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PM मोदी ने कहा- भगवान विट्ठल का दरबार हर किसी के लिए समान रूप से खुला, पंढरपुर सुख-समृद्धि का है प्रतीक
पीएम मोदी बोले- पंढरपुर सुख-समृद्धि का प्रतीक है और आज की नींव रखने के साथ ही सेवा का पहलू भी इससे जुड़ गया है।
नई दिल्ली : महाराष्ट्र के पंढरपुर में आज देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बुनियादी ढांचे के आधुनिकीकरण पर एक कार्यक्रम को संबोधित कर रहे हैं। वर्चुअली तरीके से संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा- भगवान विट्ठल का दरबार हर किसी के लिए समान रूप से खुला है। और जब मैं सबका साथ-सबका विकास-सबका विश्वास कहता हूं, तो उसके पीछे भी तो यही भावना है। यही भावना हमें देश के विकास के लिए प्रेरित करती है, सबको साथ लेकर, सबके विकास के लिए प्रेरित करती है।
पंढरपुर में जनता को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि आज जब मैं अपने वारकरी भाई-बहनों से बात कर रहा हूं, तो आपसे आशीर्वाद स्वरूप तीन चीजें मांगना चाहता हूं। आपका हमेशा मुझ पर इतना स्नेह रहा है, कि मैं खुद को रोक नहीं पा रहा
दूसरा आशीर्वाद मुझे ये चाहिए कि इस पैदल मार्ग पर हर कुछ दूरी पर पीने के पानी की व्यवस्था भी की जाए, इन मार्गों पर अनेकों प्याऊ बनाए जाएं।
तीसरा आशीर्वाद जो मुझे चाहिए, वो पंढरपुर के लिए है। मैं भविष्य में पंढरपुर को भारत के सबसे स्वच्छ तीर्थ स्थलों में देखना चाहता हूं। ये काम भी जनभागीदारी से ही होगा, जब स्थानीय लोग स्वच्छता के आंदोलन का नेतृत्व अपनी कमान में लेंगे, तभी हम इस सपने को साकार कर पाएंगें।
भारत की संस्कृति को, भारत के आदर्शों को सदियों से यहाँ का धरती पुत्र ही जीवित बनाए हुये है। एक सच्चा अन्नदाता समाज को जोड़ता है, समाज को जीता है, समाज के लिए जीता है। आपसे ही समाज की प्रगति है, और आपकी ही प्रगति में समाज की प्रगति है।
जनता को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि उत्तर में रामानंद, कबीरदास, गोस्वामी तुलसीदास, सूरदास, गुरु नानकदेव, संत रैदास हुए, पूर्व में चैतन्य महाप्रभु, और शंकर देव जैसे संतों के विचारों ने देश को समृद्ध किया।
भारत देश की विशेषता बताते हुए पीएम मोदी ने कहा कि भारत भूमि की ये विशेषता है कि समय-समय पर, अलग-अलग क्षेत्रों में, ऐसी महान विभूतियां अवतरित होती रहीं, देश को दिशा दिखाती रहीं। दक्षिण में मध्वाचार्य, निम्बार्काचार्य, वल्लभचार्य, रामानुजाचार्य हुए, पश्चिम में नरसी मेहता, मीराबाई, धीरो भगत, भोजा भगत, प्रीतम हुए।
पीएम मोदी ने कहा कि पंढरपुर सुख-समृद्धि का प्रतीक है और आज की नींव रखने के साथ ही सेवा का पहलू भी इससे जुड़ गया है। पंढरपुर को जोड़ने वाले लगभग 225 किलोमीटर लंबे राष्ट्रीय राजमार्ग का भी आज उद्घाटन किया गया।
आज यहां श्रीसंत ज्ञानेश्वर महाराज पालखी मार्ग और संत तुकाराम महाराज पालखी मार्ग का शिलान्यास हुआ है। श्रीसंत ज्ञानेश्वर महाराज पालखी मार्ग का निर्माण पांच चरणों में होगा और संत तुकाराम महाराज पालखी मार्ग का निर्माण तीन चरणों में पूरा किया जाएगा।
आगे पीएम मोदी ने कहा कि आज भी ये यात्रा दुनिया की सबसे प्राचीन और सबसे बड़ी जन-यात्राओं के रूप में, people मूवमेंट के रूप में देखी जाती है। 'आषाढ एकादशी' पर पंढरपुर यात्रा का विहंगम दृश्य कौन भूल सकता है। हजारों-लाखों श्रद्धालु, बस खिंचे चले आते हैं।
पुराने सालों के बारे में बात करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि अतीत में हमारे भारत पर कितने ही हमले हुये! सैकड़ों साल की गुलामी में ये देश जकड़ा गया। प्राकृतिक आपदाएँ आईं, चुनौतियाँ आईं, कठिनाइयाँ आईं, लेकिन भगवान विट्ठल देव में हमारी आस्था, हमारी दिंडी वैसे ही अनवरत चलती रही।