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Amarnath Yatra 2022: अलर्ट हुआ सुरक्षा बल, खतरा बना स्टिकी बम, सेना को दिया जा रहा खास प्रशिक्षण

Amarnath Yatra 2022: अमरनाथ यात्रा को लेकर सुरक्षाबलों ने सुरक्षा इंतजाम के बंदोबस्त में जुट गए हैं। सुरक्षा बलों के सामने स्टिकी बम (Sticky Bomb) सबसे बड़ी चुनौती है।

Krishna Chaudhary
Report Krishna ChaudharyPublished By Shreya
Published on: 11 May 2022 10:07 PM IST
Amarnath Yatra 2022: सुरक्षा बलों के सामने स्टिकी बम बनी चुनौती, खतरे से निपटने के लिए दिया जा रहा खास प्रशिक्षण
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अमरनाथ यात्रा (कॉन्सेप्ट फोटो साभार- सोशल मीडिया)

Amarnath Yatra 2022: अमरनाथ यात्रा को लेकर तैयारियां शुरू हो गई है। आंतकवाद प्रभावित जम्मू कश्मीर (Jammu Kashmir) के बेहद संवेदनशील इलाकों से गुजरने वाली (Amarnath Yatra Route) इस यात्रा को लेकर सुरक्षाबलों ने श्रद्धालुओं के पुख्ता सुरक्षा इंतजाम के बंदोबस्त में जुट गए हैं। यात्रा रूट पर पड़ने वाले शहरों, कस्बों और गांवों के चप्पे-चप्पे पर तमाम तरह की गतिविधियों पर नजर रखी जा रही है।

सुरक्षा बलों के सामने स्टिकी बम (Sticky Bomb) सबसे बड़ी चुनौती है। अमरनाथ यात्रा (Amarnath Yatra) के दौरान तैनात किए जाने वाले सीआरपीएफ के जवानों को स्टिकी बम के खतरों से निपटने के लिए खास प्रशिक्षण दिया जा रहा है।

क्या होता है स्टिकी बम

स्टिकी बमों पर चुंबक लगा होता है, जिसे किसी भी वाहन के नीचे चिपाकर रिमोट या टाइमर से धमाका किया जा सकता है। बीएसएफ ने पिछले साल फरवरी में सांबा जिले में इंटरनेशनल बॉर्डर के निकट ड्रोन से गिराए गए हथियारों की एक खेप बरामद की थी, जिसमें 14 आईईडी के अंदर चुंबक लगा हुआ था। सीआरपीएफ के हीरानगर रेंज के उप महानिरीक्षक देवेंद्र यादव ने कहा कि सतर्कता ही स्टिकी बम से निपनटे का एकमात्र हल है। जवानों को इसके लिए विशेष रूप से अलर्ट किया गया है।

पहले भी जवानों ने पकड़ा है स्टिकी बम

सुरक्षाबलों की मुस्तैदी के कारण आतंकवादियों द्वारा स्टिकी बम का इस्तेमाल कर हमला करने की नापाक साजिश का बीते एक साल में कई मौकों पर नाकाम किया है। अभी बीते 28 अप्रैल को ही सुरक्षाबलों ने जम्मू के बाहरी इलाके सिधरा बाइपास क्षेत्र में समय पर एक आईईडी का पता लगाकर हमले की साजिश को नाकाम कर दिया था। बीते साल अगस्त माह में जवानों ने पूंछ में चार स्टिकी बम बरामद किए थे। इसके अलावा सितंबर माह में भी यहां चार आईईडी बरामद हुए थे।

बता दें कि कोरोना महामारी के कारण दो साल के अंतराल पर इसबार 30 जून अमरनाथ यात्रा आरंभ हो रही है। 43 दिनों तक चलने वाली इस यात्रा को लेकर लोगों में भारी उत्साह है।

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Shreya

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