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पाकिस्तानी ड्रोन की भारत में घुसपैठ, ऐसे दिया जवानों ने जवाब
पड़ोसी देश पाकिस्तान अपनी नापाक हरकतों से बाज नहीं आ रहा है। आए दिन सीमावर्ती इलाकों पर फायरिंग की घटना सामने आती है।
नई दिल्लीः पड़ोसी देश पाकिस्तान अपनी नापाक हरकतों से बाज नहीं आ रहा है। आए दिन सीमावर्ती इलाकों पर फायरिंग की घटना सामने आती है। एक बार फिर पाकिस्तना ने अपनी नापाक इरादों को दिखा दिया है। जम्मू के सीमावर्ती इलाके अरनिया में शुक्रवार सुबह 5 बजे पाकिस्तानी ड्रोन देखा गया। जैसे ही बीएसएफ जवानों की नजर इस ड्रोन पर पड़ी, उन्होंने फायरिंग शुरू कर दी। इसके कुछ देर बाद ही ड्रोन लौट गया।
इससे पहले भी ड्रोन की मदद से एयरफोर्स स्टेशन पर दो विस्फोट हुए। अगले दिन कालूचुक और रतनुचक इलाके में दो दिन ड्रोन मंडराते रहे। सिर्फ इतना ही नहीं डल झील के पास भी ड्रोन देखा गया था। इसे गंभीरता से लेते हुए पुलिस ने त्वरित कार्रवाई की। ड्रोन के मालिक को गिरफ्तार कर लिया था।
हाई अलर्ट जारी
ड्रोन गतिविधियां सामने आने के बाद विभिन्न इलाकों में हाई अलर्ट जारी किया गया हैं। दरअसल ड्रोन छोटे होने के कारण चकमा देकर निकल जाते हैं। ऐसे में एंटी ड्रोन सिस्टम को लेकर मंथन हो रहा हैं।
2019 में बड़ा ड्रोन का इस्तेमाल
आतंकियों को हथियार सप्लाई करने के लिए पाकिस्तान ने 2019 से ड्रोन का इस्तेमाल बढ़ाया। अमृतसर के एक गांव में एक ड्रोन पकड़ा गया. वहीं पंजाब में पकड़े गए एक आतंकी ने खुलासा किया कि ड्रोन ने आठ चक्कर लगाकर हथियार गिराए थे। 2020 में बीएसएफ जवानों ने एक जासूसी ड्रोन को मार गिराया था। इस दौरान विस्फोटक और हथियार भी बरामद हुए थे। पिछले साल 19 सिंतबर को लश्कर ए तैयबा के तीन आतंकियों को गिरफ्तार किया गया था। गिरफ्तार हुए आतंकियों को एक दिन पहले ही ड्रोन की मदद से हयहियार सप्लाई करने की अनुमति मिली थी। इसके बाद 22 सिंतबर 2020 को ड्रोन से सप्लाई किये गए हथियार बरामद हुए। दिसंबर में पंजाब पुलिस ने पाकिस्तान बॉर्डर के पास आठ हैंड ग्रनेड बरामद किए। ऐसा माना जा रहा है कि चीन के बने ड्रोन आतंकवादी हथियार सप्लाई करने में कर रहे हैं। इन हथियारों में चीन की बनी कार्बाइन बरामद हो चुकी हैं।