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तालिबान-अफगानिस्तान पर दिल्ली में सर्वदलीय बैठक, भारत सरकार अपना रही है Wait and Watch की नीति
अफगानिस्तान के मौजूदा हालात पर केंद्र सरकार ने अपनी रणनीति साफ करने के लिए आज दिल्ली में एक सर्वदलीय बैठक बुलाई।
नई दिल्ली: अफगानिस्तान (Afghanistan) के मौजूदा हालात पर गुरुवार को दिल्ली (Delhi) में सर्वदलीय बैठक हुई है। केंद्र सरकार ने अपनी रणनीति साफ करने के लिए सर्वदलीय बैठक बुलाई। इस दौरान अफगान मुद्दे पर सरकार और विपक्ष के बीच चर्चा हुई। अफगानिस्तान में तालिबान की वापसी के बाद भारत सरकार का क्या रुख होगा इसको लेकर सरकार की तरफ से कुछ संकेत दिए गए हैं।
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक विदेश मंत्री एस जयशंकर (S. Jaishankar) ने संसद के फ्लोर के नेताओं को अफगानिस्तान के मौजूदा हालात की जानकारी दी। विदेश मंत्री ने कहा कि अफगानिस्तान में हालात अच्छे नहीं हैं, हम वहां से अपने लोगों को निकालने में लगे हैं, दोहा में किए वादे से तालिबान मुकर गया है। साथ ही ये भी जानकारी मिली है कि बैठक में विपक्ष ने मांग की है कि भारतीय प्रोजेक्ट्स का ख्याल रखा जाये, लेकिन आतंकवाद के साथ कोई समझौता ना हो।
सरकार अपना रही है Wait and Watch की नीति
जानकारी के मुताबिक सरकार की तरफ से सर्वदलीय बैठक में कहा गया है कि अफगानिस्तान (Afghanistan) के मामले पर पूरी दुनिया फिलहाल Wait and Watch की नीति पर चल रही है और भारत भी इसी नीति पर आगे बढ़ रहा है।
सूत्रों की मानें तो सर्वदलीय बैठक में विदेश सचिव हर्षवर्धन श्रृंगला ने विस्तारपूर्वक सभी दलों के नेताओं को एक प्रेजेंटेशन दी, जिसमें उन्होंने बताया कि सरकार किस तरह से अफगानिस्तान से अपने लोगों को बाहर निकाल रही है। इस दौरान केंद्र की तरफ से बताया गया कि अफगानिस्तान में फंसे लोगों को निकालने के लिए भारतीय विदेश मंत्रालय (Ministry of External Affairs) की तरफ से दिल्ली में जो विशेष हेल्प डेस्क बनाया गया है उसपर अबतक 15000 लोगों ने संपर्क किया है।
पक्ष-विपक्ष के ये लीडर्स रहे मौजूद
आपको बता दें कि इस बैठक में जयशंकर के अलावा राज्यसभा के नेता और केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल तथा संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी भी मौजूद थे । इस महत्वपूर्ण बैठक में राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के नेता शरद पवार, राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे, लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी, द्रमुक नेता टी आर बालू, पूर्व प्रधानमंत्री एच डी देवगौड़ा, अपना दल की नेता अनुप्रिया पटेल सहित कुछ अन्य नेता शामिल हुए।