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Maharashtra: संजय राउत के बयान पर सियासी अटकलें तेज, पवार ने दिलाई बाल ठाकरे की याद
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात के बाद सूबे में शुरू हुई सियासी अटकलों का दौर नहीं थम रहा है।
Maharashtra: महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) से मुलाकात के बाद सूबे में शुरू हुई सियासी अटकलों का दौर नहीं थम रहा है। इस बीच शिवसेना के वरिष्ठ नेता और सांसद संजय राउत (Sanjay Raut) ने प्रधानमंत्री मोदी को देश और बीजेपी का शीर्ष नेता बताकर सियासी अटकलों को और हवा दे दी है। इसके बाद उद्धव ठाकरे सरकार को समर्थन देने वाली एनसीपी के मुखिया शरद पवार (Sharad Pawar) ने शिवसेना को बालासाहेब ठाकरे का वादा याद दिलाया। उन्होंने कहा कि बालासाहेब ने पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी से किया गया अपना वादा निभाया था। उन्होंने दावा किया कि महाराष्ट्र की गठबंधन सरकार पांच वर्ष का कार्यकाल जरूर पूरा करेगी। पवार के इस बयान का भी सियासी मतलब निकाला जा रहा है।
ठाकरे-पीएम की बैठक से बदला माहौल
मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और प्रधानमंत्री मोदी के बीच गत 8 जून को लंबी बैठक हुई थी। पीएम के साथ हुई बैठक के बाद उद्धव ठाकरे का बयान मीडिया में सुर्खियां बन गया। उनका कहना था कि राजनीतिक रूप से हम भले ही साथ नहीं हैं, लेकिन इसका यह मतलब नहीं निकाला जाना चाहिए कि हमारा संबंध खत्म हो गया। उन्होंने पीएम मोदी से मुलाकात का गलत मतलब निकालने वालों को भी आड़े हाथों लिया। उनका कहना था कि मैं कोई नवाज शरीफ से मिलने थोड़े ही गया था जो छिपकर मुलाकात करता। ठाकरे के इस बयान के बाद ही महाराष्ट्र (Maharashtra) में सियासी अटकलों का नया दौर शुरू हो गया। पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस (Devendra Fadnavis) ने यह कहकर अटकलें और बढ़ा दीं कि हमने शिवसेना से रिश्ता नहीं तोड़ा था बल्कि मातोश्री ने ही हमारे लिए दरवाजे बंद कर लिए थे।
राउत ने मोदी को बताया देश का टॉप लीडर
इस बीच शिवसेना नेता संजय राउत का एक बयान भी महाराष्ट्र की सियासत (Maharashtra politics) में चर्चा का विषय बन गया है। उन्होंने जलगांव में मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि मोदी देश और भाजपा के टॉप लीडर है। उन्होंने नरेंद्र मोदी की प्रशंसा करते हुए यहां तक कहा कि उनकी अगुवाई में भाजपा ने पिछले सात वर्षों में काफी सफलताएं हासिल की हैं और इनका कारण मोदी ही हैं। उन्होंने कहा कि शिवसेना का हमेशा से ही यह मानना रहा है कि प्रधानमंत्री पूरे देश के होते हैं, किसी एक पार्टी के नहीं। हाल में हुए विधानसभा चुनावों का जिक्र करते हुए राउत ने कहा कि पीएम मोदी को ऐसे चुनावों में हिस्सा नहीं लेना चाहिए क्योंकि वे मौजूदा समय में पूरे देश के नेता हैं।
पवार ने किया सरकार चलने का दावा
महाराष्ट्र में चल रही सियासी अटकलों के बीच एनसीपी के प्रमुख शरद पवार का बयान भी महत्वपूर्ण माना जा रहा है। पवार ने महाराष्ट्र की गठबंधन सरकार के पूरे पांच साल चलने का दावा किया है। उन्होंने यह भी कहा कि शिवसेना पर भरोसा किया जा सकता है क्योंकि यह बालासाहेब ठाकरे की पार्टी है जिन्होंने इंदिरा गांधी से किया गया अपना वादा पूरी तरह निभाया था। पवार ने कहा कि शिवसेना, कांग्रेस और राकांपा गठबंधन वाली सरकार पूरी मजबूती से काम कर रही है और 2024 में होने वाले चुनावों में भी तीनों दल मिलकर विधानसभा चुनाव में उतरेंगे। एनसीपी सुप्रीमो ने कहा कि हमने कभी शिवसेना के साथ मिलकर सरकार बनाने की बात नहीं सोची थी मगर हम महाराष्ट्र में सरकार बनाने में कामयाब रहे और यह सरकार अभी तक काफी अच्छा काम कर रही है।
अटकलों के बीच पवार का बयान महत्वपूर्ण
सियासी जानकारों का मानना है कि पवार की ओर से यह बयान काफी सोच समझकर दिया गया है। पीएम मोदी और मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की मुलाकात के बाद महाराष्ट्र में सियासी अटकलों का दौर चल रहा है और कुछ नेता शिवसेना और भाजपा के बीच गठबंधन संबंधी बयान भी दे रहे हैं। इन अटकलों के कारण ही पवार ने शिवसेना को बालासाहेब ठाकरे की याद दिलाई है। उनका मकसद शिवसेना को यह याद दिलाना है कि जिस तरह बालासाहेब वादों पर खरे उतरने वाले नेता थे, उसी तरह शिवसेना के मौजूदा नेतृत्व को भी किसी प्रकार की कोई वादाखिलाफी नहीं करनी चाहिए।