्र सरकार से औद्योगिक इस्ते माल के लिए दी जा रही ऑक्सीहजन की सप्ला ई को तुरंत रोकने के लिए कहा था । हाईकोर्ट ने कहा था कि हम लोगों को ऑक्सीतजन की कमी के कारण मरता हुआ नहीं देख सकते । जिसके चलते कोर्ट ने केंद्र सरकार को फटकार लगाईं थी ।

Monika

Monika

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पत्रकारिता के क्षेत्र में मुझे 4 सालों का अनुभव हैं. जिसमें मैंने मनोरंजन, लाइफस्टाइल से लेकर नेशनल और इंटरनेशनल ख़बरें लिखी. साथ ही साथ वायस ओवर का भी काम किया. मैंने बीए जर्नलिज्म के बाद MJMC किया है

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