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कोरोना से ज्यादा खतरनाक: सावधान हो जाएं सभी लोग, सबसे खतरनाक फ्लूरोना वाइरस, सीमित होते हैं इलाज के विकल्प

Fluorona virus : प्रोफेसर डॉ. मैथ्यू बी लॉरेन्स के मुताबिक इन्फ्लूएंजा (influenzae) और कोरोना (Corona virus new variant omicron) के मामले में, दोनों वायरस फेफड़ों को प्रभावित कर सकते हैं, और दोनों ही मल्टी ऑर्गन फेलियर और मृत्यु का कारण बन सकते हैं।

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Newstrack NetworkPublished By Ragini Sinha
Published on: 7 Jan 2022 12:24 PM IST
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Fluorona Virus : डरा रहा है इस बार का फ्लूरोना, सीमित होते हैं इलाज के विकल्प (Social Media)

Fluorona Virus : फ्लूरोना यानी फ्लू (Fluorona virus) और कोरोना वायरस (Corona virus) का एक साथ संक्रमण कोई नई बात नहीं है और न ही असामान्य है, लेकिन पिछला फ़्लू सीज़न (Flu) असामान्य रूप से हल्का था लेकिन इस साल फ़्लू सीज़न के बढ़ने के साथ-साथ फ़्लुरोना (Fluorona virus infection) अधिक फैलने की संभावना है और ये स्थिति डॉक्टरों के लिए चिंता का विषय है।

संक्रमण के गंभीर परिणाम हो सकते हैं

एक ही समय में दोहरे संक्रमण (Corona virusinfection) से लड़ना कठिन काम होता है और इम्यूनिटी (Imunity) और एंटीबॉडीज (Antibody) तनिक भी कमजोर होने से बड़ी समस्या खड़ी हो सकती है। मैरीलैंड स्कूल ऑफ मेडिसिन विश्वविद्यालय में बाल रोग के प्रोफेसर डॉ मैथ्यू बी लॉरेन्स के मुताबिक इन्फ्लूएंजा (influenzae) और कोरोना (Corona virus new variant omicron) के मामले में, दोनों वायरस फेफड़ों को प्रभावित कर सकते हैं, और दोनों ही मल्टी ऑर्गन फेलियर और मृत्यु का कारण बन सकते हैं। यानी किसी भी संक्रमण के गंभीर परिणाम हो सकते हैं। और जब आप दोनों को एक साथ जोड़ते हैं, तो यह संभावित रूप से अधिक गंभीर होता जाता है।

कोरोना के दोहरे संक्रमण का इलाज करना चुनौतीपूर्ण हो सकता

जब तक फ्लूरोना की वजह से अस्पताल में भर्ती और मृत्यु के मामलों पर अध्ययन नहीं किया जाता है, यह कह पाना मुश्किल वैक्सीन लगे मरीजों पर डबल इंफेक्शन का क्या असर होता है। जहां तक फ्लू की बात है , अमेरिका के सीडीसी के ताजे डेटा से पता चलता है कि अमेरिका में अधिकांश क्षेत्रों में फ्लू का अभी भी कम संचरण है, लेकिन आने वाले महीनों में इसके बढ़ने की आशंका है। डॉ लॉरेंस के अनुसार, इन्फ्लूएंजा और कोरोना के दोहरे संक्रमण का इलाज करना चुनौतीपूर्ण हो सकता है क्योंकि स्टेरॉयड का उपयोग करने से कोरोना के गम्भीर मरीजों को मदद मिल सकती है, लेकिन फ्लू के रोगियों में ये असरदार नहीं होता है। अस्पताल में भर्ती फ्लू के मरीजों में स्टेरॉयड से कोई सुधार नहीं देखा गया है क्योंकि शायद वह इन्फ्लूएंजा वायरस के खिलाफ किसी व्यक्ति की अपनी प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया को दबा सकता है।

सर्दी में खास ख्याल रखें

डॉक्टरों के अनुसार, सर्दी के मौसम में सिर्फ फ्लू ही नहीं बल्कि श्वास तंत्र को प्रभावित करने वाले अन्य वायरस भी फैलते हैं जिनका असर खासकर बच्चों में देखा जाता है। कोरोना के साथ इनके फैलाव की भी निगरानी किये जाने की आवश्यकता है।



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Ragini Sinha

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