×

Russia Ukraine War: 2000 भारतीय अभी भी कीव में फंसे, करीब 1000 भारतीयों को डेंजर जोन से निकाला गया, विदेश सचिव हर्ष श्रृंगला ने दी जानकारी

Russia Ukraine War: भारत सरकार ने अब तक करीब 1000 लोगों को डेंजर जोन से बाहर निकाला है। भारतीय विदेश मंत्रालय के मुताबिक अभी भी करीब 2000 भारतीय नागरिक राजधानी कीव में फंसे हुए हैं।

Krishna Chaudhary
Written By Krishna ChaudharyPublished By Deepak Kumar
Published on: 27 Feb 2022 2:20 PM GMT
Russia Ukraine Crisis India Government rescued 1000 people Still about 2000 Indian citizens trapped in Kiev
X

यूक्रेन से रेस्क्यू किए भारतीय। (Photo- Social Media) 

Russia Ukraine war : युद्धग्रस्त यूक्रेन में फंसे हजारों भारतीयों को निकालने की कवायद जारी है। भारत सरकार ने अब तक करीब 1000 लोगों को डेंजर जोन से बाहर निकाला है। भारतीय विदेश मंत्रालय (Indian Foreign Ministry) के मुताबिक अभी भी करीब 2000 भारतीय नागरिक राजधानी कीव में फंसे हुए हैं।

इस बीच भारत सरकार (Indian Government) ने एक राहतभरा ऐलान किया है। विदेश सचिव हर्ष श्रृंगला (Foreign Secretary Harsh Shringla) ने बताया कि भारत सरकार 'ऑपरेशन गंगा' के तहत यूक्रेन में फंसे भारतीयों की स्वदेश वापसी करवाएगी। ये पूरा अभियान पूरी तरह से सरकार के खर्चे पर होगा। यानि वहां फंसे भारतीयों को अब महंगे टिकट नहीं खरीदने होंगे। यूक्रेन (Ukraine) में फंसे भारतीयों के लिए निश्चित तौर पर यह एक राहत पहुंचाने वाला ऐलान है। नई दिल्ली में विदेश सचिव हर्ष श्रृंगला (Foreign Secretary Harsh Shringla) ने आज प्रेस कांफ्रेंस मीडिया के सामने इस निकासी अभियान की पूरी रूप रेखा सामने रखी।

ऑपरेशन गंगा के तहत होगी वापसी

नई दिल्ली में मीडिया के सामने उपस्थित हुई विदेश सचिव हर्ष श्रृंगला (Foreign Secretary Harsh Shringla) ने बताया कि भारत सरकार (Indian Government) ने यूक्रेन में फंसे हमारे नागरिकों को निकालने के लिए 'बहुआयामी' ऑपरेशन गंगा शुरू किया है। यह निकासी प्रक्रिया सरकारी खर्च पर होगी। श्रृंगला (Foreign Secretary Harsh Shringla) ने आगे बताया कि चूंकि यूक्रेन (Ukraine) में हवाई क्षेत्र बंद था, इसलिए हमने हंगरी, पोलैंड, स्लोवाकिया और रोमानिया से भूमि निकासी विकल्पों की पहचान की।

विशिष्ट सीमा पार बिंदुओं की पहचान की गई और विदेश मंत्रालय (Foreign Ministry) ने निकासी प्रक्रिया में सहायता के लिए टीमों को वहां तैनात कर दिया था। उन्होंने बताया कि अब तक गंगा ऑपरेशन के तहत, हमारे हजारों नागरिकों को रोमानी और हंगरी से बाहर निकाला गया है और अन्य हजार को यूक्रेन से भूमि मार्गों के माध्यम से निकाला गया है। उनके लिए उड़ानों की व्यवस्था की गई है

यूक्रेन में 15 हजार भारतीयों की फंसे होने का आशंका

विदेश सचिव हर्ष श्रृंगला (Foreign Secretary Harsh Shringla) ने बताया कि रूस और यूक्रेन के बीच जारी तनाव के दौरान जब स्थिति अधिक तनावपूर्ण हो चली थी कब कीव स्थित भारतीय दूतावास और विदेश मंत्रालय (Foreign Ministry) ने कई एडवायजरी जारी किए थे। 4 हजार भारतीय नागरिक इन सलाहों पर अमल करते हुए यूक्रेन छोड़कर जा चुके थे। हमारा अनुमान है कि अब भी यूक्रेन नें लगभग 15 हजार भारतीय फंसे हुए हैं।

श्रृंगला (Foreign Secretary Harsh Shringla) ने आगे जानकारी देते हुए बताया कि हंगरी और रोमानिया के जरिए भारतीयों को सीमा पार करवाया रहा है, हालांकि, पोलैंड के लिए निकास बिंदु लाखों विदेशी नागरिकों के उस बिंदु से भागने की कोशिश करने के कारण बंद है। जो लोग हंगरी और रोमानिया की सीमाओं के पास हैं, उन्हें चरणों में उनके सीमा बिंदुओं की ओर निर्देशित किया जाता है। बता दें कि शरणार्थियों की सबसे अधिक भीड़ पोलैंड यूक्रेन सीमा पर ही है। बड़ी संख्या में यूक्रेनी नागरिक पोलैंड में प्रवेश लेना चाह रहे हैं।

हमने अपनी चिंताओं से रूसी और यूकेनी राजदूत को अवगत करवाया

विदेश सचिव हर्ष श्रृंगला (Foreign Secretary Harsh Shringla) ने बताया कि रूस और यूक्रेन के बीच जंग (Russia-Ukraine War) छिड़ने के बाद उन्होंने रूस और यूक्रेन दोनों देशों के राजदूत को अलग – अलग बुलाया और उनसे वहां फंसे भारतीयों की सुरक्षा को लेकर अपनी चिंता से अवगत कराया। मैंने उन स्थानों को साझा किया है जहां भारतीय नागरिक अभी मौजूद हैं। दोनों राजदूतों ने हमारी चिंताओं पर ध्यान दिया और हमें भारतीय नागरिकों की सुरक्षा का आश्वासन दिया। इस दौरान विदेश मंत्रालय ने पड़ोसी देशों के माध्यम से यूक्रेन से भारतीयों को निकालने के लिए ऑपरेशन गंगा के लिए उड़ानों की सूची भी जारी की।

देश और दुनिया की खबरों को तेजी से जानने के लिए बने रहें न्यूजट्रैक के साथ। हमें फेसबुक पर फॉलो करने के लिए @newstrack और ट्विटर पर फॉलो करने के लिए @newstrackmedia पर क्लिक करें।

Deepak Kumar

Deepak Kumar

Next Story