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Viagra: वियाग्रा बचाती है अल्जाइमर से!

Viagra: बहुत सी दवाओं के नए नए नतीजे सामने आते हैं। ऐसे ही एक नए शोध से पता चला है कि इरेक्टाइल डिसफंक्शन (ईडी) की दवा वियाग्रा अल्जाइमर रोग के जोखिम को 69 फीसदी तक कम कर सकती है।

Neel Mani Lal
Published on: 12 Dec 2022 6:07 PM IST
Viagra
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Viagra (Social Media)

Viagra: कौन सी दवा क्या काम कर जाए, कुछ पता नहीं चलता। बहुत सी दवाओं के नए नए नतीजे सामने आते हैं। ऐसे ही एक नए शोध से पता चला है कि इरेक्टाइल डिसफंक्शन (ईडी) की दवा वियाग्रा अल्जाइमर रोग के जोखिम को 69 फीसदी तक कम कर सकती है। 'नेचर' पत्रिका में प्रकाशित इस रिसर्च के अनुसार ये पाया गया है कि इस दवा का मस्तिष्क के स्वास्थ्य पर सीधा प्रभाव पड़ता है और ये उस विषाक्त प्रोटीन को काफी कम कर देता है जो डिमेंशिया का कारण बन सकता है।

अध्ययन के आशाजनक परिणामों को लेकर उत्साह के बावजूद विशेषज्ञों की सलाह है कि अभी क्लिनिकल परीक्षण आवश्यक हैं इसलिए दवा का बेजा इस्तेमाल शुरू न कर दें।

बहरहाल, अध्ययन के निष्कर्ष इतने आशाजनक हैं कि किसी दिन डिमेंशिया का मुकाबला करने के लिए दवा का उपयोग किया जा सकता है। विशेषज्ञों की एक नई टीम एक और अध्ययन करने की तैयारी कर रही है जो इस डेटा पर आधारित है, लेकिन यह अध्ययन शुरुआती अल्जाइमर से पीड़ित रोगियों में वियाग्रा के जेनेरिक साल्ट सिल्डेनाफिल पर किया जाएगा।

क्लीवलैंड क्लिनिक द्वारा किए गए अध्ययन के प्रमुख शोधकर्ता डॉ फेक्सिओनग चेंग ने कहा है कि सिल्डेनाफिल, जिसे प्रीक्लिनिकल मॉडल में संज्ञान और स्मृति में उल्लेखनीय सुधार करने के लिए दिखाया गया है, को सर्वश्रेष्ठ दवा के रूप में प्रस्तुत किया गया है। सिल्डेनाफिल में न्यूरोप्रोटेक्टिव प्रभाव हो सकते हैं और ये विषाक्त 'ताऊ प्रोटीन' के स्तर को कम कर सकते हैं।

एक अन्य हालिया अध्ययन ने डिमेंशिया या मनोभ्रंश के खिलाफ लड़ाई में एक और हथियार का खुलासा किया है। ये हथियार है 'कॉफी।' शोध बताते हैं कि कॉफी के सेवन से डिमेंशिया रोग विकसित होने की संभावना काफी कम हो सकती है।

ये अध्ययन इस रहस्यमय बीमारी पर प्रकाश डालता है, जिसका अभी तक कोई इलाज नहीं है। कॉफी कुछ दवाओं की तरह अल्जाइमर को कम नहीं करती या उससे लड़ती नहीं है, बल्कि अध्ययन में पाया गया कि जिन लोगों ने औसत मात्रा से अधिक मात्रा में कॉफी पी थी, उनमें स्मृति हानि नहीं हुई थी, उनमें हल्के संज्ञानात्मक हानि के विकास का जोखिम कम था, जिसे प्री-स्टेज अल्जाइमर माना जाता है।



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Durgesh Sharma

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