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अब IVRS के जरिये बच्चों और शिक्षकों की लगेगी हाजरी, सीएम खुद करेंगे निगरानी

योगी सरकार ने यूपी की बेसिक शिक्षा को पटरी पर लाने के लिए एक बार फिर अध्‍यापक और छात्र उपस्थिति को हथियार बनाया है। अब सीएम कार्यालय खुद पूरे यूपी के परिषदीय स्‍कूलों में आने वाले बच्‍चों और शिक्षकों की उपस्थिति पर नजर रखेगा और सीएम को इस बारे में अवगत कराएगा।

priyankajoshi
Published on: 22 Sep 2017 7:50 AM GMT
अब IVRS के जरिये बच्चों और शिक्षकों की लगेगी हाजरी, सीएम खुद करेंगे निगरानी
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लखनऊ : योगी सरकार ने यूपी की बेसिक शिक्षा को पटरी पर लाने के लिए एक बार फिर अध्‍यापक और छात्र उपस्थिति को हथियार बनाया है। अब सीएम कार्यालय खुद पूरे यूपी के परिषदीय स्‍कूलों में आने वाले बच्‍चों और शिक्षकों की उपस्थिति पर नजर रखेगा और सीएम को इस बारे में अवगत कराएगा।

यूपी सरकार ने हर रोज मिड डे मील में उपस्थिति के लिए प्रयोग की जाने वाले इंटरएक्टिव वाइस रिस्‍पांस सिंस्‍टम (आईवीआरएस) तकनीक को ही प्रतिदिन छात्र और शिक्षक उपस्थिति पर नजर रखने के लिए इस्‍तेमाल करने का मन बनाया है। ऐसे में यूपी के 1.59 लाख परिषदीय स्‍कूलों के बच्‍चों और शिक्षकों की प्रतिदिन निगरानी की जाएगी। कम उपस्थिति वाले स्‍कूलों में छात्रसंख्‍या बढ़ाने पर काम किया जाएगा।

सुबह-सुबह मास्‍टर जी के नंबर पर आएगा कॉल

बेसिक शिक्षा के अपर मुख्‍य सचिव राज प्रताप सिंह ने बताया कि सीएम कार्यालय पर एक डिजिटल डैश बोर्ड लगाया गया है। जिस पर पूरे यूपी के परिषदीय स्‍कूलों में प्रतिदिन के हिसाब से उपस्थित छात्रों और शिक्षकों का ब्‍यौरा दर्ज किया जाएगा। इसके लिए यूपीडेस्‍कों के आईवीआरएस सिस्‍टम को विकसित किया गया है। इस विकसित तकनीक को टाइम डिविजन मल्टीप्लेक्सिंग तकनीक का नाम दिया गया है। इसमें सुबह 8 बजे परिषदीय स्‍कूलों के प्रिंसपल के मोबाइल पर एक कंप्‍यूटर जनरेटेड कॉल की जाएगी। इस कॉल के जरिए बच्‍चों और शिक्षकों की उपस्थिति के बारे में पूछे गए सवालों का जवाब उन्‍हें मोबाइल पर ही संख्‍या दर्ज कर देना होगा। इसमें छात्रों और शिक्षकों की उपस्थिति संख्‍या के लिए अलग अलग प्रश्‍न पूछे जाएंगे। यदि किसी दिन प्रधानाध्‍यापक अवकाश पर होंगे तो प्रभारी प्रधानाध्‍यापक के नंबर पर कॉल जाएगी।

सीएम कार्यालय करेगा निगरानी

लखनऊ के जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी प्रवीण कुमार त्रिपाठी ने बताया कि जिले के टीचरों को इस बाबत जरूरी निर्देश और ट्रेनिंग दी जा रही है। इससे विभाग में जहां पारदर्शिता बढ़ेगी, वहीं शिक्षकों के स्‍कूल से गायब रहने की समस्‍या भी दूर होगी।किसी भी स्‍कूल का किसी समय औचक निरीक्षण करके, प्रधानाध्‍यापक दवारा आईवीआरएस तकनीक से दर्ज की गई संख्‍या से मिलान किया जा सकता है। इसके अलावा अपर मुख्‍य सचिव आरपी सिंह ने बताया कि सीएम कार्यालय भी किसी भी जनपद के किसी भी स्कूल की छात्रसंख्‍या और शिक्षकों की मौजूदगी का भौतिक सत्‍यापन करवा सकता है।

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इन्होंने पत्रकारीय जीवन की शुरुआत नई दिल्ली में एनडीटीवी से की। इसके अलावा हिंदुस्तान लखनऊ में भी इटर्नशिप किया। वर्तमान में वेब पोर्टल न्यूज़ ट्रैक में दो साल से उप संपादक के पद पर कार्यरत है।

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