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मेघालय के राज्यपाल मलिक ने किसान आंदोलन को खत्म करने का बताया तरीका, J-K में टारगेट किलिंग पर कही ये बात

मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक का दावा है कि एमएसपी को गारंटी देने के बाद किसानों आंदोलन खत्म हो जाएगा। जम्मू-कश्मीर टारगेट किलिंग पर कहा कि जब वे जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल थे, तब आतंकी श्रीनगर के 50 किमी दायर में भी घुसने की हिम्मत नहीं कर पाते थे।

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Newstrack NetworkPublished By Deepak Kumar
Published on: 18 Oct 2021 11:00 AM IST (Updated on: 18 Oct 2021 11:18 AM IST)
Meghalaya Governor Satya Pal Malik
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मेघायल के राज्यपाल सत्यपाल मलिक। (Social Media)

मेघायल के राज्यपाल सत्यपाल मलिक (meghalaya governor satya pal malik) ने बीते दिन झुंझुनूं यात्रा के दौरान मीडिया से जम्मू-कश्मीर टारगेट किलिंग (Jammu Kashmir target killings) और किसानों के आंदोलन (Kisan Andolan) पर चर्चा की। उन्होंने कहा कि वह किसानों के मुद्दों को लेकर केंद्र सरकार से लड़ाई भी लड़ चुके हैं। मलिक (Satya Pal Malik) ने केंद्र सरकार को बताया है कि किस तरह न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर किसानों की मांग मानकर आंदोलन (Kisan Andolan) को खत्म किया जा सकता है। उन्होंने यह भी कहा कि अगर किसानों की बात नहीं मानी जाती है तो मुश्किल होगी।

मेघायल के राज्यपाल सत्यपाल मलिक (meghalaya governor satya pal malik) ने जम्मू-कश्मीर टारगेट किलिंग (Jammu Kashmir target killings) पर कहा कि जब वे जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल थे, तब आतंकी श्रीनगर के 50 किमी दायर में भी घुसने की हिम्मत नहीं कर पाते थे। राज्यपाल सत्यपाल मलिक (Satya Pal Malik) ने पूरे बयान में यह भी कहा कि "यदि केंद्र सरकार एक कानून के माध्यम से एमएसपी (MSP) पर गारंटी दे देती है तो कृषि कानूनों के खिलाफ किसान आंदोलन (Kisan Andolan) को खत्म किया जा सकता है। बस एक यही बात है तो आप (केंद्र) इसे क्यों नहीं पूरा कर रहे हैं? किसान एमएसपी (MSP) से कम पर समझौता नहीं करेंगे।" राज्यपाल ने कहा कि सत्ता में आने के बाद सरकार सांतवें आसमान पर होती है। इसके बाद इन्हें जनता की परेशानियों का पता नहीं होता है।

एमएसपी की गारंटी देने का किया आग्रह

सत्यपाल मलिक (meghalaya governor satya pal malik) ने एक बार फिर किसानों के विरोध का समर्थन करते हुए केंद्र सरकार से कानून के जरिए एमएसपी (MSP) की गारंटी देने और इस मुद्दे को हल करने का आग्रह किया। उन्होंने ऐसा करने में सरकार की हिचकिचाहट पर सवाल उठाया और कहा कि किसान इससे कम पर समझौता नहीं करेंगे। किसानों ने संकल्प लिया है कि जब तक तीनों कानूनों को वापस नहीं लिया जाता तब तक वे धरना प्रदर्शन बंद नहीं करेंगे। उन्होंने कहा कि अगर किसानों का विरोध प्रदर्शन इसी तरह जारी रहा तो भाजपा को पश्चिमी यूपी, राजस्थान और हरियाणा में चुनावी हार का सामना करना पड़ सकता है।

जम्मू-कश्मीर में आतंकियों ने दहशतगर्दी का अपनाया नया हथकंडा

जम्मू-कश्मीर में आतंकियों ने दहशतगर्दी का नया हथकंडा (Jammu Kashmir target killings) अपनाया है। आतंकी गैरहिंदुओं को निशाना बना रहे हैं। पिछले 15 दिनों में ऐसी 12 हत्याएं की जा चुकी हैं। ताजा मामला बिहार के 2 मजदूरों का है। हत्या की निंदा करने के लिए कई समूहों ने रविवार को जम्मू-कश्मीर में विभिन्न स्थानों पर पाकिस्तान विरोधी विरोध प्रदर्शन किया। उन्होंने आतंकी गतिविधियों को समर्थन देने की निंदा करते हुए पाकिस्तान सरकार के पुतले भी फूंक दिए।



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