TRENDING TAGS :
Monkeypox Treatment: जानें मंकी पॉक्स के इलाज और रोकथाम, खतरनाक है ये वायरस
Monkeypox Treatment: अब तक 18,000 से भी ज्यादा मामलेंं मंकी पॉक्स के सामने आ चुके हैं। बता दे कि भारत सहित पूरी दुनियाभर में मंकी पॉक्स का खतरा तेजी से फैलने लगा है।
Monkeypox Treatment: अब तक 18,000 से भी ज्यादा मामलेंं मंकी पॉक्स के सामने आ चुके हैं। भारत सहित पूरी दुनियाभर में मंकी पॉक्स का खतरा तेजी से
फैलने लगा है। कोरोना की तरह ही मंकी पॉक्स का संक्रमण भी लगातार बढ़ रहा, जिससे अब यह संभावना जताई जा रही है कि अगर इसे बढ़ने से नहीं रोका गया तो यह कोरोना की तरह ही तबाही मचा सकता है। हालांकि डॉक्टर्स और विशेषज्ञों की मानें तो इसे कुछ उपायों और ट्रीटमेंट द्वारा रोका जा सकता है। आइए जानते हैं मंकी पॉक्स का इलाज और रोकथाम के बारे में
संक्रमित व्यक्ति से दूरी
मंकी पॉक्स से संक्रमित व्यक्ति से दूरी बनानी चाहिए। दरअसल डॉक्टर की मानें तो यह संक्रमण एक संक्रमित व्यक्ति के दाने, पपड़ी, शरीर के तरल पदार्थ को छूने, कपड़ों और बिस्तरों को साझा करने से फैल सकता है। यह वायरस चुंबन और आलिंगन से भी फैलता है। इसके साथ ही गर्भवती महिलाएं से यह संक्रमण गर्भाशय में पल रहे बच्चे को भी प्रभावित करता है। इसके अलावा असुरक्षित यौन संबंध से भी मंकी पॉक्स फैलता है। ऐसे में जरूरी है कि संक्रमित व्यक्ति से जितना हो सकें दूरी बनाएं।
मास्क है जरूरी
अगर आप भीड़भाड़ वाली जगहों पर जा रहें हैं, चाहें वो सब्जी मंडी हो या शॉपिंग मॉल, मास्क पहनना ना भूलें। मास्क आपको मंकी पॉक्स के संक्रमण से बचाने में बहुत मदद कर सकता है। आप अगर बसों या ट्रेनों में भी सफर कर रहें हैं तो मास्क जरूर पहनें।
चेचक का टीका लें
अभी तक मंकी पॉक्स का कोई इलाज सामने नहीं आया है। लेकिन चेचक का टीका मंकी पॉक्स से छुटकारा दिलाने में कारगर साबित होता नजर आया है। बता दे कि चेचक का टीका मंकीपाक्स को रोकने में 85 प्रतिशत प्रभावी साबित हुआ है। दरअसल इस वायरस से संक्रमित होने पर चेचक जैसे लक्षण दिखते हैं। इसलिए चेचक का टीका इससे छुटकारा दिलाने में मदद करता है। हालांकि मंकीपाक्स को UK स्वास्थ्य सुरक्षा एजेंसी ने कम जोखिम वाला वायरस बताया है। इसमें गंभीर बीमारी का खतरा कम होता है।
हाथों को साबुन से धोएं
मंकी पॉक्स से बचने के लिए हाथों को लगातार साबुन से धोना चाहिए। कभी भी बाहर से घर आने या भोजन करने से पहले हाथों को अच्छी तरह साबुन से धोएं। इसके अलावा आप सेनेटाइजर का भी उपयोग कर सकते हैं। यह भी संक्रमण को दूर रखने में मदद करता है। यदि आप ऐसे व्यक्ति से मिले हैं जिनमें मंकी पॉक्स का लक्षण नजर आया हो या फ्लू हुआ हो, ऐसी स्थिति में भी आप अपने हाथों को साबुन से धोएं या सेनेटाइजर का इस्तेमाल करें।
विदेश से आए व्यक्ति से दूरी
ऐसे व्यक्ति से भी मिलने से बचना चाहिए जो विदेश से आए हो। दरअसल मंकी पॉक्स के फैलने का एक कारण विदेश से आए व्यक्ति भी रहें हैं। विदेश में मंकी पॉक्स का आंकड़ा काफी तेजी से फैल रहा है, ऐसे में जरूरी है कि आप विदेश से आए व्यक्ति से कम से कम एक सप्ताह की दूरी बनाए रखें।
फ्लू के लक्षण को ना करें इग्नोर
अगर किसी व्यक्ति को लगातार बुखार और सर्दी है तो ऐसे व्यक्ति से थोड़ी दूरी बनाकर रखें क्योंकि मंकी बॉक्स का एक लक्षण बुखार भी है। अगर किसी व्यक्ति को तेज बुखार के साथ दर्द भी है तो ऐसे व्यक्ति के संपर्क में आने से बचना चाहिए। साथ ही मंकी पॉक्स के लक्षण को भी नहीं छुपाना चाहिए क्योंकि यह आगे जाकर खतरनाक साबित भी हो सकता है।