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यति नरसिंहानंद ने मुस्लिम पीएम बनने को लेकर दिया विवादित बयान, FIR दर्ज

Yati Narsinghanand Controversy: यति नरसिंहानंद ने एक धर्म विशेष के खिलाफ भाषण देते हुए देश में मुस्लिम सरकार बनने पर 20 साल के भीतर भारत के 50 प्रतिशत हिंदुओं का धर्मांतरण किए जाने की बात कही।

Rajat Verma
Written By Rajat VermaPublished By Monika
Published on: 4 April 2022 11:54 AM IST
yati narasimhananda saraswati
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यति नरसिंहानंद (फोटो: सोशल मीडिया ) 

Yati Narsinghanand Controversy: गाजियाबाद स्थित डासना देवी मंदिर के मुख्य पुजारी यति नरसिंहानंद अपने विवादित बायनों (Yati Narsinghanand controversial statement ) और भड़काऊ भाषण के लिए अक्सर चर्चा का विषय रहे हैं। इसी के मद्देनज़र एक हालिया मामले के चलते बुराड़ी मैदान में बगैर प्रशासन की अनुमति के आयोजित हिन्दू महापंचायत और विवादित बयान के चलते मामला दर्ज कर लिया गया है। इस दौरान यति नरसिंहानंद ने एक धर्म विशेष के खिलाफ भाषण देते हुए देश में मुस्लिम सरकार बनने पर 20 साल के भीतर भारत के 50 प्रतिशत हिंदुओं का धर्मांतरण किए जाने की बात कही।

यति नरसिंहानंद ने अपने विवादित बयान और एक धर्म विशेष के खिलाफ बोलते हुए कहा कि अब हिंदुओं को एकजुट हो जाना चाहिए और हिंदुओं को अपना अस्तित्व और भविष्य बचाने के लिए हथियार उठाना चाहिए।

यति नरसिंहानंद के इस विवादित बयान का संज्ञान लेते हुए पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। इस जांच के आधार पर वीडियो द्वारा दिए गए विवादित बयान की भी वस्तुनिष्ठता जांची जाएगी।

क्या रहा पूरा विवादित बयान

हिन्दू महापंचायत के आयोजन के दौरान यति नरसिंहानंद ने एक वीडियो के माध्यम से हिंदुओं को हथियार उठाकर अपना भविष्य बचाने की बात कहते हुए बोला कि-"आने वाले समय यानी 2029, 2034 अथवा 2039 में भारत में मुस्लिम प्रधानमंत्री बन जाएगा और यदि वास्तविक रूप में ऐसा हुआ तो आने वाले 20 साल में 50 प्रतिशत हिंदुओं का धर्मांतरण हो जाएगा, 40 प्रतिशत हिंदुओं की हत्या कर दी जाएगी तथा देश में बाकी बचे 10 प्रतिशत हिन्दू शरणार्थी शिविरों में होंगे या फिर उन्हें अपना देश छोड़ना पड़ेगा।"

पत्रकारों पर हमले का आरोप

बुराड़ी मैदान पर आयोजित इस हिन्दू महापंचायत के आयोजन के दौरान एक पत्रकार ने कथित तौर पर महापंचायत में शामिल लोगों द्वारा दो मुस्लिम पत्रकारों पर हमला करने और हिरासत में लेने का आरोप लगाया था। हालांकि, इस दावे को उत्तर पश्चिमी दिल्ली पुलिस आयुक्त उषा रंगनानी इस आरोप को भ्रामक बताते हुए सिरे से खारिज कर दिया है। पुलिस आयुक्त उषा रंगनानी ने बताया कि किसी को भी हिरासत में नहीं लिया गया है, उन्होनें खुद ही विरोध से बचते हुए पुलिस वैन में आकर बैठना बेहतर समझा।"



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Monika

Monika

Content Writer

पत्रकारिता के क्षेत्र में मुझे 4 सालों का अनुभव हैं. जिसमें मैंने मनोरंजन, लाइफस्टाइल से लेकर नेशनल और इंटरनेशनल ख़बरें लिखी. साथ ही साथ वायस ओवर का भी काम किया. मैंने बीए जर्नलिज्म के बाद MJMC किया है

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